होशंगाबाद। होशंगाबाद जिले के देहात थाने में पिछले दिनों एक लेब्राडोर डॉग के मालिकाना हक को लेकर दो पक्षों में विवाद का मामला सामने आया. पुलिस ने विवाद को सुलझाने के लिए डीएनए टेस्ट करवाने का फैसला किया, इसके लिए पैसों की कमी आड़े आ रही थी. वहीं आज डॉग का मालिकाना हक का दावा करने वाले एक शख्स शादखब खान ने पुलिस को 28 हजार का डीडी सौंपा है. जिसके बाद पुलिस डॉग के सैंपल लेकर हैदराबाद के लिए रवाना हुई है.
दूसरे पक्ष ने नहीं की डीएनए कराने की मांग
वहीं दूसरा पक्ष कृतिक शिवहरे ने बताया की, डॉग की तबीयत पहले से बेहतर है. डीएनए करवाने के लिए शादाब खान ने मांग की थी. इस पर दूसरे पक्ष ने कहा कि, 'हमने डॉगी का डीएनए कराने की मांग नहीं थी, इसलिए हमने रुपए नहीं दिए'.
हैदराबाद में होगा DNA परीक्षण
टीआई हेमंत श्रीवास्तव का कहना है कि, डीएनए परीक्षण केवल हैदराबाद में किया जाता है, जो कि राज्य से बाहर है. ऐसे में आवेदनकर्ता से ही डीएनए का रुपए वसूले जा रहे हैं.
ये है पूरा मामला
20 नवंबर को शादाब खान और छात्र नेता कृतिक शिवहरे के बीच लैब्राडोर डॉग के मालिकाना हक का विवाद थाने पहुंचा था. शादाब का कहना है कि, उन्होंने पचमढ़ी से 2017 में डॉग लिया था, तो वहीं कृतिक का दावा है कि, वो भोपाल गए थे, तब पुलिस उनके घर से उनका डॉगी ले गई. कुत्ते के मालिकाना हक के लिए शादाब ने डॉग के डीएनए टेस्ट की मांग की थी. अनिर्णय की स्थिति और पुलिस पर बने दबाव के कारण 21 नवंबर को डाक का सैम्पल लिया गया था.