भोपाल। आगामी विधानसभा चुनाव को लेकर बीजेपी-कांग्रेस 230 विधानसभा सीटों पर तैयारियों में जुटी है. मतदाताओं को लुभाने के लिए दोनों ही पार्टियां लगातार ऐलान कर रही हैं, लेकिन मध्य प्रदेश की 230 विधानसभा सीटों में से करीब 15 सीटें ऐसी हैं. जहां महिला मतदाता किंग मेकर साबित होंगी. इन सीटों पर पुरुष मतदाताओं की तुलना में महिला मतदाता ज्यादा हैं, जो अपने क्षेत्र के जनप्रतिनिधि का चुनावी भविष्य तय करेंगे. सबसे खास बात यह है कि इनमें से अधिकांश सीटें आदिवासी क्षेत्रों से हैं.
ग्वालियर में पुरूष मतदाता ज्यादा, आदिवासी क्षेत्रों में कम: विधानसभा चुनाव के लिए मतदाता सूची में वोटर्स के नाम जुड़वाने की प्रक्रिया लगातार चल रही है. चुनाव आयोग द्वारा 2 अगस्त तक के मतदाताओं के आंकड़े पिछले दिनों जारी किए हैं, हालांकि मतदाताओं के नाम जोड़े जाने की प्रक्रिया अभी लगातार जारी है. मध्यप्रदेश में कुल मतदाताओं की संख्या 5 करोड़ 43 लाख 77 हजार 95 है. इसमें पुरुष मतदाताओं की संख्या 2 करोड़ 81 लाख 26 हजार 191 है, जबकि महिला मतदाताओं की संख्या 2 करोड़ 62 लाख 49 हजार 578 है. जबकि थर्ड जेंडर 1326 हैं. इस तरह देखा जाए तो प्रदेश में पुरुष मतदाताओं के मुकाबले महिला मतदाताओं की संख्या 18 लाख 76 हजार 613 कम है. वैसे देखा जाए तो ग्वालियर संभाग की कई विधानसभा सीटों में महिला मतदाताओं के मुकाबले पुरुष मतदाता कहीं ज्यादा हैं. कई सीटों में दोनों के बीच अंतर 20 हजार तक है.
मसलन लहार विधानसभा क्षेत्र में महिला और पुरुष मतदाताओं के बीच 23 हजार 59 का अंतर है. यहां पुरुष मतदाता 137912, जबकि महिला मतदाता 114853 हैं. मेहगांव विधानसभा में महिला और पुरुष मतदाताओं के बीच 25 हजार 909 का अंतर है. यहां पुरुष मतदाताओं की संख्या 147995, जबकि महिला मतदाताओं की संख्या 122086 है. ग्वालियर ग्रामीण विधानसभा में महिला और पुरुष मतदाताओं के बीच 20 हजार 562 का अंतर है. यहां पुरुष मतदाताओं की संख्या 132023, जबकि महिला मतदाताओं की संख्या 111461 है.
आदिवासी क्षेत्रों में महिला मतदाता ज्यादा: प्रदेश में सबसे ज्यादा महिला विधानसभा सीटें आदिवासी बाहुल्य जिलों में हैं. इन विधानसभा क्षेत्रों में महिला मतदाताओं की संख्या 300 से लेकर 3 हजार तक पुरुष मतदाताओं से ज्यादा है. ताजा मतदाता सूची के मुताबिक निवास विधानसभा क्षेत्र में महिला मतदाता पुरुष मतदाताओं से 3 हजार 32 ज्यादा हैं. यहां पुरुष मतदाताओं की संख्या 1 लाख 28 हजार 969 है, जबकि महिला मतदाता 1 लाख 32 हजार 1 हैं. इसी तरह मंडला जिले में महिला मतदाताओं की संख्या पुरुष मतदाताओं से 1262 ज्यादा हैं. ऐसी स्थिति प्रदेश की 15 विधानसभा सीटों पर है.
पार्टियां महिला वर्ग को लुभाने में जुटीं: उधर राजनीतिक पार्टियां महिला वर्ग को चुनावी साल में लुभाने में जुटी है. चुनाव के पहले प्रदेश की शिवराज सरकार ने महिलाओं के लिए अपनी महत्वाकांक्षी योजना लाड़ली बहना योजना शुरू की है, इसमें महिलाओं को 1 हजार रुपए प्रतिमाह दिया जा रहा है. जबकि कांग्रेस ने महिला स्वाभिमान योजना सरकार बनने पर शुरू करने का वादा किया है. इसमें कांग्रेस 1500 रुपए मासिक और 500 रुपए में सिलेंडर की पेशकश की है. अब देखना होगा कि महिलाएं किस पार्टी के उम्मीदवार पर वोट के रूप में अपना आशीर्वाद लुटाती हैं.