जबलपुर। लोकसभा सांसद मेनका गांधी के खिलाफ गुरुवार को नानाजी देशमुख विश्वविद्यालय के वेटरनरी छात्र एवं छात्राओं ने जमकर नारेबाजी की. इस दौरान उन्होंने सांसद के पोस्टर भी जलाये. छात्रों ने कहा कि मेनका गांधी को सार्वजनिक मंच से वेटरनरी डॉक्टरों के किए अपमान की माफी मांगनी चाहिए. वहीं विश्वविद्यालय प्रशासन थाने में एफआईआर दर्ज कराने की तैयारी में जुटा है.
इस मामले को लेकर भड़कीं थीं मेनका गांधी
दरअसल, बीते दिनों सांसद मेनका गांधी का एक ऑडियो वायरल हुआ. सांसद ऑडियों में विकास शर्मा नाम के एक वेटरनरी डॉक्टर से बात कर रही हैं. मामला एक कुत्ते की टांग की सर्जरी से जुड़ा हुआ है, जिस पर कुत्ते की मालिक ने सांसद मेनका गांधी से शिकायत की थी, जिसमें उसने बताया कि उनके कुत्ते की टांग का इलाज करवाने वह डॉक्टर विकास शर्मा के पास गई थी. डॉक्टर विकास शर्मा ने उनके कुत्ते की टांग काट दी और कुत्तों के टांग में टांके लगा दिए, जो घर पहुंचते ही खुल गए.
सांसद ने नानाजी देशमुख विश्वविद्यालय को कहा था घटिया
मेनका गांधी ने इस घटना के बाद वेटरनरी डॉक्टर विकास शर्मा को फोन लगाया. इस दौरान उन्होंने भद्दी-भद्दी गालियां दीं और विकास शर्मा के परिवार को नीचा दिखाया. उन्होंने डॉक्टर से पढ़ाई के बारे में पूछा, जिसके बाद डॉक्टर ने बताया कि वह जबलपुर के नानाजी देशमुख विश्वविद्यालय के पास आउट हैं. इसके बाद सांसद ने जबलपुर की इस यूनिवर्सिटी को भी घटिया करार दिया. उन्होंने पशु चिकित्सकों की बेज्जती ही नहीं की, बल्कि विकास शर्मा से यह भी पूछा कि उनके माता-पिता चौकीदार हैं या माली.
छात्रों ने जलाए मेनका गांधी के पोस्टर
इस घटना से नानाजी देशमुख विश्वविद्यालय और वेटरनरी कॉलेज छात्र आक्रोशित हो गए. छात्रों ने सांसद मेनका गांधी के खिलाफ जमकर नारेबाजी की और पोस्टर जलाए. छात्राओं का कहना है कि मेनका गांधी खुद 12वीं पास हैं. उनको यह पता होना चाहिए कि यूनिवर्सिटी में पढ़ने वाला छात्र पांच साल मेहनत करने के बाद डॉक्टर बनता है. गुस्साए छात्रों ने कहा कि सांसद को सार्वजनिक मंच पर आकर माफी मांगनी चाहिए.
पशु चिकित्सक का दावा, मेनका गांधी ने की अभद्रता, ट्विटर पर ट्रेंड हुआ #BoycottManekaGandhi
नानाजी देशमुख वेटरनरी विश्वविद्यालय के डीन डॉक्टर आरके शर्मा ने कहा कि यह 50 साल पुराना कॉलेज है. यहां से देश ही नहीं दुनिया के कई जाने-माने वेटरनरी साइंटिस्ट और डॉक्टर निकले हैं, जो आज भी दुनिया भर में काम कर रहे हैं. उन्होंने कहा कि विश्वविद्यालय की ओर से उनके खिलाफ सिविल लाइन थाने में एफआईआर दर्ज करायी जाएगी. इसके बाद उन्हें लीगल नोटिस भेजा जाएगा.