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खंडवा: स्टाफ नर्सों के भरोसे प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र

खंडवा की पंधाना तहसील में 10 प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र और एक सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र है. यहां की प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों में डॉक्टर नहीं हैं. जिस वजह से लोगों को काफी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है.

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प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र
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Published : Dec 28, 2020, 8:38 PM IST

खंडवा। पंधाना तहसील में प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र वहां की स्टाफ नर्स के भरोसे चल रहा है. पंधाना क्षेत्र में 10 प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र और एक सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र है. यहां डॉक्टर सिंगोट पदस्थ हैं. लेकिन पंधाना में बाकी जगह स्टाफ नर्सों के भरोसे स्वास्थ्य सेवाओं को संभाला जा रहा है.

मरीजों को बाहर कर दिया जाता है रेफर

बोरगांव बुजुर्ग का प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र अच्छा सुंदर दिखने वाला भवन है. लेकिन इस सुंदर भवन में सुविधाओं का घोर अभाव है. अस्पताल में डॉक्टर नहीं होने के कारण यहां की आबादी आए दिन परेशान रहती है. अस्पताल का ज्यादातर काम आयुष डॉक्टर के भरोसे होता है. इंदौर-इच्छापुर नेशनल हाईवे पर दुर्घटना के शिकार लोगों को इसी अस्पताल में लाया जाता है, लेकिन प्राथमिक इलाज के बाद मरीजों को तुरंत ही बाहर के लिए रेफर कर दिया जाता है.

पढ़ें- सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में दर्द से तड़पती रही गर्भवती महिला, समय नहीं पहुंचे डॉक्टर, हुई मौत

स्वास्थ्य केंद्र को इलाज की जरूरत

दीवाल प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र को खुद इलाज की जरूरत है. एक तो यहां सृजित पद के मुताबिक डॉक्टर नहीं है. वहीं कर्मियों की कमी के कारण उत्तम स्वास्थ्य सेवा देने का दावा महज दिखावा है. डॉक्टर, फॉर्मासिस्ट, लैब टेक्नीशियन आदि के पद खाली पड़े हैं. ऐसे में अंदाजा लगाया जा सकता है कि यहां किस स्तर का इलाज मरीजों को मिलता है.

पढ़ें- Horrible Health System: बच्चे के जन्म के चंद घंटे बाद 3 किलोमीटर पैदल चल गांव पहुंची महिला, रास्ते में पार किया पहाड़

नदारद रहते हैं कर्मचारी

स्टाफ की कमी से जूझ रहे प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र में मरीजों को परेशान होना पड़ रहा है. ग्रामीणों ने बताया कि कई बार शासन-प्रशासन से मांग की गई है. लेकिन कई साल से डॉक्टर विहीन चल रहे प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र में स्टाफ की कमी को पूरा करने के लिए कोई ध्यान नहीं दिया गया.

खंडवा। पंधाना तहसील में प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र वहां की स्टाफ नर्स के भरोसे चल रहा है. पंधाना क्षेत्र में 10 प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र और एक सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र है. यहां डॉक्टर सिंगोट पदस्थ हैं. लेकिन पंधाना में बाकी जगह स्टाफ नर्सों के भरोसे स्वास्थ्य सेवाओं को संभाला जा रहा है.

मरीजों को बाहर कर दिया जाता है रेफर

बोरगांव बुजुर्ग का प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र अच्छा सुंदर दिखने वाला भवन है. लेकिन इस सुंदर भवन में सुविधाओं का घोर अभाव है. अस्पताल में डॉक्टर नहीं होने के कारण यहां की आबादी आए दिन परेशान रहती है. अस्पताल का ज्यादातर काम आयुष डॉक्टर के भरोसे होता है. इंदौर-इच्छापुर नेशनल हाईवे पर दुर्घटना के शिकार लोगों को इसी अस्पताल में लाया जाता है, लेकिन प्राथमिक इलाज के बाद मरीजों को तुरंत ही बाहर के लिए रेफर कर दिया जाता है.

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स्वास्थ्य केंद्र को इलाज की जरूरत

दीवाल प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र को खुद इलाज की जरूरत है. एक तो यहां सृजित पद के मुताबिक डॉक्टर नहीं है. वहीं कर्मियों की कमी के कारण उत्तम स्वास्थ्य सेवा देने का दावा महज दिखावा है. डॉक्टर, फॉर्मासिस्ट, लैब टेक्नीशियन आदि के पद खाली पड़े हैं. ऐसे में अंदाजा लगाया जा सकता है कि यहां किस स्तर का इलाज मरीजों को मिलता है.

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नदारद रहते हैं कर्मचारी

स्टाफ की कमी से जूझ रहे प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र में मरीजों को परेशान होना पड़ रहा है. ग्रामीणों ने बताया कि कई बार शासन-प्रशासन से मांग की गई है. लेकिन कई साल से डॉक्टर विहीन चल रहे प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र में स्टाफ की कमी को पूरा करने के लिए कोई ध्यान नहीं दिया गया.

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