मुरैना। चंबल अंचल में बेखौफ होकर चल रहा अवैध उत्खनन किस से भी छिपा नहीं है. शासन प्रशासन की जानकारी के बावजूद इस पर अंकुश लगाने के केवल दावे ही किए जाते रहे हैं. पूर्व मुख्यमंत्री उमा भारती ने गुरुवार की शाम जब राजस्थान धौलपुर से मध्यप्रदेश की सीमा मुरैना जिले में प्रवेश किया तो उन्होंने खुद चंबल नदी में प्रतिबंधित घड़ियल अभयारण्य क्षेत्र में रेत के अवैध उत्खनन में जुटे वाहनों की कतार देखी तो अचरज में पड़ गई (Uma Bharti tweeted on illegal sand mining). उन्होंने ना सिर्फ इस मुद्दे पर गुरुवार की रात लगातार ट्वीट किया बल्कि शुक्रवार को मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के सामने यह मुद्दा उठाने की बात भी कही है.
अवैध रेत खनन पर उमा का ट्वीटर वार: बता दें की पूर्व मुख्यमंत्री उमा भारती ने गुरुवार की रात ट्वीट किया कि मैंने राजस्थान और मध्यप्रदेश की सीमा पर चंबल नदी के पुल के दोनों तरफ भारी संख्या में ट्रैक्टर ट्राली जैसे वाहन देखें. राजस्थान में जैसा युद्ध अभ्यास करते हुए सेनाओं के टैंक चलते है, ठीक उसी प्रकार ऐसे ही सैकड़ों की संख्या में मैंने चंबल नदी के पुल के नीचे रेत में वाहन चलते हुए देखे. जब पता किया तो पता चला कि यहां तो रेत का खनन हो रहा है. मुझे लगा कि यह वैध होगा, लेकिन पता चला कि यह तो घड़ियालों के लिए रिजर्व एरिया है और यह पूरा खनन अवैध है. यह सब बहुत भयानक और शासन के लिए चुनौती है.
अवैध खनन को लेकर CM शिवराज से करेंगी बात: उमा भारती ने लिखा है शुक्रवार को मुख्यमंत्री शिवराज से इस विषय पर बात करूंगी और तुरंत रोक लगाने के लिए कहूंगी. क्योंकि ऐसी घटनाओं एवं दृश्यों से शासन का अस्तित्व कोई नहीं मानेगा, यह तो निरी अराजकता है. इस पर तुरंत कठोरता से रोक लगाना चाहिए, हर नदी पर अवैध उत्खनन होता है, जिसमें सत्तापक्ष के समर्थक ही अवैध खनन करते हैं, बेतवा, नर्मदा और चंबल नदी पर हर जगह अवैध उत्खनन होता है, छोटी नदियां तो लगभग खत्म कर दी हैं, इन अवैध खनन करने वालों ने यहां तक नदी के आसपास जमीन भी कब्जा कर रखी है. पूर्व मुख्यमंत्री उमा भारती के ट्वीट करने से मुरैना पुलिस और जिला प्रशासन में हड़कंप मच गया है.