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Burhanpur घास-फूस और रेत खाकर संविदा स्वास्थ्य कर्मियों ने जताया विरोध - एमपी में संविदा स्वास्थ्य कर्मियों की हड़ताल

अपनी विभिन्न मांगों को लेकर संविदा स्वास्थ्य कर्मचारी अनिश्चितकालीन हड़ताल पर बैठे हैं. (Burhanpur contract health workers strike) हड़ताल के दौरान ध्यानआर्किषत करने के लिए वे हर रोज नए तरीके अपना रहे हैं.

narmadapuram health workers eat sand
नर्मदापुरम में संविदा स्वास्थ्य कर्मियों की हड़ताल
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Published : Dec 28, 2022, 10:28 PM IST

नर्मदापुरम में संविदा स्वास्थ्य कर्मियों की हड़ताल

बुरहानपुर। जिले में संविदा स्वास्थ्य कर्मियों ने हड़ताल स्थल पर ही खिचड़ी बनाकर खाई. (Burhanpur contract health workers strike) दूसरी नर्मदापुरम में स्वास्थ्य कर्मचारियों ने पीपल चौक पर अनोखा प्रदर्शन किया जिसमें प्रदर्शन कर रहे कर्मचारियों ने रेत और घास फूस खाकर अपनी मांगों को लेकर विरोध प्रदर्शन किया. संविदा कर्मचारियों की जायज मांगो को लेकर स्वास्थ्य मंत्री प्रभुराम चौधरी ने बयान दिया है कि जल्द संविदा प्रतिनिधि मंडल के साथ बैठक आयोजित कर हल निकाला जाएगा और हड़ताल को समाप्त किया जाएगा.

कर्मचारियों की मागें: कर्मचारी संघ ने जानकारी देते हुए बताया कि हमारे द्वारा मांगे की जा रही हैं लेकिन सरकार हमारी मांगों को पूरा नहीं कर रहा है. संविदा स्वास्थ्य कर्मचारी संघ से जुड़े हुए अतुल दुबे ने बताया कि 15 तारीख से हमारी दो मांगों को लेकर लगातार अनिश्चित कालीन हड़ताल पर बैठे हुए हैं. दो मांगों को लेकर हमारी मांगे केंद्रित है. हमे नियमित किया जाए, संविदा से मुक्ति दी जाए. हमारे साथियों को निष्कासित कर दिया गया था, या आउटसोर्स पर कर दिया गया था उन्हें सेवा पर रखा जाए. वेतन बढ़ाया जाए कम वेतन की वजह से परिवार का भरण पोषण नहीं कर पा रहे है.

बैतूल में संविदा स्वास्थ्य कर्मियों ने हथकड़ियों में कैद होकर प्रदर्शन किया, रैली निकाल कलेक्ट्रेट में सौंपा ज्ञापन, रिहा हुए संविदाकर्मी

संविदा स्वास्थ्य कर्मियों के अनोखे प्रदर्शन: 15 दिनों से संविदा स्वास्थ्य कर्मचारी अपनी मांगों को लेकर प्रदेशव्यापी इस आंदोलन में जगह जगह बैठे हुए हैं. यहां पर अपनी मांगों को लेकर यह विभिन्न प्रदर्शन कर रहे हैं. इससे पूर्व में पुतले को लटकाना, भैंस के आगे अपना विरोध प्रदर्शन करना जैसे नए-नए तरीकों के माध्यम से सरकार को अपनी परेशानी बताने का प्रयास कर रहे हैं. बुधवार को नर्मदापुरम में संविदा स्वास्थ्य कर्मचारियो ने रेत एवं पत्ते खाकर पंगत में बैठकर इस प्रदर्शन को किया है. डॉक्टर रूपाली ने जानकारी देते हुए बताया कि दो मांगों को लेकर प्रदर्शन किया है. रेत और घांस फूस खाकर प्रदर्शन किया है. शोषण की जो व्यवस्था है उसे खत्म किया जाना चाहिए. एक अप्रैल को मामा ने ट्वीट कर कहा था की में इस शोषण को जल्द खत्म करूंगा.

नर्मदापुरम में संविदा स्वास्थ्य कर्मियों की हड़ताल

बुरहानपुर। जिले में संविदा स्वास्थ्य कर्मियों ने हड़ताल स्थल पर ही खिचड़ी बनाकर खाई. (Burhanpur contract health workers strike) दूसरी नर्मदापुरम में स्वास्थ्य कर्मचारियों ने पीपल चौक पर अनोखा प्रदर्शन किया जिसमें प्रदर्शन कर रहे कर्मचारियों ने रेत और घास फूस खाकर अपनी मांगों को लेकर विरोध प्रदर्शन किया. संविदा कर्मचारियों की जायज मांगो को लेकर स्वास्थ्य मंत्री प्रभुराम चौधरी ने बयान दिया है कि जल्द संविदा प्रतिनिधि मंडल के साथ बैठक आयोजित कर हल निकाला जाएगा और हड़ताल को समाप्त किया जाएगा.

कर्मचारियों की मागें: कर्मचारी संघ ने जानकारी देते हुए बताया कि हमारे द्वारा मांगे की जा रही हैं लेकिन सरकार हमारी मांगों को पूरा नहीं कर रहा है. संविदा स्वास्थ्य कर्मचारी संघ से जुड़े हुए अतुल दुबे ने बताया कि 15 तारीख से हमारी दो मांगों को लेकर लगातार अनिश्चित कालीन हड़ताल पर बैठे हुए हैं. दो मांगों को लेकर हमारी मांगे केंद्रित है. हमे नियमित किया जाए, संविदा से मुक्ति दी जाए. हमारे साथियों को निष्कासित कर दिया गया था, या आउटसोर्स पर कर दिया गया था उन्हें सेवा पर रखा जाए. वेतन बढ़ाया जाए कम वेतन की वजह से परिवार का भरण पोषण नहीं कर पा रहे है.

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संविदा स्वास्थ्य कर्मियों के अनोखे प्रदर्शन: 15 दिनों से संविदा स्वास्थ्य कर्मचारी अपनी मांगों को लेकर प्रदेशव्यापी इस आंदोलन में जगह जगह बैठे हुए हैं. यहां पर अपनी मांगों को लेकर यह विभिन्न प्रदर्शन कर रहे हैं. इससे पूर्व में पुतले को लटकाना, भैंस के आगे अपना विरोध प्रदर्शन करना जैसे नए-नए तरीकों के माध्यम से सरकार को अपनी परेशानी बताने का प्रयास कर रहे हैं. बुधवार को नर्मदापुरम में संविदा स्वास्थ्य कर्मचारियो ने रेत एवं पत्ते खाकर पंगत में बैठकर इस प्रदर्शन को किया है. डॉक्टर रूपाली ने जानकारी देते हुए बताया कि दो मांगों को लेकर प्रदर्शन किया है. रेत और घांस फूस खाकर प्रदर्शन किया है. शोषण की जो व्यवस्था है उसे खत्म किया जाना चाहिए. एक अप्रैल को मामा ने ट्वीट कर कहा था की में इस शोषण को जल्द खत्म करूंगा.

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