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पूर्व मंत्री लखन घनघोरिया को मिला बंगला खाली करने का नोटिस

पूर्व वित्त मंत्री का बंगला खाली करवाने के बाद अब जबलपुर में पूर्व मंत्री लखन घनघोरिया को भी बंगला खाली करने का नोटिस भेजा गया है. लखन घनघोरिया ने पत्र की भाषा पर आपत्ति जताई और कहा कोरोनावायरस के संकट काल में कोई मकान मालिक किसी किराएदार से घर खाली नहीं करवा सकता.

Lakhan Ghanghoria outside the commissioner's office
कमिश्नर कार्यालय के बाहर लखन घनघोरिया
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Published : May 26, 2020, 10:37 PM IST

जबलपुर। मध्यप्रदेश में सत्ता परिवर्तन के बाद यह तो तय था कि पूर्व मंत्रियों की सुविधाएं छीनी जायेंगी, कुछ दिनों पहले प्रदेश के पूर्व वित्त मंत्री तरुण भनोट को भोपाल का बंगला खाली करने का नोटिस दिया गया था और अब पूर्व मंत्री लखन घनघोरिया को बंगला खाली करने का नोटिस आया है. लखन घनघोरिया ने पत्र की भाषा पर आपत्ति जताई है और कहा कि कोरोनावायरस के संकट काल में कोई मकान मालिक किसी किराएदार से घर खाली नहीं करवा सकता.

अब लखन घनघोरिया को नोटिस

लखन घनघोरिया कमलनाथ सरकार में सामाजिक न्याय एवं कल्याण मंत्री रहे हैं, उन्हें उनकी ही विधानसभा में एक एमआईजी बंगला अलॉट हुआ था, जिसमें उनका ऑफिस था. मंगलवार को उन्हें भी एक पत्र मिला, जिसमें 1 सप्ताह के भीतर बंगला खाली करने का आदेश दिया गया है. लखन घनघोरिया ने इस पत्र की भाषा पर आपत्ति जताते हुए अपना तर्क दिया है कि बतौर विधायक नियम से उन्हें उनके विधानसभा क्षेत्र में एक एमआईजी बंगला मिल सकता है.

उन्होंने कहा कि एक तरफ सरकार कह रही है कि कोरोनावायरस का संकट काल है, इसलिए किसी किराएदार को निकाला नहीं जा सकता ऐसे में सरकार को बंगला खाली करवाने कि इतनी जल्दबाजी क्यों है. लखन घनघोरिया का कहना है कि उन्हें उनके विधानसभा क्षेत्र में यदि कोई दूसरा एमआईजी क्वार्टर दे दिया जाता है तो वे बंगला खाली कर देंगे.

इस समय जब सब का पूरा ध्यान महामारी पर टिका हुआ है, ऐसे सरकार पूर्व मंत्रियों को बंगला खाली करने का नोटिस एक के बाद दिए जा रही है. बहरहाल, लखन घनघोरिया ने चिट्ठी का जवाब चिट्ठी से देते हुए एक चिट्ठी संभागायुक्त को सौंप दी है.

जबलपुर। मध्यप्रदेश में सत्ता परिवर्तन के बाद यह तो तय था कि पूर्व मंत्रियों की सुविधाएं छीनी जायेंगी, कुछ दिनों पहले प्रदेश के पूर्व वित्त मंत्री तरुण भनोट को भोपाल का बंगला खाली करने का नोटिस दिया गया था और अब पूर्व मंत्री लखन घनघोरिया को बंगला खाली करने का नोटिस आया है. लखन घनघोरिया ने पत्र की भाषा पर आपत्ति जताई है और कहा कि कोरोनावायरस के संकट काल में कोई मकान मालिक किसी किराएदार से घर खाली नहीं करवा सकता.

अब लखन घनघोरिया को नोटिस

लखन घनघोरिया कमलनाथ सरकार में सामाजिक न्याय एवं कल्याण मंत्री रहे हैं, उन्हें उनकी ही विधानसभा में एक एमआईजी बंगला अलॉट हुआ था, जिसमें उनका ऑफिस था. मंगलवार को उन्हें भी एक पत्र मिला, जिसमें 1 सप्ताह के भीतर बंगला खाली करने का आदेश दिया गया है. लखन घनघोरिया ने इस पत्र की भाषा पर आपत्ति जताते हुए अपना तर्क दिया है कि बतौर विधायक नियम से उन्हें उनके विधानसभा क्षेत्र में एक एमआईजी बंगला मिल सकता है.

उन्होंने कहा कि एक तरफ सरकार कह रही है कि कोरोनावायरस का संकट काल है, इसलिए किसी किराएदार को निकाला नहीं जा सकता ऐसे में सरकार को बंगला खाली करवाने कि इतनी जल्दबाजी क्यों है. लखन घनघोरिया का कहना है कि उन्हें उनके विधानसभा क्षेत्र में यदि कोई दूसरा एमआईजी क्वार्टर दे दिया जाता है तो वे बंगला खाली कर देंगे.

इस समय जब सब का पूरा ध्यान महामारी पर टिका हुआ है, ऐसे सरकार पूर्व मंत्रियों को बंगला खाली करने का नोटिस एक के बाद दिए जा रही है. बहरहाल, लखन घनघोरिया ने चिट्ठी का जवाब चिट्ठी से देते हुए एक चिट्ठी संभागायुक्त को सौंप दी है.

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