भोपाल। रानी कमलापति का महल जो भोपाल में बड़े तालाब और छोटे तलाब के मध्य में बना हुआ है. कमलापति के महल का निर्माण आज से करीब 300 वर्ष पूर्व हुआ था. इस महल से दोनों झीलो का खूबसूरत मंजर देखा जा सकता है. ये महल लखोरी ईटों और मिट्टी से बना हुआ है. महल के नीचे के हिस्से में भारी-भरकम पत्थरों का आधार तैयार किया गया था ताकि ये झील के पानी में धंस ना जाए.
बता दें कि सात मंजिला इस महल की कुछ मंजिलें पानी में डूबने की वजह से आज दिखाई नहीं देती. प्राचीन काल में रात के समय महल को रोशन करने के लिए उसकी खिड़कियों और रोशनदान में मशाले जलाकर रखी जाती थी. इसका प्रतिबिंब बड़े तालाब में जहाज की तरह दिखता था तभी इसे जहाज महल भी कहा जाता था.