जबलपुर। मध्यप्रदेश में शराब ठेकेदारों और सरकार के बीच चल रहा विवाद फिलहाल थमता नजर नहीं आ रहा है. आज फिर शराब ठेकेदारों की याचिका पर जबलपुर हाईकोर्ट में लंबी सुनवाई हुई. करीब 4 घंटे तक चली सुनवाई में शराब ठेकेदारों की ओर से लंबी बहस की गई. मामले पर जबलपुर हाईकोर्ट ने कल भी सुनवाई जारी रखने के आदेश दिए हैं.
गुरूवार को राज्य सरकार के वकील अपना पक्ष पेश करेंगे. इस बीच जबलपुर हाईकोर्ट ने राज्य सरकार को यह भी आदेश दिए हैं कि वह कोर्ट के आगामी आदेश तक शराब ठेकेदारों पर कोई कार्रवाई नहीं करेगी.
आज मामले पर सुनवाई के दौरान दोनों पक्षों की ओर से जिरह पेश की जानी थी, लेकिन करीब 4 घंटे तक शराब ठेकेदारों की ओर से ही तर्क पेश किए जाते रहे और सरकारी वकीलों को जिरह करने का वक्त नहीं मिल सका. ऐसे में हाईकोर्ट ने मामले पर कल भी सुनवाई जारी रखने के आदेश दिए हैं.
क्या है पूरा विवाद
शराब ठेकेदारों ने लाकडॉउन में हुए घाटे का हवाला देकर हाईकोर्ट में यह याचिका दायर की थी. शराब ठेकेदारों ने लाकडॉउन अवधि में हुए नुकसान की भरपाई करने, ठेके के वक्त जमा करवाई गई, बिड राशि घटाने या पूरे ठेके नए सिरे से जारी करने की मांग की है.
शराब ठेकेदारों ने राज्य सरकार द्वारा आबकारी नीति में किए गए संशोधन को भी चुनौती दी है. जिसमें सरकार ने किसी तरह ठेकेदार का लाइसेंस रद्द होने पर उसे ब्लैक लिस्ट करने और उसे किसी दूसरी जिले के टेंडर में हिस्सा ना लेने देने का भी प्रावधान किया है.