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अब्दुल जब्बार के निधन पर मंत्री पीसी शर्मा ने जताया शोक, योगदान को किया याद

समाजसेवी अब्दुल जब्बार के निधन पर मुख्यमंत्री कमलनाथ, मंत्री पीसी शर्मा समेत कई नेताओं और शहरवासियों ने शोक जताया है.

अब्दुल जब्बार के निधन पर जनसंपर्क मंत्री पीसी शर्मा ने जताया शोक
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Published : Nov 15, 2019, 12:39 PM IST

Updated : Nov 15, 2019, 3:09 PM IST

भोपाल। गैस पीड़ितों के लिए अपनी पूरी जिंदगी कुर्बान कर देने वाले अब्दुल जब्बार का आज निधन हो गया. मुख्यमंत्री कमलनाथ सहित कई कैबिनेट मंत्रियों ने उनके निधन पर शोक जताया. जनसंपर्क मंत्री पीसी शर्मा ने भी दुःख जताते हुए कहा कि अब्दुल जब्बार ने लगातार गैस पीड़ितों को न्याय दिलाने के लिए संघर्ष किया. उन्होंने गैस पीड़ितों के रोजगार और पुनर्वास में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई. उन्होंने पर्यावरण संरक्षण के लिए भी बहुत काम किया.

अब्दुल जब्बार के निधन पर मंत्री पीसी शर्मा ने जताया शोक

जनसंपर्क मंत्री ने कहा कि अब्दुल जब्बार ने सिर्फ गैस पीड़ितों को न्याय दिलाने के लिए ही नहीं, बल्कि स्वरोजगार स्थापित कराने में भी महत्वपूर्ण भूमिका निभाई. उन्होंने करीब 5 हजार गैस पीड़ित महिलाओं को स्वरोजगार से जोड़ा.

1987 में बनाया था गैस पीड़ित महिला उद्योग संगठन

गैस हादसे के दिन से शुरू हुआ गैस पीड़ितों के लिए उनका संघर्ष पूरी जिंदगी चलता रहा. 1987 में उन्होंने भोपाल गैस पीड़ित महिला उद्योग संगठन स्थापित किया और पीड़ितों और उनके परिजनों के लिए लड़ाई लड़नी शुरू की. वे 1989 में गैस पीड़ितों को मुआवजा दिलाने में सफल रहे.

अब्दुल जब्बार ने की स्वाभिमान केंद्र की स्थापना

अब्दुल जब्बार ने महिलाओं को सिलाई-कढ़ाई सीखने के लिए प्रेरित किया. उन्होंने करीब 5 हजार महिलाओं को स्वरोजगार उपलब्ध कराया. भोपाल के शाहजहानी पार्क में 1986 से हर मंगलवार और शनिवार गैस पीड़ित इकट्ठा होकर अपनी आवाज बुलंद करते रहे हैं.

भोपाल। गैस पीड़ितों के लिए अपनी पूरी जिंदगी कुर्बान कर देने वाले अब्दुल जब्बार का आज निधन हो गया. मुख्यमंत्री कमलनाथ सहित कई कैबिनेट मंत्रियों ने उनके निधन पर शोक जताया. जनसंपर्क मंत्री पीसी शर्मा ने भी दुःख जताते हुए कहा कि अब्दुल जब्बार ने लगातार गैस पीड़ितों को न्याय दिलाने के लिए संघर्ष किया. उन्होंने गैस पीड़ितों के रोजगार और पुनर्वास में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई. उन्होंने पर्यावरण संरक्षण के लिए भी बहुत काम किया.

अब्दुल जब्बार के निधन पर मंत्री पीसी शर्मा ने जताया शोक

जनसंपर्क मंत्री ने कहा कि अब्दुल जब्बार ने सिर्फ गैस पीड़ितों को न्याय दिलाने के लिए ही नहीं, बल्कि स्वरोजगार स्थापित कराने में भी महत्वपूर्ण भूमिका निभाई. उन्होंने करीब 5 हजार गैस पीड़ित महिलाओं को स्वरोजगार से जोड़ा.

1987 में बनाया था गैस पीड़ित महिला उद्योग संगठन

गैस हादसे के दिन से शुरू हुआ गैस पीड़ितों के लिए उनका संघर्ष पूरी जिंदगी चलता रहा. 1987 में उन्होंने भोपाल गैस पीड़ित महिला उद्योग संगठन स्थापित किया और पीड़ितों और उनके परिजनों के लिए लड़ाई लड़नी शुरू की. वे 1989 में गैस पीड़ितों को मुआवजा दिलाने में सफल रहे.

अब्दुल जब्बार ने की स्वाभिमान केंद्र की स्थापना

अब्दुल जब्बार ने महिलाओं को सिलाई-कढ़ाई सीखने के लिए प्रेरित किया. उन्होंने करीब 5 हजार महिलाओं को स्वरोजगार उपलब्ध कराया. भोपाल के शाहजहानी पार्क में 1986 से हर मंगलवार और शनिवार गैस पीड़ित इकट्ठा होकर अपनी आवाज बुलंद करते रहे हैं.

Intro:भोपाल। गैस पीड़ितों की आवाज जिंदगी भर उठाने वाले अब्दुल जब्बार की आवाज हमेशा के लिए शांत हो गई। अध्यक्ष जब बाद में गैस पीड़ितों की लड़ाई सड़क से लेकर सुप्रीम कोर्ट तक लड़ी गैस पीड़ितों की हक की लड़ाई में उन्हें पहली सफलता 1988 में मिली जब सर्वोच्च न्यायालय ने गुजारा भत्ता देने का निर्णय सुनाया। अब्दुल जब्बार ने गैस पीड़ितों को स्वरोजगार देने के लिए भी खूब काम किए। मुख्यमंत्री कमलनाथ ने अब्दुल जब्बार के निधन पर शोक जताया है।

Body:मुख्यमंत्री कमलनाथ ने जताया शोक

मुख्यमंत्री कमलनाथ ने जब्बार के निधन पर दुख व्यक्त करते हुए कहा है कि उन्होंने लगातार गैस पीड़ितों की न्याय के लिए संघर्ष किया गैस पीड़ितों की रोजगार और पुनर्वास में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है वे पर्यावरण को लेकर भी सजग थे और समय-समय पर उसकी रक्षा के लिए काम करते रहे। सरकार में जनसंपर्क मंत्री पीसी शर्मा ने भी जब्बार के निधन पर शोक जताया है। उन्होंने कहा कि अब्दुल जब्बार ने सिर्फ गैस पीड़ितों को न्याय दिलाने ही नहीं बल्कि स्वरोजगार स्थापित कराने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई उन्होंने करीब 5000 गैस पीड़ित महिलाओं को स्वरोजगार से जोड़ा और उन्हें अपने पैरों पर खड़ा किया।

1987 में बनाया था गैस पीड़ित महिला उद्योग संगठन

गैस हादसे के दिन से शुरू हुआ गैस पीड़ितों के लिए उनका संघर्ष पूरी जिंदगी चलता रहा। 1987 में उन्होंने भोपाल गैस पीड़ित महिला उद्योग संगठन स्थापित किया और पीड़ितों व उनके परिजनों के लिए लड़ाई लड़ना शुरू की वह विधवा महिलाओं के लिए हमेशा लड़ते रहे 1989 में जब गैस पीड़ितों को मुआवजा दिया गया तब उन्होंने स्वाभिमान केंद्र की स्थापना की इसमें महिलाओं को सिलाई कढ़ाई सिखाने का काम किया गया इससे करीब 5000 महिलाओं को स्वरोजगार दिलाया गया। गैस पीड़ितों के लिए जहां उन्होंने कोर्ट में लड़ाई लड़ी वही उनका संगठन हर मामले के लिए सड़क पर उतरकर अपनी आवाज बुलंद करता रहा। शाहजहानी पार्क में 1986 से हर मंगलवार और शनिवार गैस पीड़ित इकट्ठा होकर अपनी आवाज बुलंद करते रहे हैं। अब्दुल जब्बार ने गैस पीड़ितों के अलावा भोपाल शहर के पर्यावरण को लेकर भी खूब आवाज उठाई और कई मामलों को भी कोर्ट में लेकर गए।Conclusion:
Last Updated : Nov 15, 2019, 3:09 PM IST
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