ETV Bharat / state

अचानक ग्वालियर पहुंचकर सिंधिया, दाताबंदी दिवस पर गुरुद्वारे में टेका माथा

दिल्ली से अचानक ग्वालियर पहुंचे केंद्रीय नागरिक उड्डयन मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया ने किला स्थित गुरुद्वारा दाता बंदी छोड़ प्रकाश पर्व पर शामिल हुए. इस दौरान उन्होंने गुरुद्वारे में माथा टेका.

jyotiraditya scindia
ज्योतिरादित्य सिंधिया
author img

By

Published : Oct 5, 2021, 10:55 AM IST

Updated : Oct 5, 2021, 11:47 AM IST

ग्वालियर। केंद्रीय नागरिक उड्डयन मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया (jyotiraditya scindia) किला स्थित गुरुद्वारा दाता बंदी छोड़ पहुंचे. यहां सिंधिया दाता बंदी छोड़ गुरुद्वारे (Gurudwara) में आयोजित प्रकाश पर्व में शामिल हुए. उन्होंने कहा कि यह एक ऐतिहासिक कार्यक्रम है. सिख समाज इसके लिए बधाई का पात्र है. यह ऐतिहासिक पर्व देश-प्रदेश का नहीं बल्कि विश्व का है.

ग्वालियर में ज्योतिरादित्य सिंधिया ने गुरुद्वारे में झुकाया शीश.

दिल्ली से ग्वालियर पहुंचे थे सिंधिया
ज्योतिरादित्य सिंधिया ने कहा कि सिख समाज के मूल्य और आदर्श इस दाता बंदी छोड़ दिवस पर दिखते हैं. मुझे भी मत्था टेकने का सौभाग्य मिला. उन्होंने कहा कि आज भी उस घटना को देखकर भावुक हो जाता हूं. दरअसल, सिंधिया दिल्ली से अचानक ग्वालियर (Gwalior) पहुंचे. यहां उन्होंने गुरुद्वारे में माथा टेका.

तो ऐसे जुटी थी सियासत के सिकंदर सिंधिया के रोड शो में भीड़, इन महिलाओं के जुबानी सुनिये रैली की कहानी

बता दें कि गुरु हरगोविंद सिंह ने यहां 52 हिंदू राजाओं को मुगल बादशाह जहांगीर की कैद से आजाद कराया था. उस उपलक्ष्य में 400 वर्ष पूर्ण होने पर दाता बंदी छोड़ प्रकाश पर्व का आयोजन किया जा रहा है. इसमें लाखों की संख्या में श्रद्धालु शामिल हुए. यह एक तीन दिवसीय आयोजन है.

ग्वालियर। केंद्रीय नागरिक उड्डयन मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया (jyotiraditya scindia) किला स्थित गुरुद्वारा दाता बंदी छोड़ पहुंचे. यहां सिंधिया दाता बंदी छोड़ गुरुद्वारे (Gurudwara) में आयोजित प्रकाश पर्व में शामिल हुए. उन्होंने कहा कि यह एक ऐतिहासिक कार्यक्रम है. सिख समाज इसके लिए बधाई का पात्र है. यह ऐतिहासिक पर्व देश-प्रदेश का नहीं बल्कि विश्व का है.

ग्वालियर में ज्योतिरादित्य सिंधिया ने गुरुद्वारे में झुकाया शीश.

दिल्ली से ग्वालियर पहुंचे थे सिंधिया
ज्योतिरादित्य सिंधिया ने कहा कि सिख समाज के मूल्य और आदर्श इस दाता बंदी छोड़ दिवस पर दिखते हैं. मुझे भी मत्था टेकने का सौभाग्य मिला. उन्होंने कहा कि आज भी उस घटना को देखकर भावुक हो जाता हूं. दरअसल, सिंधिया दिल्ली से अचानक ग्वालियर (Gwalior) पहुंचे. यहां उन्होंने गुरुद्वारे में माथा टेका.

तो ऐसे जुटी थी सियासत के सिकंदर सिंधिया के रोड शो में भीड़, इन महिलाओं के जुबानी सुनिये रैली की कहानी

बता दें कि गुरु हरगोविंद सिंह ने यहां 52 हिंदू राजाओं को मुगल बादशाह जहांगीर की कैद से आजाद कराया था. उस उपलक्ष्य में 400 वर्ष पूर्ण होने पर दाता बंदी छोड़ प्रकाश पर्व का आयोजन किया जा रहा है. इसमें लाखों की संख्या में श्रद्धालु शामिल हुए. यह एक तीन दिवसीय आयोजन है.

Last Updated : Oct 5, 2021, 11:47 AM IST
ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.