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किसानों को राहत, लोन चुकाने की अंतिम तारीख 15 अप्रैल की, पढ़ें - शिवराज कैबिनेट के सभी निर्णय

मध्यप्रदेश के किसानों को राहत देते हुए राज्य सरकार ने खरीफ फसल का लोन चुकाने की अंतिम तारीख को बढ़ाकर 15 अप्रैल कर दिया गया है. कैबिनेट की बैठक में ये निर्णय लिया गया. ऋण चुकाने की 31 मार्च आखिरी तारीख थी, लेकिन बड़ी संख्या में किसान ऋण का भुगतान नहीं कर सके थे. 15 अप्रैल तक बढ़ाई गई लोन अवधि के ब्याज की राशि का भुगतान राज्य सरकार द्वारा किया जाएगा. (Shivraj cabinet meeting) (Relief to farmers for repay the loan)

Shivraj cabinet meeting
शिवराज की कैबिनेट की मीटिंग
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Published : Mar 31, 2022, 2:14 PM IST

भोपाल। गुरुवार को हुई शिवराज की कैबिनेट की मीटिंग में कई फैसले हुए. बैठक में मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चैहान ने कहा किसानों के लिए खरीफ फसल का ऋण चुकाने की अंतिम तारीख 31 मार्च से बढ़कर 15 अप्रैल की जा रही है. किसानों को खरीफ फसल के लिए जीरो प्रतिशत ब्याज दर पर लोन उपलब्ध कराने का निर्णय राज्य सरकार द्वारा लिया गया था, लेकिन लोक चुकाने की अवधि आज 31 मार्च को खत्म हो रही है. कई किसान इस राशि को जमा नहीं करा पाए हैं. अवधि समाप्त होने के बाद ऐसे किसान डिफाल्टर हो जाएंगे और इसके बाद उन्हें और अधिक ब्याज देना होगा. सीएम ने कहा कि खरीफ फसल का ऋण चुकाने की अंतिम तिथि बढ़ाकर 15 अप्रैल की जा रही है, इससे किसानों को ऋण चुकाने में सुविधा होगी. सीएम ने कहा कि इस अवधि के लोन के ब्याज का भुगतान राज्य सरकार द्वारा किया जाएगा. 15 अप्रैल तक अवधि की यह राशि करीब 60 करोड़ रुपए होगी.

ग्रामीण परिवहन को हरी झंडी : ग्रामीण अंचलों में लोगों को शहरों तक आवागमन की सुविधा को आसान बनाने के लिए प्रदेश सरकार ने ग्रामीण परिवहन नीति को मंजूरी दे दी है. इसकी शुरूआत पायलट प्रोजेक्ट के रूप में विदिशा और एक अन्य आदिवासी क्षेत्र से की जाएगी. नई नीति में ग्रामीण क्षेत्रों में बस चलाने के लिए आपरेटर को प्रोत्साहन राशि दी जाएगी. साथ ही मासिक मोटरयान को भी माफ किया जाएगा. परिवहन मंत्री गोविंद सिंह के मुताबिक ग्रामीण इलाकों में 20 सीटर बसों का संचालन किया जाएगा और इनका समय बड़ी बसों की टाइमिंग के साथ जोड़ा जाएगा. प्रयोग के बेहतर रिजल्ट आने पर इसे पूरे प्रदेश में लागू किया जाएगा.

तीन माह के लिए होंगे रेत खदानों के ठेके : तीन माह के लिए रेत खदानों के ठेकों के प्रस्तावों को मंजूरी दे दी गई. सरकार के प्रवक्ता नरोत्तम मिश्रा ने बताया कि प्रदेश में निर्माण कार्य के लिए रेत की मांग को देखते हुए तीन माह के लिए रेत खदानों के ठेके किए जाएंगे. यह ठेके ई-टेंडर के माध्यम से किए जाएंगे. ठेके कलेक्टर के माध्यम से छोटे समूह बनाकर दिए जाएंगे. तय किया गया है कि निविदा प्रक्रिया को सीमित समय में पूर्ण किया जाएगा. टेंडर प्रक्रिया के लिए 10 दिन का समय निर्धारित किया गया है. यदि पहली बार में टेंडर नहीं होते हैं, तो दूसरी बार के लिए 5 दिन का समय निर्धारित किया गया है. उच्चतम बोली लगाने वाले को ठेके आवंटित किए जाएंगे. गौरतलब है कि प्रदेश के 41 जिला समूहों में से 16 के रेत ठेके किस्तों का भुगतान न होने के कारण निरस्त हो चुके हैं. वहीं 3 जिला समूहों के ठेके सरेंडर कर चुके हैं. इस तरह 19 जिलों में रेत खदानों का संचालन नहीं हो रहा है.

गृह मंत्री नरोत्तम मिश्रा ने मंत्री गोविंद राजपूत का कैसे किया बचाव, राष्ट्रविरोधी बयान देने वाले कव्वाल पर शिकंजा

कैबिनेट में इन प्रस्तावों पर भी लगी मुहर : लोगों को वाट्सएप पर खसरा, बी-1, ऋण पुस्तिका की सुविधा मिल सकेगी. इसके लिए आवेदक को मोबाइल पर ही आवेदन कर निर्धारित 10 रुपए का भुगतान करना होगा. इस सुविधा को 181 लोक सेवा गारंटी के साथ जोड़ा गया है. कैबिनेट ने इस प्रस्ताव को मंजूरी दे दी. इसके बाद लोगों को इन दस्तावेजों के लिए लोक सेवा कार्यालय के चक्कर नहीं काटने होंगे. सेमरिया माइक्रो सिंचाई परियोजना को कैबिनेट की मंजूरी दे दी गई. इस परियोजना से रीवा जिले के 86 गांव लाभान्वित होंगे. प्रदेश में चार और नए निजी विश्वविद्यालय प्रेस्टेज निजी विश्वविद्यालय, टाइम्स निजी विश्वविद्यालय, प्रिटी ग्लोबल और एलएनसीटी विद्यापीठ निजी विश्वविद्यालय को मंजूरी दी गई. इसके बाद प्रदेश में निजी विश्वविद्यालयों की संख्या बढ़कर 44 हो जाएगी. भांग घोटा और भांग मिठाई की दुकानों को 10 फीसदी की बढोत्तरी के साथ आवंटित करने के प्रस्ताव को मंजूरी दे दी गई. पंचायत विभाग और आयुष विभाग द्वारा शुरू की जाने वाले देवारण्य योजना के प्रस्ताव को कैबिनेट की मंजूरी दे दी गई. कैबिनेट ने चाचैड़ा और होशंगाबाद शुगर मिल की मशीनरी को स्क्रेप के रूप में रोहाणी मेसर्स को 9 करोड 48 लाख में देने का निर्णय लिया.

(Shivraj cabinet meeting)

(Relief to farmers for repay the loan)

भोपाल। गुरुवार को हुई शिवराज की कैबिनेट की मीटिंग में कई फैसले हुए. बैठक में मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चैहान ने कहा किसानों के लिए खरीफ फसल का ऋण चुकाने की अंतिम तारीख 31 मार्च से बढ़कर 15 अप्रैल की जा रही है. किसानों को खरीफ फसल के लिए जीरो प्रतिशत ब्याज दर पर लोन उपलब्ध कराने का निर्णय राज्य सरकार द्वारा लिया गया था, लेकिन लोक चुकाने की अवधि आज 31 मार्च को खत्म हो रही है. कई किसान इस राशि को जमा नहीं करा पाए हैं. अवधि समाप्त होने के बाद ऐसे किसान डिफाल्टर हो जाएंगे और इसके बाद उन्हें और अधिक ब्याज देना होगा. सीएम ने कहा कि खरीफ फसल का ऋण चुकाने की अंतिम तिथि बढ़ाकर 15 अप्रैल की जा रही है, इससे किसानों को ऋण चुकाने में सुविधा होगी. सीएम ने कहा कि इस अवधि के लोन के ब्याज का भुगतान राज्य सरकार द्वारा किया जाएगा. 15 अप्रैल तक अवधि की यह राशि करीब 60 करोड़ रुपए होगी.

ग्रामीण परिवहन को हरी झंडी : ग्रामीण अंचलों में लोगों को शहरों तक आवागमन की सुविधा को आसान बनाने के लिए प्रदेश सरकार ने ग्रामीण परिवहन नीति को मंजूरी दे दी है. इसकी शुरूआत पायलट प्रोजेक्ट के रूप में विदिशा और एक अन्य आदिवासी क्षेत्र से की जाएगी. नई नीति में ग्रामीण क्षेत्रों में बस चलाने के लिए आपरेटर को प्रोत्साहन राशि दी जाएगी. साथ ही मासिक मोटरयान को भी माफ किया जाएगा. परिवहन मंत्री गोविंद सिंह के मुताबिक ग्रामीण इलाकों में 20 सीटर बसों का संचालन किया जाएगा और इनका समय बड़ी बसों की टाइमिंग के साथ जोड़ा जाएगा. प्रयोग के बेहतर रिजल्ट आने पर इसे पूरे प्रदेश में लागू किया जाएगा.

तीन माह के लिए होंगे रेत खदानों के ठेके : तीन माह के लिए रेत खदानों के ठेकों के प्रस्तावों को मंजूरी दे दी गई. सरकार के प्रवक्ता नरोत्तम मिश्रा ने बताया कि प्रदेश में निर्माण कार्य के लिए रेत की मांग को देखते हुए तीन माह के लिए रेत खदानों के ठेके किए जाएंगे. यह ठेके ई-टेंडर के माध्यम से किए जाएंगे. ठेके कलेक्टर के माध्यम से छोटे समूह बनाकर दिए जाएंगे. तय किया गया है कि निविदा प्रक्रिया को सीमित समय में पूर्ण किया जाएगा. टेंडर प्रक्रिया के लिए 10 दिन का समय निर्धारित किया गया है. यदि पहली बार में टेंडर नहीं होते हैं, तो दूसरी बार के लिए 5 दिन का समय निर्धारित किया गया है. उच्चतम बोली लगाने वाले को ठेके आवंटित किए जाएंगे. गौरतलब है कि प्रदेश के 41 जिला समूहों में से 16 के रेत ठेके किस्तों का भुगतान न होने के कारण निरस्त हो चुके हैं. वहीं 3 जिला समूहों के ठेके सरेंडर कर चुके हैं. इस तरह 19 जिलों में रेत खदानों का संचालन नहीं हो रहा है.

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कैबिनेट में इन प्रस्तावों पर भी लगी मुहर : लोगों को वाट्सएप पर खसरा, बी-1, ऋण पुस्तिका की सुविधा मिल सकेगी. इसके लिए आवेदक को मोबाइल पर ही आवेदन कर निर्धारित 10 रुपए का भुगतान करना होगा. इस सुविधा को 181 लोक सेवा गारंटी के साथ जोड़ा गया है. कैबिनेट ने इस प्रस्ताव को मंजूरी दे दी. इसके बाद लोगों को इन दस्तावेजों के लिए लोक सेवा कार्यालय के चक्कर नहीं काटने होंगे. सेमरिया माइक्रो सिंचाई परियोजना को कैबिनेट की मंजूरी दे दी गई. इस परियोजना से रीवा जिले के 86 गांव लाभान्वित होंगे. प्रदेश में चार और नए निजी विश्वविद्यालय प्रेस्टेज निजी विश्वविद्यालय, टाइम्स निजी विश्वविद्यालय, प्रिटी ग्लोबल और एलएनसीटी विद्यापीठ निजी विश्वविद्यालय को मंजूरी दी गई. इसके बाद प्रदेश में निजी विश्वविद्यालयों की संख्या बढ़कर 44 हो जाएगी. भांग घोटा और भांग मिठाई की दुकानों को 10 फीसदी की बढोत्तरी के साथ आवंटित करने के प्रस्ताव को मंजूरी दे दी गई. पंचायत विभाग और आयुष विभाग द्वारा शुरू की जाने वाले देवारण्य योजना के प्रस्ताव को कैबिनेट की मंजूरी दे दी गई. कैबिनेट ने चाचैड़ा और होशंगाबाद शुगर मिल की मशीनरी को स्क्रेप के रूप में रोहाणी मेसर्स को 9 करोड 48 लाख में देने का निर्णय लिया.

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