इंदौर। इंदौर-खंडवा स्थित मार्ग को कांवड़ यात्राओं के दौरान भारी वाहनों के लिए प्रतिबंधित कर दिया गया है. देशभर में कांवडियों के साथ होने वाली वाहन दुर्घटनाओं को रोकने के लिए ऐसा किया गया है. जिला सड़क सुरक्षा समिति की बैठक में निर्णय लिया गया कि उक्त मार्ग पर धार्मिक यात्रा होने से श्रद्धालुओं को असुविधा न हो, इसलिये इंदौर- खण्डवा मार्ग पर चलने वाले भारी वाहनों का रूट परिवर्तन किया जायेगा.
यह आदेश 15 अगस्त 2019 तक प्रभावशील होगा. इस रूट पर चलने वाले हैवी वाहन सुबह 8 बजे से रात 9 बजे तक इंदौर तेजाजी नगर से डायवर्ट रूट राऊ- महू मार्ग से संचालित होंगे. जिला प्रशासन द्वारा जारी आदेश के अनुसार दुग्ध वाहन, नगर निगम की स्वास्थ्य सेवाओं में लगे वाहन, पुलिस वाहन, फायर ब्रिगेड, पानी टैंकर, आर्मी के वाहन, विद्युत मंडल के कार्य में संलग्न वाहन, एलपीजी/पेट्रोलियम पदार्थ वाहन, कृषि उपज मण्डी में सब्जी ले जाने वाले वाहन तथा यात्री बसों पर प्रतिबंध का आदेश लागू नहीं होगा.
इंदौर-खण्डवा मार्ग पर जुलाई के महीने में धार्मिक कांवड़ यात्रा होने के कारण पैदल चलने वाले श्रद्धालुओं की संख्या सबसे ज्यादा होती है. इसकी वजह खंडवा मार्ग पर ओंकारेश्वर मंदिर है. कांवड़ नर्मदा नदी से जल लेकर इसी मार्ग से पैदल कांवड़ यात्रा करते हुए महाकाल मंदिर उज्जैन पहुंचते हैं. इस दौरान कांवड़ियों के साथ कई दुर्घटनाएं भी हो चुकी हैं. इस श्रावण मास में कांवड़ियों की सुरक्षा को देखते हुए कलेक्टर लोकेश कुमार जाटव ने केन्द्रीय मोटरयान अधिनियम के द्वारा इंदौर-खण्डवा मार्ग पर संचालित हैवी गुड्स वाहनों का रूट परिवर्तन करने का आदेश जारी किया है.