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समाजसेवी की गिरफ्तारी पर भाजपाइयों ने घेरा एसपी ऑफिस - Morena City Kotwali Police Station

मुरैना में समाजसेवी मनोज जैन पर अभद्रता और शासकीय कार्य में बाधा पहुंचाने उन्हें गिरफ्तार किया गया इसी के विरोध में बीजेपी कार्यकर्ताओं ने एसपी ऑफिस का घेराव कर लिया.

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Published : Feb 20, 2021, 9:23 PM IST

Updated : Feb 20, 2021, 9:57 PM IST

मुरैना। सिटी कोतवाली थाने में सिफारिश लेकर गए समाजसेवी मनोज जैन पर अभद्रता और शासकीय कार्य में बाधा पहुंचाने का मामला दर्ज करके कोतवाली पुलिस ने हिरासत में ले लिया. वहीं इस मामले ने ऐसा तूल पकड़ा कि भाजपा नेता रात में ही कोतवाली में धरना देकर बैठ गए और सुबह होते ही भाजपा जिला अध्यक्ष के नेतृत्व में एक सैकड़ा के करीब कार्यकर्ताओं ने एसपी ऑफिस का भी घेराव किया. जहां एसपी से बीजेपी नेताओं ने समाजसेवी को पकड़ने वाले पुलिस कर्मचारियों के खिलाफ कार्रवाई की मांग करने लगे. लेकिन एसपी ने भाजपा नेताओं की कोई दलील स्वीकार नहीं की और बीजेपी नेताओं से 1 दिन का समय मांगा. उसके बाद पुलिस ने शासकीय कार्य में बाधा के आरोपित समाजसेवी मनोज जैन को आनन-फानन में कोर्ट में भी पेश कर दिया. जहां से जिला न्यायालय ने मनोज जैन को जेल भेज दिया है.

मुरैना में एसपी ऑफिस का घेराव

ये है पूरा मामला

बता दें, 2016 नोटबंदी के दौरान एक्सिस बैंक में रहे मैनेजर आशीष जैन और अन्य लोगों द्वारा पुराने नोट बदलने के मामले सामने आए थे. उस समय सिटी कोतवाली थाने में धोखाधड़ी के दो मामले दर्ज किए गए थे,जिसमें एक मामले में 4 और दूसरे में 42 आरोपी बनाये गए थे. आशीष जैन इन दोनों ही मामलों में आरोपी था, अभी तक उसकी गिरफ्तारी नहीं हो पा रही थी. शुक्रवार को सिटी कोतवाली थाना पुलिस ने उसको ग्वालियर से गिरफ्तार कर लिया. शहर के समाजसेवी मनोज जैन, आशीष से मिलने शुक्रवार की देर रात सिटी कोतवाली थाने पहुंचे. जहां समाजसेवी ने आरोप लगाए कि एक्सिस बैंक मैनेजर को एएसआई गंभीर सिंह दो-तीन बार पहले भी मैनेजर को पकड़ कर लाए थे, लेकिन उनसे 50-50 हजार रूपए लेकर छोड़ दिया. इसी बात पर सिटी कोतवाली थाना प्रभारी और स्टाफ से समाजसेवी मनोज जैन से बहस हुई और पुलिस ने मनोज जैन पर शासकीय कार्य में बाधा का मामला दर्ज कर लॉकअप में बंद कर दिया. यह बात पता लगते ही भाजपा जिलाध्यक्ष डॉक्टर योगेश पाल गुप्ता रात में ही अपने समर्थकों के साथ थाने में पहुंच गए और कार्रवाई का विरोध करके थाने के बाहर धरना दिया.

मुरैनाः मानव तस्करी और देह व्यापार का खुलासा

लेकिन विडंबना देखिए प्रदेश में सरकार होने के बाद भी पुलिस ने उनकी एक नहीं सुनी. उसके बाद शनिवार को एक सैकड़ा कार्यकर्ताओं के साथ जिला अध्यक्ष योगेश पाल गुप्ता एसपी ऑफिस का घेराव करने पहुंच गए. जहां उन्होंने एमपी सुनील कुमार पांडे से कहा कि कोतवाली टीआई से लेकर अन्य स्टॉफ पर भ्रष्टाचार और मनमानी करने का आरोप लगाया है. एसपी सुनील कुमार पांडे ने मामले की जांच के लिए 24 घंटे का समय मांगा और जांच के बाद कार्रवाई का भरोसा दिया, लेकिन भाजपा नेता और समाजसेवी मनोज जैन को तत्काल थाने से छोड़ने की मांग पर अड़े रहे. लेकिन एसपी ने ये बात नहीं मानी और इस मामले में जांच के बाद ही किसी पर कार्रवाई की बात कही.

जांच के बाद होगी कार्रवाई

दूसरी ओर सिटी कोतवाली थाना पुलिस ने मनोज जैन को कोर्ट में पेश करने की तैयारी कर ली.य दोपहर में मनोज जैन को मेडिकल के लिए अस्पताल ले जाया गया, जहां मनोज जैन ने मीडिया और भाजपा नेताओं के सामने अपने चेहरे और पीठ पर हुए मारपीट के निशान दिखाने लगे. ये देख मनोज जैन को लेकर गए पुलिसकर्मी और कोतवाली टीआई आरती चिराटे ने मनोज जैन की शर्ट पकड़कर उन्हें मारपीट के निशान दिखाने से रोक लिया. वहीं इस मामले में पुलिस का कहना है कि समाजसेवी ने पुलिस के साथ अभद्रता की थी इसलिए उनको गिरफ्तार किया गया. वहीं इस पूरे मामले में पुलिस अधिकारी जांच के बाद कार्रवाही की बात कह रहे हैं.

मुरैना। सिटी कोतवाली थाने में सिफारिश लेकर गए समाजसेवी मनोज जैन पर अभद्रता और शासकीय कार्य में बाधा पहुंचाने का मामला दर्ज करके कोतवाली पुलिस ने हिरासत में ले लिया. वहीं इस मामले ने ऐसा तूल पकड़ा कि भाजपा नेता रात में ही कोतवाली में धरना देकर बैठ गए और सुबह होते ही भाजपा जिला अध्यक्ष के नेतृत्व में एक सैकड़ा के करीब कार्यकर्ताओं ने एसपी ऑफिस का भी घेराव किया. जहां एसपी से बीजेपी नेताओं ने समाजसेवी को पकड़ने वाले पुलिस कर्मचारियों के खिलाफ कार्रवाई की मांग करने लगे. लेकिन एसपी ने भाजपा नेताओं की कोई दलील स्वीकार नहीं की और बीजेपी नेताओं से 1 दिन का समय मांगा. उसके बाद पुलिस ने शासकीय कार्य में बाधा के आरोपित समाजसेवी मनोज जैन को आनन-फानन में कोर्ट में भी पेश कर दिया. जहां से जिला न्यायालय ने मनोज जैन को जेल भेज दिया है.

मुरैना में एसपी ऑफिस का घेराव

ये है पूरा मामला

बता दें, 2016 नोटबंदी के दौरान एक्सिस बैंक में रहे मैनेजर आशीष जैन और अन्य लोगों द्वारा पुराने नोट बदलने के मामले सामने आए थे. उस समय सिटी कोतवाली थाने में धोखाधड़ी के दो मामले दर्ज किए गए थे,जिसमें एक मामले में 4 और दूसरे में 42 आरोपी बनाये गए थे. आशीष जैन इन दोनों ही मामलों में आरोपी था, अभी तक उसकी गिरफ्तारी नहीं हो पा रही थी. शुक्रवार को सिटी कोतवाली थाना पुलिस ने उसको ग्वालियर से गिरफ्तार कर लिया. शहर के समाजसेवी मनोज जैन, आशीष से मिलने शुक्रवार की देर रात सिटी कोतवाली थाने पहुंचे. जहां समाजसेवी ने आरोप लगाए कि एक्सिस बैंक मैनेजर को एएसआई गंभीर सिंह दो-तीन बार पहले भी मैनेजर को पकड़ कर लाए थे, लेकिन उनसे 50-50 हजार रूपए लेकर छोड़ दिया. इसी बात पर सिटी कोतवाली थाना प्रभारी और स्टाफ से समाजसेवी मनोज जैन से बहस हुई और पुलिस ने मनोज जैन पर शासकीय कार्य में बाधा का मामला दर्ज कर लॉकअप में बंद कर दिया. यह बात पता लगते ही भाजपा जिलाध्यक्ष डॉक्टर योगेश पाल गुप्ता रात में ही अपने समर्थकों के साथ थाने में पहुंच गए और कार्रवाई का विरोध करके थाने के बाहर धरना दिया.

मुरैनाः मानव तस्करी और देह व्यापार का खुलासा

लेकिन विडंबना देखिए प्रदेश में सरकार होने के बाद भी पुलिस ने उनकी एक नहीं सुनी. उसके बाद शनिवार को एक सैकड़ा कार्यकर्ताओं के साथ जिला अध्यक्ष योगेश पाल गुप्ता एसपी ऑफिस का घेराव करने पहुंच गए. जहां उन्होंने एमपी सुनील कुमार पांडे से कहा कि कोतवाली टीआई से लेकर अन्य स्टॉफ पर भ्रष्टाचार और मनमानी करने का आरोप लगाया है. एसपी सुनील कुमार पांडे ने मामले की जांच के लिए 24 घंटे का समय मांगा और जांच के बाद कार्रवाई का भरोसा दिया, लेकिन भाजपा नेता और समाजसेवी मनोज जैन को तत्काल थाने से छोड़ने की मांग पर अड़े रहे. लेकिन एसपी ने ये बात नहीं मानी और इस मामले में जांच के बाद ही किसी पर कार्रवाई की बात कही.

जांच के बाद होगी कार्रवाई

दूसरी ओर सिटी कोतवाली थाना पुलिस ने मनोज जैन को कोर्ट में पेश करने की तैयारी कर ली.य दोपहर में मनोज जैन को मेडिकल के लिए अस्पताल ले जाया गया, जहां मनोज जैन ने मीडिया और भाजपा नेताओं के सामने अपने चेहरे और पीठ पर हुए मारपीट के निशान दिखाने लगे. ये देख मनोज जैन को लेकर गए पुलिसकर्मी और कोतवाली टीआई आरती चिराटे ने मनोज जैन की शर्ट पकड़कर उन्हें मारपीट के निशान दिखाने से रोक लिया. वहीं इस मामले में पुलिस का कहना है कि समाजसेवी ने पुलिस के साथ अभद्रता की थी इसलिए उनको गिरफ्तार किया गया. वहीं इस पूरे मामले में पुलिस अधिकारी जांच के बाद कार्रवाही की बात कह रहे हैं.

Last Updated : Feb 20, 2021, 9:57 PM IST
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