छिंदवाड़ा। आपने दरगाहों में फूलों की चादर और चादर चढ़ाने का रिवाज सुना होगा, लेकिन छिंदवाड़ा में सितार वाले बाबा की ऐसी दरगाह है जहां फूल नहीं पत्थर चढ़ाए जाते हैं.
शहर के बीचोबीच छोटा इमामबाड़ा में अकबरी मस्जिद के प्रांगण में सितार वाले बाबा की दरगाह है,जहां लोग चादर नहीं पत्थर चढ़ाकर आते हैं,लोगों का मानना है कि अगर किसी का कुछ जाए तो उतने वजन का पत्थर चढ़ाने से 2-3 दिन के अंदर खोई हुई चीज मिल जाती है.लोगों का कहना है कि यह दरगाह काफी पुरानी है,किसी ने भी सितार वाले बाबा को देखा नहीं है पर उनके प्रति काफी आस्था है. माना गया है कि खोई हुई वस्तु अगर मिल जाए तो मिली हुई वस्तु के वजन के हिसाब से प्रसाद चढ़ता है.
बाबा में आस्था रखने वाले छोटे खां बताते है बहुत साल पहले छिंदवाड़ा के लावाघोघरी थाना में पदस्थ टीआई की रिवाल्वर कहीं गिर गई थी ,जिसके कारण वह काफी परेशान थे उन्होनें सितार वाले बाबा के पास पत्थर चढ़ाया और कुछ दिन बाद ही उनकी रिवाल्वर मिल गई.
इस दरगाह में लोग दूर-दूर से मन्नते मांगने आते हैं और मन्नत पूरी होने पर प्रसाद चढाते है.