इंदौर. जबलपुर कोर्ट ने एक 60 साल बुजुर्ग को गैंगरेप के मामले में जमानत दी है. वहीं, पूरे ही मामले में पुलिस की कार्रवाई को लेकर कई तरह के सवाल भी खड़े किए हैं. इधर, अब एक बार फिर फरियादी एडवोकेट कोर्ट के माध्यम से पूरे मामले को लेकर हाईकोर्ट जाने की बात कर रहे हैं.
क्या है पूरा मामला: पूरा मामला इंदौर से तकरीबन 80 किलोमीटर दूर मान्धाता थाना क्षेत्र का है. मांधाता थाना पुलिस ने तकरीबन कुछ महीने पहले एक युवती के गैंगरेप के मामले में 60 साल के बुजुर्ग और उनके एक सहयोगी के खिलाफ प्रकरण दर्ज किया था. वहीं, प्रकरण दर्ज करने के बाद से लगातार 60 साल के बुजुर्ग जेल के अंदर था. उनके सहयोगी लगातार फरार चल रहा है.
वहीं, जेल के अंदर रहते हुए 60 वर्षीय बुजुर्ग ने अपने एडवोकेट के माध्यम से पहले खंडवा स्थित जिला कोर्ट में एक जमानत आवेदन प्रस्तुत किया, लेकिन कोर्ट ने उसे खारिज कर दिया. इसको लेकर आरोपी के एडवोकेट ने जबलपुर हाईकोर्ट में पूरे मामले को लेकर एक आवेदन प्रस्तुत किया, जिस पर जबलपुर हाईकोर्ट ने पूरे मामले में सुनवाई की और सुनवाई के दौरान आरोपी के एडवोकेट ने विभिन्न तरह के तर्क भी जबलपुर हाईकोर्ट के समक्ष रखें. इसमें प्रमुख रूप से इस बात की जानकारी कोर्ट के समक्ष रखी कि 60 वर्षीय बुजुर्ग जिस पर गैंगरेप के आरोप के तहत प्रकरण दर्ज किया गया है. उसे बुजुर्ग की नसबंदी हो चुकी है.
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पीड़िता ने पुलिस को क्या बताया: इधर, पीड़ित युवती ने पुलिस को बताया कि गैंग रेप होने के बाद उसने गर्भ धारण कर लिया था. अतः जबलपुर हाईकोर्ट ने पीड़िता का मेडिकल करवाया और बुजुर्ग के डीएनए से उसका मिलान भी करवाया, लेकिन डीएनए रिपोर्ट नेगेटिव आने के बाद जबलपुर हाईकोर्ट ने आरोपी बुजुर्ग को सशक्त जमानत देती है. वहीं, जिस तरह से पुलिस ने इस पूरे मामले में जांच की है, उसको लेकर कई तरह के सवाल खड़े किए हैं. आने वाले दिनों में जबलपुर हाईकोर्ट सुनवाई कर सकता है.