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चुनावी साल में JAYAS में दो फाड़, अपनी ही पार्टी से बाहर हुए अलावा, लगे गंभीर आरोप - Jayas expelled Hiralal Alava from party

मध्यप्रदेश में विधानसभा चुनाव से पहले सिर्फ बड़ी पार्टियों में ही खींचतान नहीं चली है, बल्कि क्षेत्रीय आदिवासी पार्टी के हालात भी ठीक नहीं है. मध्यप्रदेश की क्षेत्रीय आदिवासी पार्टी जयस ने काकोडिया को प्रदेश अध्यक्ष बनाया. जबकि हीरालाल अलावा को संगठन से ही बाहर कर दिया है.

JAYAS
जयस
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Published : Apr 12, 2023, 3:04 PM IST

भोपाल। आगामी विधानसभा चुनाव में आदिवासी क्षेत्र में बीजेपी और कांग्रेस को चुनौती देने के पहले ही आदिवासी संगठन में दो फाड़ हो गए हैं. जयस ने रामदेव काकोडिया को अपना प्रदेश अध्यक्ष बनाया है. साथ ही कहा है कि हीरालाल अलावा को संगठन से बाहर कर दिया गया है. उधर अलावा का कहना है कि अगला सम्मेलन उनका ही है, जिसकी जल्द ही भोपाल में प्रदेश स्तरीय बैठक होने जा रही है. उन्होंने आरोप लगाया है कि डॉ. आनंद राय के कहने पर यह सब किया जा रहा है. उधर डॉ. राय ने पलटवार करते हुए कहा है कि अलावा पैसे लेकर जिलों में फर्जी तरीके से पद बांट रहे हैं. अलावा ने ऐसे लोगों को भी पद बांट दिए, जो व्यापमं कांड में जेल तक जा चुके हैं. उन्होंने जिसे प्रदेश अध्यक्ष बनाया, उसने जयस के नाम से दूसरा संगठन रजिस्टर्ड करा लिया है.

राय का आरोप पैसे लेकर पद बांट रहे अलावा: उधर संगठन से अप्रत्यक्ष रूप से जुड़े डॉ. आनंद राय ने आरोप लगाया है कि विधायक हीरा अलावा पैसे लेकर जयस के नाम से जिलों में पद बांटने में जुटे हैं. उन्होंने कई जिलों में ऐसे लोगों को भी पद बांट दिए, जो व्यापमं कांड में जेल तक जा चुके हैं. अलावा ने पिछला चुनाव कांग्रेस के नाम से लड़ा था. संगठन के संविधान के हिसाब से अब वे जयस का हिस्सा नहीं हो सकते. इसलिए अब उनका जयस से कोई लेना देना नहीं है. उन्होंने सवाल किया कि जयस के बैनर तले सरकार के खिलाफ धरना प्रदर्शन करने वालों पर दर्जनों मामले दर्ज हो चुके हैं. आखिर हीरालाल अलावा पर एक भी मामले दर्ज क्यों नहीं हुए. वे सरकार के खिलाफ ऐसे प्रदर्शनों का कभी हिस्सा ही नहीं होते. वे मलाई खाने आ जाते हैं, लेकिन विवाद के समय पल्ला झाड लेते हैं.

फायदा उठाने की कोशिश कर रहे अलावा: अलावा ने अंतिम मुजालदा को रातों रात हटाकर इंद्रपाल मरकाम को प्रदेश अध्यक्ष बना दिया. उसने जन शक्ति युवा आदिवासी संगठन का रजिस्ट्रेशन कराया है और इसे जयस लिखा जा रहा है. जबकि मूल जयस विक्रम अछालिया, लोकेश मुजालदा, रामदेव काकोडिया की है. डॉ. राय ने कहा कि जयस का लोगो उनके नाम से रजिस्टर्ड है. मैं चाहूं तो हीरालाल उसका उपयोग भी नहीं कर सकते. जबकि जयस संगठन रजिस्टर्ड ही नहीं है. इसका ही हीरालाल फायदा उठाने की कोशिश कर रहा है. उन्होंने आरोप लगाया कि पिछले चुनाव में जयस ने हीरालाल को जिताया था, लेकिन अब संगठन ने उन्हें बाहर कर दिया है.

जयस से जुड़ी कुछ खबरें यहां पढ़ें

हीरालाल अलावा बोले जल्द बैठक करेंगे: उधर जब जयस से उन्हें हटाए जाने को लेकर हीरालाल अलावा से सवाल किया तो उन्होंने कहा कि यह सब कुछ डॉ. आनंद राय के इशारे पर किया जा रहा है. वह संगठन में लोगों को भड़का रहे हैं. उनके साथ ही जयस संगठन खड़ा है, फिर बाहर निकालने का सवाल ही नहीं उठता. जब उनसे पूछा गया कि आपका प्रदेश अध्यक्ष कौन है, तो उन्होंने कहा कि आप खुद पता लगा लें. एक दिन पहले जो जयस का कार्यक्रम हुआ वह फर्जी है, जल्द ही वे प्रदेश स्तरीय जयस का सम्मेलन भोपाल में करने जा रहे हैं. इसमें आगामी चुनाव की रणनीति बनाई जाएगी.

भोपाल। आगामी विधानसभा चुनाव में आदिवासी क्षेत्र में बीजेपी और कांग्रेस को चुनौती देने के पहले ही आदिवासी संगठन में दो फाड़ हो गए हैं. जयस ने रामदेव काकोडिया को अपना प्रदेश अध्यक्ष बनाया है. साथ ही कहा है कि हीरालाल अलावा को संगठन से बाहर कर दिया गया है. उधर अलावा का कहना है कि अगला सम्मेलन उनका ही है, जिसकी जल्द ही भोपाल में प्रदेश स्तरीय बैठक होने जा रही है. उन्होंने आरोप लगाया है कि डॉ. आनंद राय के कहने पर यह सब किया जा रहा है. उधर डॉ. राय ने पलटवार करते हुए कहा है कि अलावा पैसे लेकर जिलों में फर्जी तरीके से पद बांट रहे हैं. अलावा ने ऐसे लोगों को भी पद बांट दिए, जो व्यापमं कांड में जेल तक जा चुके हैं. उन्होंने जिसे प्रदेश अध्यक्ष बनाया, उसने जयस के नाम से दूसरा संगठन रजिस्टर्ड करा लिया है.

राय का आरोप पैसे लेकर पद बांट रहे अलावा: उधर संगठन से अप्रत्यक्ष रूप से जुड़े डॉ. आनंद राय ने आरोप लगाया है कि विधायक हीरा अलावा पैसे लेकर जयस के नाम से जिलों में पद बांटने में जुटे हैं. उन्होंने कई जिलों में ऐसे लोगों को भी पद बांट दिए, जो व्यापमं कांड में जेल तक जा चुके हैं. अलावा ने पिछला चुनाव कांग्रेस के नाम से लड़ा था. संगठन के संविधान के हिसाब से अब वे जयस का हिस्सा नहीं हो सकते. इसलिए अब उनका जयस से कोई लेना देना नहीं है. उन्होंने सवाल किया कि जयस के बैनर तले सरकार के खिलाफ धरना प्रदर्शन करने वालों पर दर्जनों मामले दर्ज हो चुके हैं. आखिर हीरालाल अलावा पर एक भी मामले दर्ज क्यों नहीं हुए. वे सरकार के खिलाफ ऐसे प्रदर्शनों का कभी हिस्सा ही नहीं होते. वे मलाई खाने आ जाते हैं, लेकिन विवाद के समय पल्ला झाड लेते हैं.

फायदा उठाने की कोशिश कर रहे अलावा: अलावा ने अंतिम मुजालदा को रातों रात हटाकर इंद्रपाल मरकाम को प्रदेश अध्यक्ष बना दिया. उसने जन शक्ति युवा आदिवासी संगठन का रजिस्ट्रेशन कराया है और इसे जयस लिखा जा रहा है. जबकि मूल जयस विक्रम अछालिया, लोकेश मुजालदा, रामदेव काकोडिया की है. डॉ. राय ने कहा कि जयस का लोगो उनके नाम से रजिस्टर्ड है. मैं चाहूं तो हीरालाल उसका उपयोग भी नहीं कर सकते. जबकि जयस संगठन रजिस्टर्ड ही नहीं है. इसका ही हीरालाल फायदा उठाने की कोशिश कर रहा है. उन्होंने आरोप लगाया कि पिछले चुनाव में जयस ने हीरालाल को जिताया था, लेकिन अब संगठन ने उन्हें बाहर कर दिया है.

जयस से जुड़ी कुछ खबरें यहां पढ़ें

हीरालाल अलावा बोले जल्द बैठक करेंगे: उधर जब जयस से उन्हें हटाए जाने को लेकर हीरालाल अलावा से सवाल किया तो उन्होंने कहा कि यह सब कुछ डॉ. आनंद राय के इशारे पर किया जा रहा है. वह संगठन में लोगों को भड़का रहे हैं. उनके साथ ही जयस संगठन खड़ा है, फिर बाहर निकालने का सवाल ही नहीं उठता. जब उनसे पूछा गया कि आपका प्रदेश अध्यक्ष कौन है, तो उन्होंने कहा कि आप खुद पता लगा लें. एक दिन पहले जो जयस का कार्यक्रम हुआ वह फर्जी है, जल्द ही वे प्रदेश स्तरीय जयस का सम्मेलन भोपाल में करने जा रहे हैं. इसमें आगामी चुनाव की रणनीति बनाई जाएगी.

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