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मथुरा से छतरपुर लौट रहे पांच मजदूरों की सड़क हादसे में मौत, गांव में छाया मातम - mourning environment

मथुरा से छतरपुर लौट रहे पांच मजदूरों की सड़क हादसे में मौत हो गई. सभी मजदूर एक ही परिवार के बताए जा रहे हैं. मरने वालों में दो पुरुष, दो महिलाएं और एक मासूम बच्ची शामिल है.

Five laborers coming from Mathura to Chhatarpur died in an accident
मथुरा से छतरपुर आ रहे पांच मजदूरों की हादसे में हुई मौत
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Published : May 6, 2020, 8:33 AM IST

छतरपुर। लॉकडाउन के कारण देश के तमाम मजदूर जानलेवा संकट से गुजर रहे हैं. मंगलवार को छतरपुर जिले में मथुरा के समीप हुए एक हादसे में लॉकडाउन के चलते अपने घर लौट रहे पांच मजदूरों की मौत हो गई. जिससे जिले में मातम का माहौल है. सभी मजदूर एक ही परिवार के सदस्य थे. मरने वालों में दो पुरुष, दो महिलाएं और एक मासूम बच्ची शामिल है.

चार साल से कर रहे थे मजदूरी, वापिस लौटना पड़ा भारी

जिले के चंदला थानांतर्गत ग्राम पटली के अहिरवार परिवार के दो दर्जन से अधिक लोग मथुरा में मजदूरी करते हैं. कोरोना संक्रमण के चलते अहिरवार परिवार के सदस्य मथुरा शहर की बुद्ध विहार कालोनी में फंसे हुए थे. सोमवार को उन्हें जानकारी मिली कि, छतरपुर की ओर जाने के लिए जाजम पट्टी से बस का इंतजाम किया गया है, तो उन्होंने तीन टैम्पो का इंतजाम किया और बस पकड़ने के लिए रवाना हुए. सोमवार की रात मथुरा-भरतपुर मार्ग पर गांव ऊमरी के सामने एक मेटाडोर (डीसीएम) और टैम्पो की आमने-सामने से टक्कर हो गई. आधी रात को हुए हादसे में सात लोगों की मृत्यु हो गई. जिनमें छतरपुर जिले के 6 मजदूर और एक टैम्पो चालक है.

हादसे में मजदूर रामसखी, लक्ष्मी, रोशनी, राजू उर्फ कैलाश, शिववरन, और रूचि की मौत हो गई, जबकि मृतका रूचि की मां लक्ष्मी अहिरवार और उसकी बहन मोहिनी अहिरवार गंभीर रूप से घायल हुई हैं. हादसे में हाईवे की बुद्ध विहार कॉलोनी निवासी टैम्पो चालक मदन मोहन भी गंभीर रूप से घायल हुआ, जिसकी जिला अस्पताल में इलाज के दौरान मौत हो गई.

जिला प्रशासन ने दी तत्कालिक सहायता राशि

मथुरा में मजदूरों की मौत की खबर जैसे ही चंदला अंचल के पटली गांव पहुंची, तो यहां मातम छा गया. लवकुशनगर अनुविभाग के एसडीएम अविनाश रावत, चंदला तहसीलदार पीयूष दीक्षित राजस्व अमले के साथ ग्राम पटली पहुंचे और पीड़ित परिवार के सदस्यों को तात्कालिक सहायता राशि प्रदान की.

छतरपुर। लॉकडाउन के कारण देश के तमाम मजदूर जानलेवा संकट से गुजर रहे हैं. मंगलवार को छतरपुर जिले में मथुरा के समीप हुए एक हादसे में लॉकडाउन के चलते अपने घर लौट रहे पांच मजदूरों की मौत हो गई. जिससे जिले में मातम का माहौल है. सभी मजदूर एक ही परिवार के सदस्य थे. मरने वालों में दो पुरुष, दो महिलाएं और एक मासूम बच्ची शामिल है.

चार साल से कर रहे थे मजदूरी, वापिस लौटना पड़ा भारी

जिले के चंदला थानांतर्गत ग्राम पटली के अहिरवार परिवार के दो दर्जन से अधिक लोग मथुरा में मजदूरी करते हैं. कोरोना संक्रमण के चलते अहिरवार परिवार के सदस्य मथुरा शहर की बुद्ध विहार कालोनी में फंसे हुए थे. सोमवार को उन्हें जानकारी मिली कि, छतरपुर की ओर जाने के लिए जाजम पट्टी से बस का इंतजाम किया गया है, तो उन्होंने तीन टैम्पो का इंतजाम किया और बस पकड़ने के लिए रवाना हुए. सोमवार की रात मथुरा-भरतपुर मार्ग पर गांव ऊमरी के सामने एक मेटाडोर (डीसीएम) और टैम्पो की आमने-सामने से टक्कर हो गई. आधी रात को हुए हादसे में सात लोगों की मृत्यु हो गई. जिनमें छतरपुर जिले के 6 मजदूर और एक टैम्पो चालक है.

हादसे में मजदूर रामसखी, लक्ष्मी, रोशनी, राजू उर्फ कैलाश, शिववरन, और रूचि की मौत हो गई, जबकि मृतका रूचि की मां लक्ष्मी अहिरवार और उसकी बहन मोहिनी अहिरवार गंभीर रूप से घायल हुई हैं. हादसे में हाईवे की बुद्ध विहार कॉलोनी निवासी टैम्पो चालक मदन मोहन भी गंभीर रूप से घायल हुआ, जिसकी जिला अस्पताल में इलाज के दौरान मौत हो गई.

जिला प्रशासन ने दी तत्कालिक सहायता राशि

मथुरा में मजदूरों की मौत की खबर जैसे ही चंदला अंचल के पटली गांव पहुंची, तो यहां मातम छा गया. लवकुशनगर अनुविभाग के एसडीएम अविनाश रावत, चंदला तहसीलदार पीयूष दीक्षित राजस्व अमले के साथ ग्राम पटली पहुंचे और पीड़ित परिवार के सदस्यों को तात्कालिक सहायता राशि प्रदान की.

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