मुरैना। साल 2015 में खिटौरा गांव के बॉबी शर्मा की हत्या के मामले में जौरा न्यायालय के तृतीय अपर सत्र न्यायाधीश ने एक दोषी को उम्रकैद और पांच हजार रुपए जुर्माने से दंडित किया है. मामले में अभियोजन की ओर से पैरवी अतिरिक्त लोक अभियोजन ने की. मामले के अनुसार बॉबी शर्मा अपनी बहन के साथ घर लौट रहे थे.तभी रास्ते में आरोपी ने बॉबी शर्मा पर गोली चला दी. मौके पर उसकी मौत हो गई.
रास्ते में मारी गोली: अभियोजन के अनुसार जिले के खिटौरा गांव देवगढ़ फरियादी छुन्ना सिंह सिकरवार 26 सितंबर 2015 को डब्बू शर्मा और बॉबी शर्मा अपनी बहन के यहां पछ देकर लौट रहे थे. रास्ते में तालपुरा गांव के मोड़ पर आरोपी जयवीर, दिलीप और एक अपचारी बालक ने पुरानी रंजिश पर बॉबी शर्मा को रोक लिया. नाबालिग आरोपी ने उसे गोली मार दी. पुलिस ने छुन्ना सिंह सिकरवार की रिपोर्ट पर केस पंजीबद्ध कर अभियोग पत्र न्यायालय में पेश किया. अपचारी बालक के प्रकरण को किशोर कल्याण बोर्ड भेज दिया गया. इधर कोर्ट में केस की सुनवाई के दौरान दिलीप की मौत हो गई. एक अन्य आरोपी जयवीर सिंह तोमर को हत्या का दोषी करार देते हुए आजीवन कारावास और 5 हजार रुपए अर्थदण्ड से दंडित करने का फैसला सुनाया है.
मारपीट के मामले में 1 वर्ष का कारावास: सबलगढ़ न्यायालय के न्यायिक मजिस्ट्रेट प्रथम श्रेणी द्वारा आरोपी उम्मेद सिंह को सजा सुनाई है. भारतीय दण्ड संहिता की धारा 325 में दोषी पाते हुये 1 वर्ष के साधारण कारावास और एक हजार रुपये के अर्थदण्ड से दण्डित किया गया है. मीडिया सेल प्रभारी (अभियोजन) रश्मि अग्रवाल ने बताया कि "फरियादी पंचम सिंह ने पुलिस थाना कैलारस में रिपोर्ट दर्ज कराई. रिपोर्ट में 22 जुलाई 2018 को कॉलेज रोड के पास हरलालपुरा गांव का उम्मेद सिंह और उसका लड़का दोनों मिले. फरियादी को मां-बहन की गंदी-गंदी गालियां देने लगे. जब फरियादी ने गाली देने से मना किया तो उम्मेद सिंह एवं उसके लड़के ने फरियादी की लाठी-डण्डों से मारपीट की, जिससे उसको चोट आई. इसके अलावा दाहिने हाथ की कलाई की हड्डी टूट गई. इस मामले में सबलगढ़ न्यायालय आरोपी को सजा सुनाई गई है.