जबलपुर। लॉकडाउन खुलने के बाद से संस्कारधानी अपराधों की राजधानी बन गई है. जबलपुर में इन दिनों मर्डर होना आम बात हो गई है. बीते 1 माह के अंतराल में अभी तक 10 से ज्यादा हत्याएं जबलपुर में हुई हैं. हालांकि कुछ हत्या के मामलों का पुलिस ने खुलासा करते हुए आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया है, लेकिन घटनाओं में कमी नहीं आ रही है. वहीं एक और मामला सामने आया है, जिसमें जिले के आगासौद गांव में एक दिव्यांग युवक और उसकी 3 साल की बेटी की अज्ञात हमलावरों ने धारदार हथियार से हत्या कर दी है. फिलहाल सूचना पर पहुंची माढ़ोताल थाना पुलिस जांच कर रही है.
घटना के समय मृतक की दिव्यांग पत्नी दमोह तेंदूखेड़ा गई हुई थी. घटना की सूचना मिलने के बाद माढ़ोताल थाना का स्टाफ मौके पर पहुंचा और जांच शुरू कर दी है. जानकारी के अनुसार जब मृतक का भाई विष्णु गौड़ उससे मिलने घर आया तो देखा कि दरवाजा खुला हुआ है, अंदर जाकर देखा तो दिव्यांग सुशील गौड़ और उसकी तीन साल की बेटी घर के अंदर मृत पड़े हुए थे.
दोनों के शरीर में थे कई घाव
मृतक सुशील गौड़ और उसकी बेटी जमीन पर पड़े हुए थे, दोनों के ही शरीर में धारदार हथियार से कई घाव किए गए थे. बच्ची के गले में हमला कर उसकी हत्या की गई थी, वहीं सुशील के पीठ और गले पर काफी गहरे घाव थे.
पति-पत्नी दोनों दिव्यांग
सुशील और उसकी पत्नी दोनों ही दिव्यांग हैं, परिवार का पालन पोषण करने के लिए घर पर ही किराना दुकान चलाया करते थे. दोनों को शासन की तरफ से पेंशन भी मिलती थी. छोटी सी दुकान से आमदनी और पेंशन से ही परिवार का पालन पोषण चलता था, इसके अलावा सुशील के पास थोड़ी सी पैतृक जमीन भी थी.
गांव में सुशील के सभी से अच्छे संबंध थे
मृतक सुशील और उसकी पत्नी के गांव में सभी से अच्छे संबंध थे. गांव के ज्यादातर लोग उनकी ही दुकान से किराना का सामान लेने आया करते थे. पड़ोस के लोग भी समय आने पर दिव्यांग परिवार की मदद किया करते थे.
माढ़ोताल थाना के ग्राम आगासौद में हुई दोहरी हत्या की सूचना मिलने के बाद पुलिस अधीक्षक सिद्धार्थ बहुगुणा, अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक गोपाल खांडेल, सीएसपी रोहित काशवानी भी मौके पर पहुंचे. घटनास्थल का एसपी ने निरीक्षण करते हुए आरोपियों को पकड़ने के लिए एक टीम गठित की है. फिलहाल शव का पंचनामा कर पोस्टमार्टम के लिए मेडिकल कॉलेज रेफर कर दिया गया है, साथ ही आरोपियों की तलाश भी शुरू कर दी गई है.