भोपाल। राजधानी भोपाल के हमीदिया अस्पताल (Hamidia Hospital) के स्टोर से चोरी हुए रेमडेसिविर इंजेक्शन (Remedicivir Injection) मामले में अस्पताल के अधीक्षक डॉक्टर आईडी चौरसिया को पद से हटा दिया गया था, इसके बाद क्राइम ब्रांच हिरासत में लेकर पूछताछ कर रही है. घटना के 42 घंटे बाद विभाग ने उन्हें हटाकर डॉक्टर लोकेंद्र दवे को हमीदिया अस्पताल का नया अधीक्षक नियुक्त किया था. हमीदिया अस्पताल से पिछले दिनों 863 रेमडेसिविर इंजेक्शन (863 Remadecivir injection theft) चोरी हो गया था. जिसकी जांच कर रही पुलिस अस्पताल में लगे सभी सीसीटीवी कैमरे भी खंगाली है.
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इंजेक्शन की सीरीज से मिलान के बाद पर्दाफाश
कोरोना वायरस (Corona virus) से संक्रमित गंभीर मरीजों के इलाज में इस्तेमाल होने वाली रेमडेसिविर इंजेक्शन (Remedicivir Injection) के बाद इस मामले की जांच काइम ब्रांच (Crime branch) को सौंपा गया है. जांच के दौरान गायब हुए रेमडेसिविर इंजेक्शन में से छह इंजेक्शन दिल्ली (Delhi) के एक अस्पताल में इलाज करा रहे संक्रमित को लगाए गए हैं. जिसके बाद स्वास्थ्य विभाग द्वारा इंजेक्शन की सीरीज से मिलान किया गया तो यह इंजेक्शन भोपाल से गायब हुए इंजेक्शन में से ही थे. हालांकि मामले में अभी तक मुख्य आरोपी नहीं पकड़े गए हैं और काइम ब्रांच अब तक 35 से अधिक लोगों से पूछताछ कर चुका है. मामले में काइम ब्रांच की जांच में अस्पताल के कर्मचारियों की मिलीभगत के संकेत मिल रहे हैं. राजधानी के हमीदिया अस्पताल से गायब हुए 863 रेमडेसिविर इंजेक्शन की पुलिस लगातार जांच कर रही है. गायब हुए रेमडेसिविर इंजेक्शन की शुरुआती जांच के बाद पुलिस ने एक फार्मासिस्ट को हिरासत (Custody to a pharmacist) में लिया है.
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भोपाल के इंजेक्शन दिल्ली में मरीजों को लगाए गए
इस मामले में जांच करते हुए पुलिस के पता चला है कि गायब हुए रेमडेसिविर इंजेक्शन में से छह इंजेक्शन, दिल्ली के एक अस्पताल में इलाज करा रहे संक्रमित को लगाए गए हैं. जिसके बाद स्वास्थ्य विभाग द्वारा इंजेक्शन की सीरीज से मिलान किया गया तो यह इंजेक्शन, भोपाल से गायब हुए इंजेक्शन में से ही थे. पुलिस अधिकारियों के मुताबिक, हाॅस्पिटल से इंजेक्शन गायब होने की घटना के बाद हमीदिया के सेंट्रल स्टोर के सभी कर्मचारी, अधिकारियों को बुलाया गया, तब पता चला कि इसमें से एक फार्मासिस्ट गायब है.
पूछताछ में फार्मासिस्ट का 'कबूलनामा'
पूछताछ करने पर जानकारी मिली कि वह दिल्ली गया है, उसका साला दिल्ली के एक निजी हाॅस्पिटल (Private hospital) में कोरोना का इलाज करा रहा है. पुलिस ने जब मरीज को लगाए गए इंजेक्शन की जानकारी ली तो, वह गायब हुए इंजेक्शन में से ही निकले. वहीं, पुलिस पूछताछ में फार्मासिस्ट ने स्वीकार किया है कि उसने डी ब्लाॅक सेंटर से 6 रेमडेसिविर इंजेक्शन इश्यू कराए थे.