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MP Seat Scan Bhopal South West: एक मात्र ऐसी विधानसभा सीट, जहां कर्मचारी वर्ग होता है चुनाव में निर्णायक - भोपाल दक्षिण पश्चिम विधानसभा क्षेत्र

मध्य प्रदेश विधानसभा चुनाव को लेकर ईटीवी भारत आपको 230 सीट सीटों का विश्लेषण लेकर आ रहा है. आज हम आपको बताएंगे भोपाल जिले की दक्षिण पश्चिम विधानसभा सीट के बारे में. इस सीट पर कांग्रेस का कब्जा है. बीजेपी ने इस बार भगवान दास सबनानी पर भरोसा जताया है तो कांग्रेस ने पीसी शर्मा को चुनावी मैदान में उतारा है.

MP Seat Scan Bhopal South West
एमपी सीट स्कैन भोपाल दक्षिण पश्चिम
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By ETV Bharat Madhya Pradesh Team

Published : Nov 6, 2023, 4:47 PM IST

Updated : Nov 14, 2023, 8:14 PM IST

भोपाल। मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल की दक्षिण पश्चिम विधानसभा सीट को प्रदेश की हाई प्रोफाइल सीटों में गिना जाता है. कांग्रेस के पीसी शर्मा ने शिवराज सरकार के मंत्री को हराकर इस सीट को छीना था. इस बार बीजेपी ने अपनी खोई जमीन पाने के लिए नए चेहरे के रूप में भगवान दास सबनानी को चुनाव मैदान में उतारा है. जबकि उनके सामने इस बार फिर कांग्रेस ने कमलनाथ सरकार में मंत्री रहे पीसी शर्मा को टिकट दिया है. यह सीट इसलिए भी महत्वपूर्ण मानी जाती है, क्योंकि इस सीट पर सबसे ज्यादा कर्मचारी वर्ग के वोट हैं. सवाल है कि तमाम मांगों को लेकर आंदोलित रहे कर्मचारी इस बार किस ओर अपना झुकाव दिखाएंगे.

बीजेपी की पकड़ होती गई कमजोर: 1990 में परिसीमन के बाद भोपाल में दक्षिण पश्चिम विधानसभा सीट का गठन हुआ था. 1990 से लेकर अभी तक इस सीट पर बीजेपी और कांग्रेस के बीच ही मुख्य मुकाबला होता आया है. तब से अब तक इस सीट पर 7 चुनाव हुए. इन चुनावों में बीजेपी का पलड़ा भारी रहा है. इस सीट पर 5 बार बीजेपी और 2 बार कांग्रेस ने जीत दर्ज की है. बीजेपी के टिकट पर उमाशंकर गुप्ता लगातार तीन बार विधायक चुनकर आए. वे 2003, 2008 और इसके बाद 2013 के चुनाव में विजयी रहे.

MP Seat Scan Bhopal South West
दक्षिण पश्चिम सीट का रिपोर्ट कार्ड

तीनों विधानसभा चुनाव में जीत के बाद उमाशंकर गुप्ता ने सरकार में मंत्री के रूप में भूमिका निभाई. 2013 में वे शिवराज सरकार में गृहमंत्री थे, लेकिन 2018 के चुनाव में उमाशंकर गुप्ता कांग्रेस के पीसी शर्मा से चुनाव हार गए. भोपाल दक्षिण पश्चिम विधानसभा में कुल मतदाताओं की संख्या 2 लाख 31 हजार 850 है. इसमें पुरूष मतदाताओं की संख्या 1 लाख 19 हजार 919, जबकि महिला मतदाताओं की संख्या 1 लाख 11 हजार 918 है. थर्ड जेंडर मतदाता 13 हैं.

MP Seat Scan Bhopal South West
साल 2018 का रिजल्ट

इस सीट पर कर्मचारी वर्ग की बड़ी संख्या: भोपाल की दक्षिण पश्चिम विधानसभा सीट पर अनुसूचित जाति के मतदाताओं की अच्छी संख्या है. कायस्थ और ब्राह्मण मतदाता यहां निर्णायक भूमिका निभाते हैं. दक्षिण पश्चिम विधानसभा में कर्मचारियों की बड़ी संख्या है. दूसरे विभागों के अलावा पुलिस कर्मचारियों और रिटायर्ड कर्मचारी यहां बड़ी संख्या में हैं. विधानसभा चुनाव के पहले पुरानी पेंशन बहाली जैसे कर्मचारियों से जुड़ी कई मांगों को लेकर कर्मचारी संगठन सरकार के खिलाफ अपनी झंडा बुलंद किए रहे हैं. हालांकि सवाल उठ रहा है कि क्या सरकार कर्मचारियों की नाराजगी दूर करने में कामयाब रही या उनकी नाराजगी वोट के रूप में नुकसान पहुंचाएगी.

कुछ और सीट स्कैन यहां पढ़ें...

MP Seat Scan Bhopal South West
साल 2018 का रिजल्ट

हालांकि चुनाव मैदान में उतरे बीजेपी और कांग्रेस दोनों पार्टियों के प्रत्याशियों के अपने-अपने जीत के दावे हैं. कांग्रेस प्रत्याशी पीसी शर्मा पिछले पांच सालों में क्षेत्र में कई विकास के काम किए हैं. बीजेपी ने सिर्फ इन कामों में रोड़े अटकाने के काम किए हैं. चुनाव के पहले सरकार को लाडली बहना से लेकर युवा तक याद आए, लेकिन क्षेत्र के युवा से लेकर प्रदेश भर के बेरोजगार व्यापम, पटवारी भर्ती फर्जीवाड़ा कांड भूला नहीं है. जनता एक बार फिर उन्हें ही चुनेगी. उधर बीजेपी प्रत्याशी भगवान दास सबनानी कहते हैं कि यह विचारधारा की लड़ाई है. बीजेपी हमेशा विकास के मुद्दे पर ही चुनाव लड़ती आई है और इस बार भी बीजेपी का चुनावी मुद्दा विकास ही है. जहां तक दक्षिण पश्चिम विधानसभा क्षेत्र की बात है तो बीजेपी के कार्यकर्ताओं ने बड़े-बड़े नामों को चुनाव में धूल चटाई और इस बार इस सीट पर फिर बीजेपी का झंडा लहराएगा.

भोपाल। मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल की दक्षिण पश्चिम विधानसभा सीट को प्रदेश की हाई प्रोफाइल सीटों में गिना जाता है. कांग्रेस के पीसी शर्मा ने शिवराज सरकार के मंत्री को हराकर इस सीट को छीना था. इस बार बीजेपी ने अपनी खोई जमीन पाने के लिए नए चेहरे के रूप में भगवान दास सबनानी को चुनाव मैदान में उतारा है. जबकि उनके सामने इस बार फिर कांग्रेस ने कमलनाथ सरकार में मंत्री रहे पीसी शर्मा को टिकट दिया है. यह सीट इसलिए भी महत्वपूर्ण मानी जाती है, क्योंकि इस सीट पर सबसे ज्यादा कर्मचारी वर्ग के वोट हैं. सवाल है कि तमाम मांगों को लेकर आंदोलित रहे कर्मचारी इस बार किस ओर अपना झुकाव दिखाएंगे.

बीजेपी की पकड़ होती गई कमजोर: 1990 में परिसीमन के बाद भोपाल में दक्षिण पश्चिम विधानसभा सीट का गठन हुआ था. 1990 से लेकर अभी तक इस सीट पर बीजेपी और कांग्रेस के बीच ही मुख्य मुकाबला होता आया है. तब से अब तक इस सीट पर 7 चुनाव हुए. इन चुनावों में बीजेपी का पलड़ा भारी रहा है. इस सीट पर 5 बार बीजेपी और 2 बार कांग्रेस ने जीत दर्ज की है. बीजेपी के टिकट पर उमाशंकर गुप्ता लगातार तीन बार विधायक चुनकर आए. वे 2003, 2008 और इसके बाद 2013 के चुनाव में विजयी रहे.

MP Seat Scan Bhopal South West
दक्षिण पश्चिम सीट का रिपोर्ट कार्ड

तीनों विधानसभा चुनाव में जीत के बाद उमाशंकर गुप्ता ने सरकार में मंत्री के रूप में भूमिका निभाई. 2013 में वे शिवराज सरकार में गृहमंत्री थे, लेकिन 2018 के चुनाव में उमाशंकर गुप्ता कांग्रेस के पीसी शर्मा से चुनाव हार गए. भोपाल दक्षिण पश्चिम विधानसभा में कुल मतदाताओं की संख्या 2 लाख 31 हजार 850 है. इसमें पुरूष मतदाताओं की संख्या 1 लाख 19 हजार 919, जबकि महिला मतदाताओं की संख्या 1 लाख 11 हजार 918 है. थर्ड जेंडर मतदाता 13 हैं.

MP Seat Scan Bhopal South West
साल 2018 का रिजल्ट

इस सीट पर कर्मचारी वर्ग की बड़ी संख्या: भोपाल की दक्षिण पश्चिम विधानसभा सीट पर अनुसूचित जाति के मतदाताओं की अच्छी संख्या है. कायस्थ और ब्राह्मण मतदाता यहां निर्णायक भूमिका निभाते हैं. दक्षिण पश्चिम विधानसभा में कर्मचारियों की बड़ी संख्या है. दूसरे विभागों के अलावा पुलिस कर्मचारियों और रिटायर्ड कर्मचारी यहां बड़ी संख्या में हैं. विधानसभा चुनाव के पहले पुरानी पेंशन बहाली जैसे कर्मचारियों से जुड़ी कई मांगों को लेकर कर्मचारी संगठन सरकार के खिलाफ अपनी झंडा बुलंद किए रहे हैं. हालांकि सवाल उठ रहा है कि क्या सरकार कर्मचारियों की नाराजगी दूर करने में कामयाब रही या उनकी नाराजगी वोट के रूप में नुकसान पहुंचाएगी.

कुछ और सीट स्कैन यहां पढ़ें...

MP Seat Scan Bhopal South West
साल 2018 का रिजल्ट

हालांकि चुनाव मैदान में उतरे बीजेपी और कांग्रेस दोनों पार्टियों के प्रत्याशियों के अपने-अपने जीत के दावे हैं. कांग्रेस प्रत्याशी पीसी शर्मा पिछले पांच सालों में क्षेत्र में कई विकास के काम किए हैं. बीजेपी ने सिर्फ इन कामों में रोड़े अटकाने के काम किए हैं. चुनाव के पहले सरकार को लाडली बहना से लेकर युवा तक याद आए, लेकिन क्षेत्र के युवा से लेकर प्रदेश भर के बेरोजगार व्यापम, पटवारी भर्ती फर्जीवाड़ा कांड भूला नहीं है. जनता एक बार फिर उन्हें ही चुनेगी. उधर बीजेपी प्रत्याशी भगवान दास सबनानी कहते हैं कि यह विचारधारा की लड़ाई है. बीजेपी हमेशा विकास के मुद्दे पर ही चुनाव लड़ती आई है और इस बार भी बीजेपी का चुनावी मुद्दा विकास ही है. जहां तक दक्षिण पश्चिम विधानसभा क्षेत्र की बात है तो बीजेपी के कार्यकर्ताओं ने बड़े-बड़े नामों को चुनाव में धूल चटाई और इस बार इस सीट पर फिर बीजेपी का झंडा लहराएगा.

Last Updated : Nov 14, 2023, 8:14 PM IST
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