दतिया। जिले भर में मैरिज गार्डन बंद पड़े है. जिला प्रशासन इन्हें खोलने की अनुमति नहीं दे रहा है. अब ऐसे में मैरिज गार्डन संचालकों की परेशानी बढ़ रही है कि वो अपने खर्चों को पूरा करेंगे, क्योंकि वहीं उनकी आय का माध्यम है.
दतिया जिले में करीब आधा सैकड़ा मैरिज गार्डन है, लेकिन कोरोना महामारी के चलते इनको प्रशासन के द्वारा बंद करा दिया गया. जिसके चलते शादियां भी इस साल बहुत कम हुई और गार्डन तो खुले ही नहीं, लोगों ने घरों में ही शादियां कर इस कोरोनावायरस से बचाव किया. लेकिन मैरिज गार्डन में मौजूद स्टॉफ, साफ-सफाई और संचालन कराने के लिए लगाई गई लागत से परेशान दिखाई दे रहे हैं.
गार्डन संचालकों के द्वारा शादी बुकिंग के लिए एडवांस में लिए गए पैसों को भी वापस करना पढ़ रहा हैं, इसके अलावा साफ-सफाई, गार्डन में पेड़ों के रख-रखाव में लगे मजदूरों को वेतन भी देना पड़ रहा है, ऐसे में शादी गार्डन संचालकों को आर्थिक संकट की डबल मार झेलना पड़ रहा है. इससे गार्डन संचालकों को काफी घाटे का सामना कर रहे हैं.
मैरिज गार्डन संचालकों का कहना है कि शहर को तो प्रशासन के द्वारा पूरी तरह से खोल दिया जाता है, जिसकी वजह से शहर भर में भीड़-भाड़ देखने को मिल रही है, लेकिन मैरिज गार्डनों को बंद रखा जा रहा है, जिसकी वजह से गार्डन संचालकों को घाटे का सामना करना पड़ रहा है और जो शादियों के लिए एडवांस पैसे ले लिए थे उनको भी वापस करना पड़ रहा है. तेजी से बढ़ रहे इस आर्थिक संकट को लेकर जिले का गार्डन संचालक एसोसिएशन बैठक कर, इस परेशानी से बाहर निकलने का हल तलाश रहा है.