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MP के इस विभाग में हैं अधिकारी से ज्यादा प्यून, 40 साल से नहीं हुई नियुक्ति - अधिकारी से ज्यादा प्यून

कला और संस्कृति महत्व के हस्तशिल्प एवं हथकरघा विभाग में कर्मचारी से ज्यादा प्यून काम कर रहे हैं. खास बात ये है कि 1989 से अब तक यहां एक भी नियमित नियुक्ति नहीं की गई है.

peons appointed More than officers in MP
अधिकारी से ज्यादा प्यून
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Published : Feb 28, 2020, 2:50 PM IST

Updated : Feb 29, 2020, 11:55 AM IST

भोपाल। मध्यप्रदेश में एक विभाग ऐसा भी है, जहां पर अधिकारी से ज्यादा प्यून काम करते हैं और यह विभाग है हस्तशिल्प एवं हथकरघा विभाग, सुनने में आपको भले ही अजीब लगे लेकिन देश का यह एकमात्र विभाग होगा जहां पर अधिकारी और कर्मचारियों की संख्या से अधिक प्यून काम करते हैं.

गजब का विभाग

दरअसल, हस्तशिल्प एवं हथकरघा विभाग में 1989 के बाद से अब तक नियमित भर्ती नहीं हुई है. विभाग में वर्तमान कर्मचारियों की बात की जाए तो यहां 22 लोगों को अनुकंपा दी गई है. कला और संस्कृति महत्व के इस विभाग को करीब 561 लोगों के स्टाफ की जरूरत है, लेकिन सिर्फ 234 लोग ही यहां काम करते हैं.

इस विभाग में 74 प्यून काम करते हैं, जबकि 42 के करीब ग्रेड वन और ग्रेड टू के अधिकारी कार्यरत हैं. इस विभाग में ग्राम उद्योग विस्तार अधिकारी के 64, सहायक ग्राम उद्योग के 48, कनिष्ठ ग्राम उद्योग विस्तार अधिकारी के 60 पद खाली हैं, इसके साथ ही अकॉउंट, लिपिक, कंप्यूटर ऑपरेटर, आदि के करीब 45 पद खाली हैं.

हस्तशिल्प एवं हथकरघा विभाग के कमिश्नर राजीव शर्मा की माने तो विभाग में मैन पावर की कमी है, लेकिन भर्ती प्रकिया सरकार के अधीन है. यहां स्टाफ की कमी के कारण काम तो प्रभावित होता है, लेकिन फिर भी हम बेहतर काम करने के लिए प्रयास कर रहे हैं.

कला और संस्कृति के लिए अहमियत रखने वाले इस विभाग में 561 लोगों की जरूरत है, करीब 40 साल से यहां नियमित नियुक्ति नहीं की गई हैं, अब ऐसे में यहां किस स्तर का काम किया जा रहा होगा ये सहज ही समझा जा सकता है.

भोपाल। मध्यप्रदेश में एक विभाग ऐसा भी है, जहां पर अधिकारी से ज्यादा प्यून काम करते हैं और यह विभाग है हस्तशिल्प एवं हथकरघा विभाग, सुनने में आपको भले ही अजीब लगे लेकिन देश का यह एकमात्र विभाग होगा जहां पर अधिकारी और कर्मचारियों की संख्या से अधिक प्यून काम करते हैं.

गजब का विभाग

दरअसल, हस्तशिल्प एवं हथकरघा विभाग में 1989 के बाद से अब तक नियमित भर्ती नहीं हुई है. विभाग में वर्तमान कर्मचारियों की बात की जाए तो यहां 22 लोगों को अनुकंपा दी गई है. कला और संस्कृति महत्व के इस विभाग को करीब 561 लोगों के स्टाफ की जरूरत है, लेकिन सिर्फ 234 लोग ही यहां काम करते हैं.

इस विभाग में 74 प्यून काम करते हैं, जबकि 42 के करीब ग्रेड वन और ग्रेड टू के अधिकारी कार्यरत हैं. इस विभाग में ग्राम उद्योग विस्तार अधिकारी के 64, सहायक ग्राम उद्योग के 48, कनिष्ठ ग्राम उद्योग विस्तार अधिकारी के 60 पद खाली हैं, इसके साथ ही अकॉउंट, लिपिक, कंप्यूटर ऑपरेटर, आदि के करीब 45 पद खाली हैं.

हस्तशिल्प एवं हथकरघा विभाग के कमिश्नर राजीव शर्मा की माने तो विभाग में मैन पावर की कमी है, लेकिन भर्ती प्रकिया सरकार के अधीन है. यहां स्टाफ की कमी के कारण काम तो प्रभावित होता है, लेकिन फिर भी हम बेहतर काम करने के लिए प्रयास कर रहे हैं.

कला और संस्कृति के लिए अहमियत रखने वाले इस विभाग में 561 लोगों की जरूरत है, करीब 40 साल से यहां नियमित नियुक्ति नहीं की गई हैं, अब ऐसे में यहां किस स्तर का काम किया जा रहा होगा ये सहज ही समझा जा सकता है.

Last Updated : Feb 29, 2020, 11:55 AM IST
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