जबलपुर। प्रभारी के तौर पर नियुक्त अधिकारियों द्वारा वाहनों के परमिट जारी किए जाने के खिलाफ हाईकोर्ट में याचिका दायर की गयी थी. याचिका पर सुनवाई करते हुए हाईकोर्ट जस्टिस विशाल मिश्रा की एकलपीठ ने प्रभारी अधिकारियों द्वारा परमिट जारी करने पर रोक लगाते हुए अनावेदकों को नोटिस जारी कर जवाब मांगा है.
अनावेदकों को नोटिस जारी कर जवाब मांगा : हाई कोर्ट की एकलपीठ ने प्रभारी अधिकारियों द्वारा परमिट जारी करने पर रोक लगाते हुए अनावेदकों को नोटिस जारी कर जवाब मांगा है. याचिकाकर्ता फौजदार बस सर्विस की तरफ से दायर की गई याचिका में कहा गया है कि जबलपुर में संभागीय परिवाहन अधिकारी तथा आरटीओ के पद सक्षम अधिकारियों की नियुक्ति नहीं की गई है. इन पदों पर प्रभारी अधिकारियों के रूप में कनिष्ठ अधिकारी को चार्ज दिया गया है. मोटर व्हीकल एक्ट 1988 की धारा 68 के तहत सक्षम अधिकारियों की शक्तियां किसी अन्य अधिकारियों को स्थानांतरित नहीं की जा सकती हैं.
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पहले भी आदेश जारी हुआ था : इस संबंध में हाईकोर्ट ने पूर्व में भी आदेश पारित किया था. जबलपुर में संभागीय परिवाहन अधिकारी तथा क्षेत्रीय परिवाहन अधिकारी का प्रभार कनिष्ठ अधिकारियों को दिया गया है. सक्षम अधिकारी नहीं होने के बावजूद वह वाहनों के परमिट जारी कर रहे हैं, जो अवैधानिक है. याचिका की सुनवाई के बाद एकलपीठ ने उक्त आदेश जारी किए. याचिकाकर्ता की तरफ से अधिवक्ता आशीष रावत ने पैरवी की. (incharge officers in RTO issue permits) ( High court issued notice)