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रेत भरने उत्तरप्रदेश जा रहे मजदूर बने खतरा, प्रशासन नहीं ले रहा सुध - chhatarpur news

छतरपुर को ग्रीन जोन में रखा गया है लेकिन यूपी से सटे गांवों के मजदूर रेत लोड करने के लिए नदी पार करके यूपी में संचालित खदानों में जाते हैं. इनमें से ज्यादातर वे मजदूर हैं, जो बाहर से आए हैं और उन्हें होम क्वारंटाइन करने के लिए कहा गया है.

Workers going up to load sand become a threat in chhatarpur
रेत लोड करने उप्र जा रहे मजदूर बने खतरा
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Published : May 4, 2020, 12:00 PM IST

छतरपुर। लॉकडाउन के तीसरे चरण में सरकार द्वारा आर्थिक गतिविधियों में शर्तों के साथ छूट दी गई है. जिसके चलते यूपी से सटे गांवों के सैकड़ों मजदूर उप्र में संचालित खदानों में काम करने जाते हैं. वहीं कुछ ही मील दूरी पर एक कोरोना पॉजिटिव मरीज मिला है. इसके बाद भी सरकार के नियमों की अनदेखी करके मजदूर रोजाना आवागमन करते हैं. इस बात को लेकर गौरिहार जनपद के पूर्व अध्यक्ष अवधेश यादव ने रविवार को इस मामले की शिकायत एसडीएम अविनाश रावत और नायब तहसीलदार सरबई नारायण कोरी से की है.

अवधेश यादव ने बताया कि गोयरा थाना इलाके के अजीतपुर के ठीक सामने केन नदी के घाट पर लहुरेटा रेत खदान संचालित है. जहां रोजाना सैकड़ों ट्रक रेत लोड की जाती है. जिसके लिए सैकड़ों मजदूर नदी पार करके रेत भरने जाते हैं. लेकिन इस दौरान सोशल डिस्टेंसिंग और सरकार के किसी नियम का पालन नहीं किया जा रहा है. महामारी के संक्रमण का खतरा बना रहता है. वहीं जिस जगह खदान संचालित है, वहां से कुछ मील की दूरी के गांव में कुछ दिन पहले मुंबई से आया एक व्यक्ति कोरोना पॉजिटिव पाया गया था. इसके बाद भी प्रशासन द्वारा लापरवाही की जा रही है. ग्रामीणों ने बताया कि वे रोजाना सामान लेने के लिए भी नदी पार करके अजीतपुर सहित आस पास के गांव में आते-जाते हैं.

बता दें कि जिले को ग्रीन जोन में शामिल किया गया है. लेकिन उप्र से सटे गांवों के लोगों द्वारा उप्र के कोरोना प्रभावित क्षेत्रों में आवागमन कर रहे हैं. वहीं इन मजदूरों में अधिकतर वे हैं, जिन्हें होम क्वारंटाइन रहने के निर्देश दिए गए हैं. इसके बाद भी प्रशासन की तरफ से किसी प्रकार के रोक-टोक नहीं की जा रही है. जिससे क्षेत्र में कोरोना संक्रमण का खतरा बना हुआ है.

छतरपुर। लॉकडाउन के तीसरे चरण में सरकार द्वारा आर्थिक गतिविधियों में शर्तों के साथ छूट दी गई है. जिसके चलते यूपी से सटे गांवों के सैकड़ों मजदूर उप्र में संचालित खदानों में काम करने जाते हैं. वहीं कुछ ही मील दूरी पर एक कोरोना पॉजिटिव मरीज मिला है. इसके बाद भी सरकार के नियमों की अनदेखी करके मजदूर रोजाना आवागमन करते हैं. इस बात को लेकर गौरिहार जनपद के पूर्व अध्यक्ष अवधेश यादव ने रविवार को इस मामले की शिकायत एसडीएम अविनाश रावत और नायब तहसीलदार सरबई नारायण कोरी से की है.

अवधेश यादव ने बताया कि गोयरा थाना इलाके के अजीतपुर के ठीक सामने केन नदी के घाट पर लहुरेटा रेत खदान संचालित है. जहां रोजाना सैकड़ों ट्रक रेत लोड की जाती है. जिसके लिए सैकड़ों मजदूर नदी पार करके रेत भरने जाते हैं. लेकिन इस दौरान सोशल डिस्टेंसिंग और सरकार के किसी नियम का पालन नहीं किया जा रहा है. महामारी के संक्रमण का खतरा बना रहता है. वहीं जिस जगह खदान संचालित है, वहां से कुछ मील की दूरी के गांव में कुछ दिन पहले मुंबई से आया एक व्यक्ति कोरोना पॉजिटिव पाया गया था. इसके बाद भी प्रशासन द्वारा लापरवाही की जा रही है. ग्रामीणों ने बताया कि वे रोजाना सामान लेने के लिए भी नदी पार करके अजीतपुर सहित आस पास के गांव में आते-जाते हैं.

बता दें कि जिले को ग्रीन जोन में शामिल किया गया है. लेकिन उप्र से सटे गांवों के लोगों द्वारा उप्र के कोरोना प्रभावित क्षेत्रों में आवागमन कर रहे हैं. वहीं इन मजदूरों में अधिकतर वे हैं, जिन्हें होम क्वारंटाइन रहने के निर्देश दिए गए हैं. इसके बाद भी प्रशासन की तरफ से किसी प्रकार के रोक-टोक नहीं की जा रही है. जिससे क्षेत्र में कोरोना संक्रमण का खतरा बना हुआ है.

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