भोपाल। मोहन कैबिनेट में विभागों के बंटवारे को लेकर हो रही देरी को लेकर अब कांग्रेस ने तंज कसा है. नेता प्रतिपक्ष उमंग सिंघार ने सोशल मीडिया पर अपनी पोस्ट में लिखा है कि सीएम के चुनाव में दस दिन मंत्रिमण्डल का फैसला लेने में 12 दिन लगे और अब विभागों के बंटवारे में देरी और खींचतान जारी है. उमंग सिंघार ने अपने तंज भरी पोस्ट में ये सवाल उठाया है कि आखिर प्रदेश के नए नवेले मुख्यमंत्री को कोई अधिकार दिया भी गया है कि नहीं, या सारे फरमान दिल्ली दरबार से जारी हो रहे हैं.
उमंग सिंघार का तंज क्या इसे कहते हैं डबल इंजन सरकार: नेता प्रतिपक्ष उमंग सिंघार ने कहा है कि क्या इसे ही डबल इंजन वाली बीजेपी की सरकार कहते हैं. सीएम के चयन का फैसला 10 दिन में. मंत्रिमंडल का फैसला 12 दिन में. अब विभागों के बंटवारे में देरी और खींचतान जारी है. प्रदेश में मंत्रियों को विभागों का बंटवारा आखिर कब होगा. डबल इंजन की सरकार में दिल्ली का इंजन ही चलता दिखाई दे रहा है. आखिर प्रदेश के नए नवेले मुख्यमंत्री को कोई अधिकार दिया भी गया है नहीं. या सारे फरमान दिल्ली सरकार से जारी हो रहे हैं.
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क्या इसे कहते है डबल इंजन वाली #BJP सरकार!
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-CM के चयन का फैसला 10 दिन में!
-मंत्रिमंडल का फैसला 12 दिन में!
-अब विभागों के बंटवारे में देरी और खींचातानी जारी है
-प्रदेश में मंत्रियों को विभागों का बंटवारा आखिर कब?
डबल इंजन की सरकार में दिल्ली का इंजन ही चलता दिखाई दे रहा है।…
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— Umang Singhar (@UmangSinghar) December 27, 2023
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-अब विभागों के बंटवारे में देरी और खींचातानी जारी है
-प्रदेश में मंत्रियों को विभागों का बंटवारा आखिर कब?
डबल इंजन की सरकार में दिल्ली का इंजन ही चलता दिखाई दे रहा है।…क्या इसे कहते है डबल इंजन वाली #BJP सरकार!
— Umang Singhar (@UmangSinghar) December 27, 2023
-CM के चयन का फैसला 10 दिन में!
-मंत्रिमंडल का फैसला 12 दिन में!
-अब विभागों के बंटवारे में देरी और खींचातानी जारी है
-प्रदेश में मंत्रियों को विभागों का बंटवारा आखिर कब?
डबल इंजन की सरकार में दिल्ली का इंजन ही चलता दिखाई दे रहा है।…
जो सरकारी विभागों की खींचतान में लगी सरकार कैसे संभालेगी: भाजपा की लेटलतीपी से शासन व्यवस्था ठप्प पड़ी है. जो सरकार विभागों की खींचातानी में लगी हो वो जनता को कैसे संभालेगी. जनता परेशान है कि अपनी समस्याओं के समाधान के लिए किन मंत्रियों के पास जाएं. अब जनता मंत्रियों की तरह अपने कार्यों के लिए दिल्ली तो नहीं जा सकती.
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नतीजे आने के बाद मंथन फिर ऐलान: तीन दिसम्बर को मध्य प्रदेश में चुनाव नतीजे आए थे, लेकिन बीजेपी की पिछली पारियों में जितनी तेजी से फैसले हुए वो इस बार दिखाई नहीं दिए. तीन दिसंबर को नतीजे आने के पूरे 8 दिन मंथन चला और 11 दिसम्बर को मुख्यमंत्री समेत दो डिप्टी एम का फैसला हुआ. फिर उसके दो दिन बाद 13 दिसंबर को सीएम और दोनों डिप्टी सीएम ने शपथ ली, लेकिन मंत्रिमंडल विस्तार में 12 दिन लग गए. 25 दिसंबर को कैबिनेट का विस्तार हो पाया. अब कैबिनेट को बने तीन दिन बीत गए लेकिन विभागों का बंटवारा नहीं हो सका है.