ग्वालियर। 22वां वीरांगना बलिदान मेला ग्वालियर में 17-18 जून को आयोजित होगा. वीरांगना रानी लक्ष्मीबाई की शहादत की 163वीं वर्षगांठ पर मेले का आयोजन होगा. इस दौरान कोविड गाइडलाइन का भी सख्ती से पालन कराया जाएगा. इस अवसर पर 18 जून को ग्वालियर में पांच महिलाओं को कोरोना योद्धा नारी शक्ति सम्मान से भी नवाजा जाएगा. हालांकि कोरोना संक्रमण को देखते हुए इस बार बलिदान का नाट्य रूपांतरण नहीं होगा.
22वां वीरांगना बलिदान मेला का आयोजन
दरअसल, कोरोना संक्रमण के चलते इस बार बलिदान मेले में सीमित संख्या में लोग शामिल हो सकेंगे. 17 जून को झांसी किले से 'शहीद ज्योति' शाम 7 बजे ग्वालियर आएगी. शाम को शहर के प्रमुख 51 चौराहों और तिराहों पर एक साथ रानी के चित्र के सामने शहीदों, क्रांतिकारियों के नाम 21 दीप जलाए जाएंगे. इस दौरान राष्ट्रगीत गायन भी होगा. वहीं 18 जून सुबह 8 बजे से 10 बजे तक श्रद्धांजलि सभा होगी. जिसमें शहर के 20 लोग बैठेंगे. यहां पर शहर की 5 महिला प्रतिनिधियों का सम्मान भी होगा, इनको कोरोना योद्धा नारी शक्ति सम्मान दिया जाएगा.
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शाम को वर्चुअल कवि सम्मेलन का भी आयोजन होना है. लेकिन इस मेले में बलिदान मेले का नाट्य रूपांतरण शहर की जनता को देखने को नहीं मिलेगा. क्योंकि इस बार नाट्य रूपांतरण नहीं किया जा रहा है. जिसकी वजह कोरोना वायरस बताई जा रही है. वीरांगना बलिदान मेला के संस्थापक, बीजेपी नेता और पूर्व मंत्री जयभान सिंह पवैया ने लोगों से कोविड गाइडलाइन का पालन करने की भी अपील की है.