भोपाल। आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत तीन दिवसीय भोपाल दौरे पर हैं, जो शारदा विहार में संघ पदाधिकारियों के साथ बैठक करेंगे. कोरोना काल में यह उनका तीसरा दौरा है. हालांकि, माना जा रहा है कि, नागपुर के बाद अब भोपाल संघ का दूसरा केंद्र बनता जा रहा है.
तीन दिनों तक संघ पदाधिकारियों से करेंगे चर्चा
संघ प्रमुख मोहन भागवत तीन दिवसीय भोपाल दौरे पर हैं. इस दौरान वह मार्च से नवंबर माह तक हुए कार्यों की समीक्षा करेंगे. वहीं मध्यक्षेत्र (मध्य भारत, मालवा महाकौशल, और छत्तीसगढ़) की प्रांत डोली क्षेत्र और मध्य क्षेत्र के रहने वाले केंद्रीय अधिकारी के साथ चर्चा करेंगे.
दरअसल, राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ हर साल अखिल भारतीय स्तर पर कार्यकारी मंडल की बैठक करता है, लेकिन इस बार कोरोना के चलते केंद्रीय स्तर पर यह बैठक आयोजित न होकर क्षेत्र स्तर पर हो रही है. इसके पहले यह बैठक बेंगलुरु में संपन्न हुई थी. इसके बाद अब भोपाल में 5 और 6 नवंबर 2020 को मोहन भागवत यह बैठक लेंगे. संघ की भौगोलिक रचना के अनुसार पूरे देश में 11 क्षेत्र हैं, जहां पर संघ प्रमुख जाएंगे. बहरहाल, भोपाल को सबसे सुरक्षित स्थान माना जा रहा है. शायद यही वजह है कि संघ प्रमुख पिछले 5 महीने में तीसरी बार भोपाल दौरे पर आए हैं.
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चाल, चरित्र और चेहरा मौजूदा पीढ़ी में नजर नहीं आता
आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत के भोपाल दौरे को लेकर पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह ने तंज कसा है. उन्होंने कहा है कि, 'मोहन भागवत पिछले कुछ वर्षों से भोपाल में विशेष कर आना-जाना कर रहे हैं. मुझे इस बात का दुख है कि, जिस चाल, चरित्र और चेहरे की बात शुरू से बीजेपी और आरएसएस करती आई है, वह सब मौजूदा भाजपा और मौजूदा संघ के कार्यकर्ताओं में नजर नहीं आती है. अब अटल बिहारी वाजपेयी और कुशाभाऊ ठाकरे की वह पीढ़ी चली गई है, जो आदर्शों के लिए जाने जाते थे.'
मोहन भागवत अपने नेताओं और कार्यकर्ताओं के चरित्र पर ध्यान दें
दिग्विजय सिंह ने कहा कि, 'आज के बीजेपी नेता केवल पैसा कमाना, ठेकेदारी करना और अवैध रूप से काम करके धन कमाने में माहिर हैं. मैंने मोहन भागवत से अनुरोध किया है कि, जो आप के कार्यकर्ताओं और नेताओं का नैतिक चरित्र होना चाहिए, उस पर भी ध्यान दें.'