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एमपी में भारत जोड़ो यात्रा के रूट पर कैसी रही कांग्रेस की स्थिति, यहां देखें हरेक सीट का हाल - No effect seen in Nimar

Bharat Jodo Yatra fails to boost Cong : मध्यप्रदेश में भारत जोड़ो यात्रा का चुनाव पर कैसा असर रहा, जहां से ये यात्रा निकली उन विधानसभा सीटों पर कांग्रेस ने कितना दम दिखाया. भारत जोड़ो यात्रा कांग्रेस को बढ़ावा देने में कितनी सफल रही. इस रूट पर पड़ने वाली 21 सीटों की क्या है तस्वीर. आइए देखते हैं इन सीटों का पूरा ब्यौरा.

Bharat Jodo Yatra fails to boost Cong
एमपी में भारत जोड़ो यात्रा के रूट पर कैसी रही कांग्रेस की स्थिति
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By PTI

Published : Dec 4, 2023, 3:49 PM IST

Updated : Dec 4, 2023, 3:56 PM IST

भोपाल (Agency, PTI)। मध्यप्रदेश विधानसभा चुनाव में बीजेपी ने दो-तिहाई बहुमत हासिल कर लिया. 230 सीटों में से 163 सीटें बीजेपी ने जीत लीं, जबकि कांग्रेस 66 सीटों पर दूसरे स्थान पर रही. पिछले साल 23 नवंबर से 4 दिसंबर के बीच भारत जोड़ो यात्रा ने एमपी के मालवा-निमाड़ क्षेत्र के छह जिलों बुरहानपुर, खंडवा, खरगोन, इंदौर, उज्जैन और आगर मालवा से होकर 380 किलोमीटर की दूरी तय की, जिसमें कुल मिलाकर 21 सीटें हैं. 2018 में भाजपा ने इनमें से 14 सीटें जीतीं, जबकि कांग्रेस विजयी हुई थी 7 सीटों पर. इस बार भाजपा ने अपनी सीटों की संख्या बढ़ाकर 17 कर ली है. जिससे कांग्रेस 4 सीटों पर सिमट गई.

निमाड़ में नहीं दिखा असर : भाजपा की अर्चना चिटनिस ने बुरहानपुर और मंजू दादू ने बुरहानपुर जिले के नेपानगर विधानसभा क्षेत्रों में जीत हासिल की. बुरहानपुर सीट 2018 में निर्दलीय उम्मीदवार सुरेंद्र सिंह शेरा ने जीती थी, जो इस बार कांग्रेस के उम्मीदवार थे. 2018 में कांग्रेस की सुमित्रा कास्डेकर ने नेपानगर सीट जीती थी, लेकिन बाद में उन्होंने पाला बदल लिया और 2020 के उपचुनाव में भाजपा के टिकट पर चुनी गईं. भाजपा ने यह सीट बरकरार रखी है. भाजपा के नारायण पटेल और छाया मोरे भी क्रमश: मांधाता और पंधाना से जीते. 2018 में पंधाना सीट पर बीजेपी के राम दांगोरे ने जीत हासिल की थी, जबकि मांधाता सीट पर कांग्रेस के नारायण पटेल जीते थे. पटेल बाद में भाजपा में चले गए और 2020 में उपचुनाव जीते. उन्हें सत्तारूढ़ पार्टी ने फिर से टिकट दिया. खरगोन जिले में भारत जोड़ो यात्रा बड़वाह और भीकनगांव विधानसभा सीटों से होकर गुजरी. बड़वाह से भाजपा के सचिन बिड़ला जीते तो भीकनगांव से कांग्रेस प्रत्याशी झूमा सोलंकी विजयी रहीं.

Bharat Jodo Yatra fails to boost Cong
एमपी में भारत जोड़ो यात्रा के रूट पर कैसी रही कांग्रेस की स्थिति

इंदौर में बीजेपी का जलवा : बता दें कि 2018 में दोनों सीटें कांग्रेस ने जीती थीं. बड़वाह विधायक सचिन बिड़ला बाद में भाजपा में शामिल हो गए. भारत जोड़ो यात्रा ने इंदौर जिले की सभी आठ सीटों को कवर किया. सभी आठ सीटों पर भाजपा विजयी रही. भाजपा की उषा ठाकुर और मधु वर्मा ने क्रमश: महू और राऊ से जीत हासिल की. ​​इंदौर-1 सीट पर भाजपा महासचिव कैलाश विजयवर्गीय ने मौजूदा विधायक संजय शुक्ला को हराकर जीत हासिल की. भाजपा के रमेश मेंदोला (इंदौर-2), गोलू शुक्ला (इंदौर-3), मालिनी गौड़ (इंदौर-4) और महेंद्र हार्डिया (इंदौर-5) भी जीते.

मालवा में कांग्रेस को झटका : इसके अलावा 2020 में कांग्रेस से भगवा पार्टी में शामिल हुए तुलसी सिलावट ने सांवेर सीट से जीत हासिल की. ​​पिछले साल 4 दिसंबर को राजस्थान में प्रवेश करने से पहले भारत जोड़ो यात्रा ने आगर मालवा जिले की आगर मालवा और सुसनेर विधानसभा सीटों को कवर किया. माधव सिंह ने आगर मालवा सीट जीती, जबकि कांग्रेस के भैरो सिंह ने सुसनेर सीट जीती. भाजपा ने 2018 में आगर मालवा विधानसभा सीट जीती, लेकिन 2020 के उपचुनाव में कांग्रेस से हार गई.

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उज्जैन व आसपास भी बीजेपी : सुसनेर विधानसभा सीट 2018 में निर्दलीय उम्मीदवार विक्रम सिंह राणा ने जीती थी, जो बाद में भाजपा में शामिल हो गए. बीजेपी के मोहन यादव और अनिल जैन क्रमशः उज्जैन दक्षिण और उज्जैन उत्तर सीटों से जीते. भाजपा के सतीश मालवीय घाटिया से और महेश परमार जीते. तराना सीट से कांग्रेस विजयी हुई. कांग्रेस के दिनेश जैन ने महिदपुर विधानसभा सीट जीती. संयोग से कांग्रेस नेताओं ने दावा किया था कि इस साल मई में कर्नाटक में कांग्रेस की जीत का कारण भारत जोड़ो यात्रा थी. दक्षिणी राज्य में पार्टी ने उन 20 विधानसभा सीटों में से 15 पर जीत हासिल की, जहां से राहुल गांधी के नेतृत्व वाली यात्रा गुजरी.

भोपाल (Agency, PTI)। मध्यप्रदेश विधानसभा चुनाव में बीजेपी ने दो-तिहाई बहुमत हासिल कर लिया. 230 सीटों में से 163 सीटें बीजेपी ने जीत लीं, जबकि कांग्रेस 66 सीटों पर दूसरे स्थान पर रही. पिछले साल 23 नवंबर से 4 दिसंबर के बीच भारत जोड़ो यात्रा ने एमपी के मालवा-निमाड़ क्षेत्र के छह जिलों बुरहानपुर, खंडवा, खरगोन, इंदौर, उज्जैन और आगर मालवा से होकर 380 किलोमीटर की दूरी तय की, जिसमें कुल मिलाकर 21 सीटें हैं. 2018 में भाजपा ने इनमें से 14 सीटें जीतीं, जबकि कांग्रेस विजयी हुई थी 7 सीटों पर. इस बार भाजपा ने अपनी सीटों की संख्या बढ़ाकर 17 कर ली है. जिससे कांग्रेस 4 सीटों पर सिमट गई.

निमाड़ में नहीं दिखा असर : भाजपा की अर्चना चिटनिस ने बुरहानपुर और मंजू दादू ने बुरहानपुर जिले के नेपानगर विधानसभा क्षेत्रों में जीत हासिल की. बुरहानपुर सीट 2018 में निर्दलीय उम्मीदवार सुरेंद्र सिंह शेरा ने जीती थी, जो इस बार कांग्रेस के उम्मीदवार थे. 2018 में कांग्रेस की सुमित्रा कास्डेकर ने नेपानगर सीट जीती थी, लेकिन बाद में उन्होंने पाला बदल लिया और 2020 के उपचुनाव में भाजपा के टिकट पर चुनी गईं. भाजपा ने यह सीट बरकरार रखी है. भाजपा के नारायण पटेल और छाया मोरे भी क्रमश: मांधाता और पंधाना से जीते. 2018 में पंधाना सीट पर बीजेपी के राम दांगोरे ने जीत हासिल की थी, जबकि मांधाता सीट पर कांग्रेस के नारायण पटेल जीते थे. पटेल बाद में भाजपा में चले गए और 2020 में उपचुनाव जीते. उन्हें सत्तारूढ़ पार्टी ने फिर से टिकट दिया. खरगोन जिले में भारत जोड़ो यात्रा बड़वाह और भीकनगांव विधानसभा सीटों से होकर गुजरी. बड़वाह से भाजपा के सचिन बिड़ला जीते तो भीकनगांव से कांग्रेस प्रत्याशी झूमा सोलंकी विजयी रहीं.

Bharat Jodo Yatra fails to boost Cong
एमपी में भारत जोड़ो यात्रा के रूट पर कैसी रही कांग्रेस की स्थिति

इंदौर में बीजेपी का जलवा : बता दें कि 2018 में दोनों सीटें कांग्रेस ने जीती थीं. बड़वाह विधायक सचिन बिड़ला बाद में भाजपा में शामिल हो गए. भारत जोड़ो यात्रा ने इंदौर जिले की सभी आठ सीटों को कवर किया. सभी आठ सीटों पर भाजपा विजयी रही. भाजपा की उषा ठाकुर और मधु वर्मा ने क्रमश: महू और राऊ से जीत हासिल की. ​​इंदौर-1 सीट पर भाजपा महासचिव कैलाश विजयवर्गीय ने मौजूदा विधायक संजय शुक्ला को हराकर जीत हासिल की. भाजपा के रमेश मेंदोला (इंदौर-2), गोलू शुक्ला (इंदौर-3), मालिनी गौड़ (इंदौर-4) और महेंद्र हार्डिया (इंदौर-5) भी जीते.

मालवा में कांग्रेस को झटका : इसके अलावा 2020 में कांग्रेस से भगवा पार्टी में शामिल हुए तुलसी सिलावट ने सांवेर सीट से जीत हासिल की. ​​पिछले साल 4 दिसंबर को राजस्थान में प्रवेश करने से पहले भारत जोड़ो यात्रा ने आगर मालवा जिले की आगर मालवा और सुसनेर विधानसभा सीटों को कवर किया. माधव सिंह ने आगर मालवा सीट जीती, जबकि कांग्रेस के भैरो सिंह ने सुसनेर सीट जीती. भाजपा ने 2018 में आगर मालवा विधानसभा सीट जीती, लेकिन 2020 के उपचुनाव में कांग्रेस से हार गई.

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उज्जैन व आसपास भी बीजेपी : सुसनेर विधानसभा सीट 2018 में निर्दलीय उम्मीदवार विक्रम सिंह राणा ने जीती थी, जो बाद में भाजपा में शामिल हो गए. बीजेपी के मोहन यादव और अनिल जैन क्रमशः उज्जैन दक्षिण और उज्जैन उत्तर सीटों से जीते. भाजपा के सतीश मालवीय घाटिया से और महेश परमार जीते. तराना सीट से कांग्रेस विजयी हुई. कांग्रेस के दिनेश जैन ने महिदपुर विधानसभा सीट जीती. संयोग से कांग्रेस नेताओं ने दावा किया था कि इस साल मई में कर्नाटक में कांग्रेस की जीत का कारण भारत जोड़ो यात्रा थी. दक्षिणी राज्य में पार्टी ने उन 20 विधानसभा सीटों में से 15 पर जीत हासिल की, जहां से राहुल गांधी के नेतृत्व वाली यात्रा गुजरी.

Last Updated : Dec 4, 2023, 3:56 PM IST
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