छिंदवाड़ा। दूसरे के एटीएम का पासवर्ड हैक करना और एटीएम बदलकर ठगी करने के मामले के बाद अब बदमाशों ने एटीएम हैक करने का नया तरीका निकाला है, जिसके बाद वे सीधे बैंक को ही चूना लगा रहे हैं. ताजा मामला छिंदवाड़ा जिले का है, जहां अंतरराज्यीय गिरोह ने एटीएम हैक करने की कोशिश की, जिसमें वह सफल नहीं हो पाए.
खुद के बनाए औजारों से करते हैं एटीएम हैक
एटीएम हैक करने के लिए बदमाश किसी तकनीक या सॉफ्टवेयर का इस्तेमाल नहीं करते हैं, बल्कि खुद के बनाए हुए एक औजार के साथ ऊन बुनने की सलाई का उपयोग करते हैं. इसके माध्यम से बड़ी आसानी से एटीएम को हैक कर लेते हैं और बैंक से मनचाही रकम निकालकर ठगी करते हैं.
ऐसे देते हैं वारदात को अंजामहैकर एटीएम बूथ में जाकर पहले खुद का एटीएम कार्ड उपयोग करते हैं. एटीएम में ट्रांजैक्शन के बाद जैसे ही मशीन रुपयों की काउंटिंग शुरू करती है, उसी वक्त एक विशेष औजार से कैश चेंबर की शटर का गियर गिरा देते हैं, जिसके बाद दूसरे औजार की मदद से कैश बाहर निकाल लेते हैं. इस दौरान मशीन में एरर आने से खाते से रुपए भी नहीं कटते और नगदी भी बाहर आ जाती है. इस तरह से बदमाश कई एटीम में सेंध लगाते हैं.
ऐसे देते हैं वारदात को अंजाम एटीएम चैनल प्रबंधक के पास जाता है अलर्ट मैसेजअगर कोई भी व्यक्ति एटीएम से छेड़खानी करता है, तो अलर्ट मैसेज एटीएम चैनल प्रबंधक के पास जाता है, लेकिन कई बार एटीएम में पहुंचने से पहले ही बदमाश वारदात को अंजाम दे देते हैं. 6 जनवरी को भी छिंदवाड़ा में जैसे ही बदमाशों ने एटीएम में हैकिंग करना शुरू किया, उसका मैसेज एटीएम चैनल प्रबंधक अनुज ठाकुर के मोबाइल पर आया, जिसके बाद प्रबंधक की सतर्कता से बदमाश को एटीएम के अंदर ही रंगे हाथों पकड़ लिया गया.
पूरे देश में फैला गिरोह, कई बड़ी घटनाओं को दे चुके हैं अंजामपुलिस ने इस गिरोह से पूछताछ की, जिसमें 25 साल के आरोपी संजय कुमार पाल ने बताया कि वह उत्तर प्रदेश के प्रतापगढ़ जिले का निवासी है. उनके ग्रुप में कई और लोग भी शामिल हैं, जो देश के अलग-अलग हिस्सों में जाकर ठगी की वारदात को अंजाम देते हैं.