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MPPSC की परीक्षा दे रहे बीजेपी विधायक ने विवादित प्रश्न पर किया बवाल

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Published : Jan 12, 2020, 9:51 PM IST

Updated : Jan 12, 2020, 10:00 PM IST

मध्यप्रदेश लोकसेवा आयोग की परीक्षा में भील समाज पर पूछे गए सवाल पर परीक्षा दे रहे बीजेपी विधायक राम डांगोरे भड़क गए और उन्होंने परीक्षा खत्म होने के बाद प्रेस वार्ता कर आयोग में प्रश्न पत्र बनाने वाले की शिकायत करने की बात की.

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विधायक राम डांगोरे ने जताई नाराजगी

खंडवा। मध्यप्रदेश लोक सेवा आयोग की परीक्षा के दौरान रविवार को तब बखेड़ा हो गया, जब एमपीपीएससी के प्रश्न पत्र के सी-सेट में भील जनजाति को लेकर आपत्तिजनक गद्यांश पूछा गया था. पंधाना विधायक राम डांगोरे ने इसका कड़ा विरोध करते हुए कमलनाथ सरकार के खिलाफ नारेबाजी की, विधायक ने कहा कि इसकी शिकायत मध्यप्रदेश लोकसेवा आयोग से करेंगे. पीएससी के एक प्रश्न में भील जनजाति को आय से अधिक खर्च करने वाला और शराब में डूबी हुई जनजाति बताया गया है. इस पैसेज में लिखा गया है कि भील जनजाति के लोगों की अपराधिक प्रवृत्ति का मुख्य कारण देनदारियां पूरी करना नहीं है, जिसके लिए वे गैर वैधानिक और अनैतिक कामों से पैसे कमाते हैं. प्रश्न नंबर 99 में पूछा गया है कि

भीलों की अपराधिक प्रवृत्ति का मुख्य कारण क्या है-
A. देनदारियां पूरी न कर पाना B. ईमानदारी से काम करना
C. अनैतिक कार्य करना D. गांव से पलायन करना.

विधायक राम डांगोरे ने जताई नाराजगी

इसी तरह सवाल नंबर 100 में पूछा गया है कि

धन उपार्जन के लिए भील कैसे कामों में संलिप्त हो जाते हैं-

A. सामाजिक काम B. धार्मिक काम
C. गैर वैधानिक तथा अनैतिक काम D.कठिन से कठिन काम

दिए गए ऑप्सन में 'गैर वैधानिक और अनैतिक काम करना' को लेकर भील समाज में नाराजगी है. पंधाना विधानसभा क्षेत्र के आदिवासी विधायक राम दंगोरे ने भी एमपीपीएससी का पेपर दिया है, जब उन्होंने इन प्रश्नों को देखा तो वह भी हैरान रह गए. इससे पंधाना के भाजपा विधायक राम दांगोरे बिफर पड़े. उन्होंने इस प्रश्न पर कड़ी आपत्ति जताते हुए काला कपड़ा लहराकर कमलनाथ सरकार के खिलाफ नारेबाजी कर विरोध जताया.

परीक्षा खत्म होने के बाद उन्होंने भाजपा कार्यालय में पत्रकारों को संबोधित करते हुए कहा कि जिस किसी ने भी यह पर्चा बनाया है, उसे तत्काल बर्खास्त किया जाए. साथ ही उसके खिलाफ एससी एसटी एक्ट के तहत मुकदमा दर्ज किया जाए. इतना ही नहीं भील समाज के लोगों ने कमलनाथ सरकार के खिलाफ जमकर नारेबाजी करते हुए कहा कि इसे लेकर मध्यप्रदेश लोकसेवा आयोग से इसकी शिकायत करेंगे.

खंडवा। मध्यप्रदेश लोक सेवा आयोग की परीक्षा के दौरान रविवार को तब बखेड़ा हो गया, जब एमपीपीएससी के प्रश्न पत्र के सी-सेट में भील जनजाति को लेकर आपत्तिजनक गद्यांश पूछा गया था. पंधाना विधायक राम डांगोरे ने इसका कड़ा विरोध करते हुए कमलनाथ सरकार के खिलाफ नारेबाजी की, विधायक ने कहा कि इसकी शिकायत मध्यप्रदेश लोकसेवा आयोग से करेंगे. पीएससी के एक प्रश्न में भील जनजाति को आय से अधिक खर्च करने वाला और शराब में डूबी हुई जनजाति बताया गया है. इस पैसेज में लिखा गया है कि भील जनजाति के लोगों की अपराधिक प्रवृत्ति का मुख्य कारण देनदारियां पूरी करना नहीं है, जिसके लिए वे गैर वैधानिक और अनैतिक कामों से पैसे कमाते हैं. प्रश्न नंबर 99 में पूछा गया है कि

भीलों की अपराधिक प्रवृत्ति का मुख्य कारण क्या है-
A. देनदारियां पूरी न कर पाना B. ईमानदारी से काम करना
C. अनैतिक कार्य करना D. गांव से पलायन करना.

विधायक राम डांगोरे ने जताई नाराजगी

इसी तरह सवाल नंबर 100 में पूछा गया है कि

धन उपार्जन के लिए भील कैसे कामों में संलिप्त हो जाते हैं-

A. सामाजिक काम B. धार्मिक काम
C. गैर वैधानिक तथा अनैतिक काम D.कठिन से कठिन काम

दिए गए ऑप्सन में 'गैर वैधानिक और अनैतिक काम करना' को लेकर भील समाज में नाराजगी है. पंधाना विधानसभा क्षेत्र के आदिवासी विधायक राम दंगोरे ने भी एमपीपीएससी का पेपर दिया है, जब उन्होंने इन प्रश्नों को देखा तो वह भी हैरान रह गए. इससे पंधाना के भाजपा विधायक राम दांगोरे बिफर पड़े. उन्होंने इस प्रश्न पर कड़ी आपत्ति जताते हुए काला कपड़ा लहराकर कमलनाथ सरकार के खिलाफ नारेबाजी कर विरोध जताया.

परीक्षा खत्म होने के बाद उन्होंने भाजपा कार्यालय में पत्रकारों को संबोधित करते हुए कहा कि जिस किसी ने भी यह पर्चा बनाया है, उसे तत्काल बर्खास्त किया जाए. साथ ही उसके खिलाफ एससी एसटी एक्ट के तहत मुकदमा दर्ज किया जाए. इतना ही नहीं भील समाज के लोगों ने कमलनाथ सरकार के खिलाफ जमकर नारेबाजी करते हुए कहा कि इसे लेकर मध्यप्रदेश लोकसेवा आयोग से इसकी शिकायत करेंगे.

Intro:खंडवा। मध्य प्रदेश लोक सेवा आयोग की द्वारा आयोजित की जा रही परीक्षा के दौरान आज बखेड़ा खड़ा हो गया. यह विवाद एमपीएससी प्रश्नपत्र के C सेट के एक प्रश्न से खड़ा हुआ है इस प्रश्न में भील जनजाति को लेकर आपत्तिजनक गद्यांश पूछा गया जिसके बाद पंधाना विधायक राम डांगोरे ने इसका कड़ा विरोध किया हैं भाजपा कार्यकर्ताओं सहित विधायक राम डांगोरे ने कमलनाथ सरकार के खिलाफ काला कपड़ा लहराकर नारेबाजी की.विधायक राम डांगोरे इसकी शिकायत मध्यप्रदेश लोकसेवा आयोग से करेंगे.

Body:मध्य प्रदेश लोक सेवा आयोग के पेपर के सी सेट में लिखे गए अनसीन पैसेज में भील जनजाति को आय से अधिक खर्च करने वाला और शराब में डूबी हुई जनजाति बताया गया है । वहीं इस पैसेज में लिखा गया है कि भील जनजाति के लोगो की अपराधिक प्रवृत्ति का मुख्य कारण दिलदारियां पूरी करना नहीं है। जिसके लिए वह गैर वैधानिक और अनैतिक कामों से पैसे कमाते हैं। इस प्रश्न में पूछे गए सवाल नंबर 99 में पूछा गया है कि भीलो की अपराधिक प्रवृत्ति का मुख्य कारण क्या है. 4 ऑप्शन है जिसमें A देनदारियां पूरी न कर पाना, B ईमानदारी से काम करना, C अनैतिक कार्य करना, D गांव से पलायन करना. इसी तरह सवाल नंबर 100 में पूछा गया है कि धन उपार्जन के लिए भील कैसे कामों में संलिप्त हो जाते हैं इस प्रश्न में विचार ऑप्शन है जिसमें A सामाजिक काम B धार्मिक काम C गैर वैधानिक तथा अनैतिक काम D कठिन से कठिन काम इसमें जो ऑप्शन दिए गए हैं । जिसमें गैर वैधानिक और अनैतिक काम करना इसे लेकर भील समाज नाराज हो गया है। 
Byte - राम डांगोरे, पंधाना विधायक

Conclusion:पंधाना विधानसभा क्षेत्र के आदिवासी विधायक राम दंगोंरे ने भी MPPSC का पेपर  दिया है जब उन्होंने इन प्रश्नों को देखा तो वह भी भौचक्का रह गए । इससे पंधाना के भाजपा विधायक राम डांगोरे बिफर पड़े, उन्होंने इस प्रश्न पर कड़ी आपत्ति जताते हुए काला कपड़ा लहराकर कमलनाथ सरकार के खिलाफ नारेबाजी कर विरोध जताया. परीक्षा खत्म होने के बाद उन्होंने भाजपा कार्यालय पर पत्रकारों को संबोधित करते हुए कहा कि जिस किसी ने भी या पर्चा बनाया है उसे तत्काल बर्खास्त किया जाए और उसके खिलाफ एट्रोसिटी एक्ट के तहत मुकदमा दर्ज किया जाए । इतना ही नहीं भील समाज के लोगों ने कमलनाथ सरकार के खिलाफ जमकर नारेबाजी भी की. वह मध्यप्रदेश लोकसेवा आयोग से इसकी शिकायत करेंगे
Last Updated : Jan 12, 2020, 10:00 PM IST
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