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रेलवे की संवेदनहीनता ने ली बुजुर्ग की जान, मुसाफिरों ने की कार्रवाई की मांग

रेलवे स्टेशन मे सीढ़ी से उतरते वक्त 80 साल के एक बुजुर्ग गिर गये. जिन्हें काफी देर तक इलाज नहीं मिलने से उसकी मौत हो गई. इस घटना से रेलवे की व्यवस्था पर कई सवाल खड़े कर दिए हैं.

Railway insensitivity took the life of an elderly person
रेलवे की संवेदनहीनता ने ली बुजुर्ग की जान
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Published : Nov 29, 2019, 5:11 PM IST

ग्वालियर। रेलवे के कर्मचारियों की लापरवाही के चलते रेलवे स्टेशन में एक बड़ी दुर्घटना हो गई. सीढ़ी से उतरते वक्त 80 साल के एक बुजुर्ग गिर गए. जिन्हें काफी देर तक इलाज नहीं मिलने से उसकी मौत हो गई. इस घटना ने रेलवे की सुविधाओं की पोल खोलकर रख दी है, जिसके चलते 45 मिनट तक डॉक्टर के नहीं पहुंचने से एक बुजुर्ग की तड़प-तड़प कर जान चली गई.

रेलवे की संवेदनहीनता ने ली बुजुर्ग की जान

ना GRP पहुंची ना कोई डॉक्टर आया
मामला रेलवे स्टेशन के दो नंबर प्लेटफार्म का है, जहां बुजुर्ग कृष्ण गोपाल चोपड़ा ग्वालियर से दिल्ली जाने के लिए प्लेटफार्म नंबर 2 से नीचे उतर रहे थे. तभी सीढ़ियों से उनका पैर फिसल गया और वो सिर के बल नीचे गिर पड़े. जिसकी वजह से उनके सिर पर गहरी चोट लग गई और वो बेहोश हो गए. वहां से गुजर रहे मुसाफिरों ने रेलवे स्टेशन अथॉरिटी को तुरंत सूचना दी लेकिन करीब 30 मिनट तक ना तो जीआरपी वहां पहुंची और ना ही 45 मिनट तक कोई डॉक्टर. इस दौरान बुजुर्ग की तड़प-तड़प कर जान चली गई.

जिसके बाद वहां पर मौजूद लोगो में रेलवे की लापरवाही को लेकर काफी आक्रोश भी देखने को मिला. उन्होंने जिम्मेदार रेलवे कर्मचारियों के खिलाफ कार्रवाई करने की मांग की है.

सुरक्षा के इंतजाम नहीं
जिन सीढ़ियों से हर दिन हजारों की संख्या में यात्री आते-जाते हैं, उन सीढ़ियों के किनारों पर मेटल प्लेट न होने से आये दिन दुर्घटनाएं होती रहती हैं. लेकिन रेलवे प्रशासन कोई कार्रवाई नहीं कर रहा है. इस घटना में रेलवे की संवेदनहीनता ने मानवता को शर्मसार किया है. अब देखना होगा कि इसके लिए जिम्मेदार कर्मचारियों पर क्या कार्रवाई होती है.

ग्वालियर। रेलवे के कर्मचारियों की लापरवाही के चलते रेलवे स्टेशन में एक बड़ी दुर्घटना हो गई. सीढ़ी से उतरते वक्त 80 साल के एक बुजुर्ग गिर गए. जिन्हें काफी देर तक इलाज नहीं मिलने से उसकी मौत हो गई. इस घटना ने रेलवे की सुविधाओं की पोल खोलकर रख दी है, जिसके चलते 45 मिनट तक डॉक्टर के नहीं पहुंचने से एक बुजुर्ग की तड़प-तड़प कर जान चली गई.

रेलवे की संवेदनहीनता ने ली बुजुर्ग की जान

ना GRP पहुंची ना कोई डॉक्टर आया
मामला रेलवे स्टेशन के दो नंबर प्लेटफार्म का है, जहां बुजुर्ग कृष्ण गोपाल चोपड़ा ग्वालियर से दिल्ली जाने के लिए प्लेटफार्म नंबर 2 से नीचे उतर रहे थे. तभी सीढ़ियों से उनका पैर फिसल गया और वो सिर के बल नीचे गिर पड़े. जिसकी वजह से उनके सिर पर गहरी चोट लग गई और वो बेहोश हो गए. वहां से गुजर रहे मुसाफिरों ने रेलवे स्टेशन अथॉरिटी को तुरंत सूचना दी लेकिन करीब 30 मिनट तक ना तो जीआरपी वहां पहुंची और ना ही 45 मिनट तक कोई डॉक्टर. इस दौरान बुजुर्ग की तड़प-तड़प कर जान चली गई.

जिसके बाद वहां पर मौजूद लोगो में रेलवे की लापरवाही को लेकर काफी आक्रोश भी देखने को मिला. उन्होंने जिम्मेदार रेलवे कर्मचारियों के खिलाफ कार्रवाई करने की मांग की है.

सुरक्षा के इंतजाम नहीं
जिन सीढ़ियों से हर दिन हजारों की संख्या में यात्री आते-जाते हैं, उन सीढ़ियों के किनारों पर मेटल प्लेट न होने से आये दिन दुर्घटनाएं होती रहती हैं. लेकिन रेलवे प्रशासन कोई कार्रवाई नहीं कर रहा है. इस घटना में रेलवे की संवेदनहीनता ने मानवता को शर्मसार किया है. अब देखना होगा कि इसके लिए जिम्मेदार कर्मचारियों पर क्या कार्रवाई होती है.

Intro:एंकर-- ग्वालियर रेलवे स्टेशन को जहां एक ओर स्मार्ट स्टेशन बनाने की कवायद की जा रही है तो वही रेलवे स्टेशन पर यात्रियों की सुरक्षा की जिम्मेदारी उठाने वाले लोग ही अपना काम ठीक से नहीं कर रहे हैं ऐसा ही एक नजारा आज रेलवे स्टेशन प्लेटफार्म नंबर दो पर देखने को मिला जब एक 80 साल का बुजुर्ग सीढ़ियों से गिरने पर घायल हो गया, लेकिन काफी देर तक उन्हें इलाज नहीं मिला जिसके कारण उनकी तड़प तड़प कर मौत हो गई।

Body:जानकारी के मुताबिक बुजुर्ग  कृष्ण गोपाल चोपड़ा ग्वालियर से दिल्ली जाने के लिए रेलवे स्टेशन के प्लेटफार्म नंबर 2 से नीचे उतर रहे थे तभी सीढ़ियों से उनका पैर फिसल गया और वे  सर के बल नीचे गिर पड़े. जिसके कारण उनके सर के पीछे गहरी चोर पहुंची थी और वे अचेत हो गए । उनके गिरते ही आसपास से गुजरने वाले मुसाफिरों ने उन्हें संभालने की कोशिश करते हुए रेलवे स्टेशन अथॉरिटी को इस हादसे की तुरंत सूचना दी लेकिन करीब 30 मिनट तक ना तो जीआरपी पुलिस का कोई जवान वहां पहुंचा था  और ना ही  45 मिनट तक कोई डॉक्टर उनकी मदद के लिए पहुंचा था इसी बीच दिल्ली जा रहे कृष्ण गोपाल चोपड़ा ने सीढ़ियों पर पड़े पड़े दम तोड़ दिया जिसके बाद प्रत्यक्षदर्शियों में रेलवे की लापरवाही पूर्ण व्यवस्था को लेकर काफी आक्रोश भी देखने को मिला । उनका कहना था कि जब बुजुर्ग सीढ़ियों से  फिसला था उस समय वह लोग उसकी मदद के लिए आगे बढ़े थे और उन्होंने तुरंत डॉक्टरी मदद के लिए डिप्टी एसएस को जानकारी दी थी लेकिन इन सबके बावजूद भी आरपीएफ के एक जवान को छोड़कर कोई भी मदद के लिए नहीं पहुंचा... रेलवे प्रशासन की लापरवाही भरे रवैया पर यात्रियों ने कार्रवाई की मांग की है।

Conclusion:बुजुर्ग कृष्ण गोपाल चोपड़ा की इलाज नहीं मिलने से हुई मौत ने रेलवे अथॉरिटी के यात्रियों को दिए जाने वाले सुविधाओ के तमाम दावों की पोल खोल कर रख दी है ऐसे में बुजुर्ग की मौत ने कई सवाल खड़े कर दिए हैं  कि जब जीआरपी आरपीएफ और रेलवे के सैकड़ों कर्मचारी स्टेशन पर मौजूद रहते हैं तो फिर घायल को तुरंत इलाज मुहैया कराने में लापरवाही क्यों बरती गई,बुजुर्ग इलाज केेेे लिए इंतजार करता रहा और सैकड़ों लोगों के सामने उसकी मौत हो जाती है लेकिन देखने वाली बात होगी कि बुजुर्ग  की मौत के लिए  देरी से पहुंचने वाले जिम्मेदारों प पर कोई कार्रवाई होती है या नहीं। इतना ही नही जिन सीढ़ियों से प्रतिदिन हजारों की संख्या में लोजी चढ़ते उतरते है उन सीडीओ की किनारों पर मेटल प्लेट न होने से आये दिन लोग फिसल कर दुर्घटना का शिकार होते है ऐसे में लापरवाह ठेकेदार भी कार्यबाई के दायरे में आता है।

बाइट- रवि--यात्री
बाइट-सुरेश कुमार मीणा -एसआई, थाना आरपीएफ।
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