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रेलवे ने किया नई तकनीक का प्रयोग, ट्रेनों में आगजनी की घटनाओं से बचाएगी फायर प्रूफ बॉल - ग्वालियर-पुणे एक्सप्रेस

ट्रेनों में आग लगने की घटना को रोकने के लिए रेलवे ने ट्रेनों की बोगी में फायर प्रूफ बॉल लगाए हैं. यह फायर प्रूफ बॉल शुरुआती चरण में ही आग को बुझा सकते हैं.

Fire proof ball will protect against fire incidents in trains
ट्रेनों में आगजनी की घटनाओं से बचाएगी फायर प्रूफ बॉल
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Published : Jan 16, 2020, 2:41 PM IST

ग्वालियर। ट्रेनों में आग लगने की घटना पर नियंत्रण करने के लिए रेलवे ने एक नई तकनीक का प्रयोग किया है. ट्रेनों में आग लगने की घटना को रोकने के लिए और उस पर काबू पाने के लिए फायर प्रूफ बॉल लगाए गए हैं.

यह फायर प्रूफ बॉल आग लगते ही फट जाते हैं और आग बुझा देते है. जहां अब ट्रेनों में आग लगने की स्थिति में काबू पाने के लिए अग्निशमन यंत्रों के साथ-साथ फायरप्रूफ बॉल का भी उपयोग होगा. यह फायर प्रूफ बॉल हल्की और पोर्टेबल होती है, जो शुरुआती चरण में ही आग को बुझा सकती है.

ट्रेनों में आगजनी की घटनाओं से बचाएगी फायर प्रूफ बॉल

फायर प्रूफ बॉल आग के संपर्क में आने और 70 डिग्री सेल्सियस तापमान में 5 से 10 सेकंड में फटकर अपना काम शुरू कर देती है. फिलहाल यह फायर प्रूफ बॉल अभी तीन ट्रेनों में लगाई गई है, जिसमें चंबल एक्सप्रेस, ग्वालियर-पुणे एक्सप्रेस और सुशासन एक्सप्रेस ट्रेनें शामिल हैं. वहीं रेलवे ने झांसी मंडल से संचालित होने वाली ट्रेनों में फायर प्रूफ बॉल लगाने का काम शुरू कर दिया है.

ग्वालियर। ट्रेनों में आग लगने की घटना पर नियंत्रण करने के लिए रेलवे ने एक नई तकनीक का प्रयोग किया है. ट्रेनों में आग लगने की घटना को रोकने के लिए और उस पर काबू पाने के लिए फायर प्रूफ बॉल लगाए गए हैं.

यह फायर प्रूफ बॉल आग लगते ही फट जाते हैं और आग बुझा देते है. जहां अब ट्रेनों में आग लगने की स्थिति में काबू पाने के लिए अग्निशमन यंत्रों के साथ-साथ फायरप्रूफ बॉल का भी उपयोग होगा. यह फायर प्रूफ बॉल हल्की और पोर्टेबल होती है, जो शुरुआती चरण में ही आग को बुझा सकती है.

ट्रेनों में आगजनी की घटनाओं से बचाएगी फायर प्रूफ बॉल

फायर प्रूफ बॉल आग के संपर्क में आने और 70 डिग्री सेल्सियस तापमान में 5 से 10 सेकंड में फटकर अपना काम शुरू कर देती है. फिलहाल यह फायर प्रूफ बॉल अभी तीन ट्रेनों में लगाई गई है, जिसमें चंबल एक्सप्रेस, ग्वालियर-पुणे एक्सप्रेस और सुशासन एक्सप्रेस ट्रेनें शामिल हैं. वहीं रेलवे ने झांसी मंडल से संचालित होने वाली ट्रेनों में फायर प्रूफ बॉल लगाने का काम शुरू कर दिया है.

Intro:ग्वालियर- ट्रेनों में आग लगने की घटना पर नियंत्रण करने के लिए रेल विभाग ने एक नई तकनीक का प्रयोग किया है। ट्रेनों में आग लगने की घटना को रोकने के लिए और उस पर काबू पाने के लिए ट्रेनों में फायर प्रूफ बॉल लगाए गए हैं। यह फायर प्रूफ बॉल आग लगते ही फट जाते हैं और आग बुझा देते है। मतलब अब ट्रेनों में आग लगने की स्थिति में काबू पाने के लिए अग्निशमन यंत्रों के साथ-साथ फायरप्रूफ वॉल का भी उपयोग होगा। यह फायर प्रूफ वाल हल्की और पोर्टेबल होती है। यह शुरुआती चरण में ही आग को बुझा सकती हैं।


Body:फायर वॉल के संपर्क में आने और 70 डिग्री सेल्सियस तापमान में 5 से 10 सेकंड में फट कर अपना काम शुरू कर देती है। फिलहाल यह फायर फुल अभी तीन ट्रेनों में लगाई गई हैं जिसमें चंबल एक्सप्रेस, ग्वालियर पुणे एक्सप्रेस और सुशासन एक्सप्रेस ट्रेन शामिल है। इसके बाद रेलवे ने झांसी मंडल से संचालित होने वाली ट्रेनों में फायर वॉल लगाने का काम शुरू कर दिया है।


Conclusion:WT - ट्रेन में लगे फायर प्रूफ वॉल का जायजा लेते हुए
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