जबलपुर। केन्द्रीय सुरक्षा संस्थान जीसीएफ फैक्ट्री में पदस्थ जूनियर वर्क्स मैनेजर एससी खाटुआ हत्याकांड का खुलासा करने में जिला पुलिस पूरी तरह नाकाम रही है. पुलिस मुख्यालय अब इस केस को सीबीआई के हवाले करने का विचार कर रहा है. एसपी जबलपुर से मुख्यालय ने इस केस को लेकर राय मांगी है, जिस पर एसपी निमिष अग्रवाल ने अपनी सहमति दे दी है.
धनुष तोप में लगे चायनीज बैरिंग के बाद से मृतक एससी खाटूआ सुर्खियों में आए थे, जिसको लेकर सीबीआई ने भी उनसे पूछताछ की थी. गन कैरिज फैक्टरी में पदस्थ रहे एससी खाटूआ का पाटबाबा पहाड़ी के पास जंगल मे शव मिला था. बाद में पोस्टमार्टम में खुलासा हुआ कि खाटूआ की हत्या की गई थी. धनुष तोप में लगे चाइनीज बैरिंग को लेकर सीबीआई की राडार में आए खाटूआ की अचानक हत्या हो जाना फैक्टरी सहित सभी को चौकने वाली घटना थी. लिहाजा पुलिस ने खाटूआ के हत्यारे को पकड़ने का भरसक प्रयास किया, लेकिन पुलिस को सफलता हाथ नहीं लगी है. अब माना जा रहा है कि इस केस से जुड़ी जांचों को सीबीआई नए सिरे से देखेगी.
धनुष तोप में लगे चाइनीस बेरिंग मामले में 2017 में सीबीआई ने दिल्ली की सिद्ध सेल्स सिंडिकेट के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज की थी. साथ ही जांच एजेंसी ने जबलपुर की गन कैरिज फैक्ट्री के अधिकारियों के खिलाफ आपराधिक साजिश, धोखाधड़ी और जालसाजी करने का मामला भी दर्ज कर किया था. जांच में सीबीआई ने पाया था कि चायनीज बैरिंग की खरीदी में कुछ गड़बड़ी हुई है, जिसको लेकर मृतक एससी खाटूआ से सीबीआई ने पूछताछ की थी. खाटूआ कि मौत के कुछ दिन पहले ही सीबीआई ने नोटिस भी उन्हें दिया था, जिसका जवाब देने के लिए एससी खाटूआ को दिल्ली भी जाना था.