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MP BJP: डैमेज से पहले कंट्रोल करने की रणनीति, रूठे नेताओं को मनाने की इन दिग्गजों को जिम्मेदारी

मध्यप्रदेश में आने वाले विधानसभा चुनाव को देखते हुए बीजेपी किसी भी एंगल पर कमजोरी नहीं छोड़ना चाहती. इसी रणनीति के तहत बीजेपी रूठे हुए नेताओं व कार्यकर्ताओं को मनाने के लिए प्रदेश के दिग्गज नेताओं को उतार रही है. बीते दिनों भोपाल दौरे पर आए बीजेपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष नड्डा के निर्देश पर ये कवायद की जा रही है. इन रूठे नेताओं में कई ऐसे हैं, जिनका अपने क्षेत्र में खासा रसूख होने के साथ ही प्रदेश के कई जिलों में महत्व रखते हैं. बीजेपी को लगता है कि डैमेज होने से पहले कंट्रोल नहीं किया गया तो झटका लग सकता है.

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MP BJP: डैमेज से पहले कंट्रोल करने की रणनीति
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Published : Apr 8, 2023, 7:24 PM IST

MP BJP: डैमेज से पहले कंट्रोल करने की रणनीति

भोपाल। मध्यप्रदेश में विधानसभा चुनाव से पहले बीजेपी में उन नेताओं की पूछ-परख बढ़ने वाली है, जो दरकिनार कर दिए गए हैं. इनमें कई ऐसे जमीनी नेता भी हैं, जिन्हें संगठन ने घर बैठा दिया है. पार्टी में नाराज चल रहे इन नेताओं को मनाने के लिए संगठन ने पूर्व प्रदेशाध्यक्ष समेत एक दर्जन नेताओं को जिलों में उतार दिया है. ये नेता 15 अप्रैल तक जिलों में घूमकर नाराज नेताओं और कार्यकर्ताओं से संवाद करेंगे. बता दें कि हाल ही में भोपाल दौरे पर आए पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष नड्डा हासिए पर चल रहे पूर्व प्रदेशाध्यक्ष प्रभात झा को मनाने के लिए उनके घर पर पहुंचे.

बीजेपी आलाकमान को मिला फीडबैक : दरअसल, बीजेपी आलाकमान को ये फीडबैक मिला है कि असली नुकसान बीजेपी के रूठे नेता ही कर सकते हैं. इसे देखते हुए भाजपा ने पूर्व प्रदेशाध्यक्ष व केंद्रीय मंत्रियों को बड़ी जिम्मेदारी सौंपी है. पार्टी को लगता है कि 2023 में होने वाले विधासनभा चुनाव से पुराने नेताओं से होने वाले डैमेज को कंट्रोल कर लिया तो फिर जीत पक्की है. केंद्रीय मंत्री नरेन्द्र सिंह तोमर, पूर्व प्रदेशाध्यक्ष राकेश सिंह को रूठों को मनाने की जिम्मेदारी सौंपी गई है. इधर, बीजेपी के वरिष्ठ नेता शैलेन्द्र शर्मा का कहना है कि हमारे यहां सभी नेता परिवार के सदस्य हैं. बीजेपी में कोई नाराज नहीं है तो मनाने का सवाल ही नहीं उठता.

दिग्गज नेताओं को किया तैनात : बीजेपी में पूर्व मंत्री माया सिंह, जयभान सिंह पवैया हाशिये पर हैं. हालांकि उम्रदराज होने के बाद भी कृष्ण मुरारी मोघे को भी पार्टी ने जिमेदारी सौंपी है. इसके अलावा सरकार के वरिष्ठ मंत्री गोपाल भार्गव, कैलाश विजयवर्गीय, माखन सिंह, सत्यनारायण जटिया, फग्गन सिंह कुलस्ते, लाल सिंह आर्य, सुधीर गुप्ता और राजेन्द्र शुक्ल को भी डैमेज कंट्रोल के लिए तैनात किया है. ये नेता पूर्व नगर पालिका अध्यक्षों, पार्टी की जिला इकाइयों के पूर्व अध्यक्षों, पूर्व विधायकों, पूर्व संसद सदस्यों और अन्य लोगों के साथ बैठक करेंगे. इसके बाद संगठन को रिपोर्ट सौंपेंगे.

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रूठों से संवाद करने की जिम्मेदारी इनको :

  • नरेंद्र सिंह तोमर: इंदौर, भोपाल, सीहोर
  • राकेश सिंह: नर्मदापुरम, बैतूल, मंडला
  • प्रभात झा: खरगोन, बुरहानपुर
  • गोपाल भार्गव: छिंदवाड़ा, बालाघाट, सिवनी
  • कैलाश विजयवर्गीय: जबलपुर, धार, रीवा, सतना
  • जयभान सिंह पवैयाः उज्जैन, शाजापुर, देवास
  • माखन सिंह : गुना, शिवपुरी, श्योपुर
  • कृष्ण मुरारी मोघे : विदिशा, रायसेन, सागर
  • सत्यनारायण जटिया : रतलाम, मंदसौर, नीमच
  • फग्गन सिंह कुलस्ते : झाबुआ, अलीराजपुर
  • माया सिंह : राजगढ़, नरसिंहपुर, दतिया
  • लाल सिंह आर्य: टीकमगढ़, कटनी, पन्ना, छतरपुर
  • सुधीर गुप्ता : ग्वालियर, भिंड, मुरैना
  • राजेन्द्र शुक्ल: सीधी, सिंगरौली, अनूपपुर, उमरिया, शाहडोल

MP BJP: डैमेज से पहले कंट्रोल करने की रणनीति

भोपाल। मध्यप्रदेश में विधानसभा चुनाव से पहले बीजेपी में उन नेताओं की पूछ-परख बढ़ने वाली है, जो दरकिनार कर दिए गए हैं. इनमें कई ऐसे जमीनी नेता भी हैं, जिन्हें संगठन ने घर बैठा दिया है. पार्टी में नाराज चल रहे इन नेताओं को मनाने के लिए संगठन ने पूर्व प्रदेशाध्यक्ष समेत एक दर्जन नेताओं को जिलों में उतार दिया है. ये नेता 15 अप्रैल तक जिलों में घूमकर नाराज नेताओं और कार्यकर्ताओं से संवाद करेंगे. बता दें कि हाल ही में भोपाल दौरे पर आए पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष नड्डा हासिए पर चल रहे पूर्व प्रदेशाध्यक्ष प्रभात झा को मनाने के लिए उनके घर पर पहुंचे.

बीजेपी आलाकमान को मिला फीडबैक : दरअसल, बीजेपी आलाकमान को ये फीडबैक मिला है कि असली नुकसान बीजेपी के रूठे नेता ही कर सकते हैं. इसे देखते हुए भाजपा ने पूर्व प्रदेशाध्यक्ष व केंद्रीय मंत्रियों को बड़ी जिम्मेदारी सौंपी है. पार्टी को लगता है कि 2023 में होने वाले विधासनभा चुनाव से पुराने नेताओं से होने वाले डैमेज को कंट्रोल कर लिया तो फिर जीत पक्की है. केंद्रीय मंत्री नरेन्द्र सिंह तोमर, पूर्व प्रदेशाध्यक्ष राकेश सिंह को रूठों को मनाने की जिम्मेदारी सौंपी गई है. इधर, बीजेपी के वरिष्ठ नेता शैलेन्द्र शर्मा का कहना है कि हमारे यहां सभी नेता परिवार के सदस्य हैं. बीजेपी में कोई नाराज नहीं है तो मनाने का सवाल ही नहीं उठता.

दिग्गज नेताओं को किया तैनात : बीजेपी में पूर्व मंत्री माया सिंह, जयभान सिंह पवैया हाशिये पर हैं. हालांकि उम्रदराज होने के बाद भी कृष्ण मुरारी मोघे को भी पार्टी ने जिमेदारी सौंपी है. इसके अलावा सरकार के वरिष्ठ मंत्री गोपाल भार्गव, कैलाश विजयवर्गीय, माखन सिंह, सत्यनारायण जटिया, फग्गन सिंह कुलस्ते, लाल सिंह आर्य, सुधीर गुप्ता और राजेन्द्र शुक्ल को भी डैमेज कंट्रोल के लिए तैनात किया है. ये नेता पूर्व नगर पालिका अध्यक्षों, पार्टी की जिला इकाइयों के पूर्व अध्यक्षों, पूर्व विधायकों, पूर्व संसद सदस्यों और अन्य लोगों के साथ बैठक करेंगे. इसके बाद संगठन को रिपोर्ट सौंपेंगे.

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रूठों से संवाद करने की जिम्मेदारी इनको :

  • नरेंद्र सिंह तोमर: इंदौर, भोपाल, सीहोर
  • राकेश सिंह: नर्मदापुरम, बैतूल, मंडला
  • प्रभात झा: खरगोन, बुरहानपुर
  • गोपाल भार्गव: छिंदवाड़ा, बालाघाट, सिवनी
  • कैलाश विजयवर्गीय: जबलपुर, धार, रीवा, सतना
  • जयभान सिंह पवैयाः उज्जैन, शाजापुर, देवास
  • माखन सिंह : गुना, शिवपुरी, श्योपुर
  • कृष्ण मुरारी मोघे : विदिशा, रायसेन, सागर
  • सत्यनारायण जटिया : रतलाम, मंदसौर, नीमच
  • फग्गन सिंह कुलस्ते : झाबुआ, अलीराजपुर
  • माया सिंह : राजगढ़, नरसिंहपुर, दतिया
  • लाल सिंह आर्य: टीकमगढ़, कटनी, पन्ना, छतरपुर
  • सुधीर गुप्ता : ग्वालियर, भिंड, मुरैना
  • राजेन्द्र शुक्ल: सीधी, सिंगरौली, अनूपपुर, उमरिया, शाहडोल
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