भोपाल। वन विहार नेशनल पार्क की मादा शेर 'वरू' की सोमवार को मौत हो गई. उसकी उम्र 15 साल थी और दो दिन से बीमार होने की वजह से उसने खाना छोड़ दिया था. सुबह उसने अंतिम सांस ली. पोस्टमार्टम के बाद वन विहार में उसका अंतिम संस्कार कर दिया गया. इससे पहले भी 12 मई को मचमाची नाम की 11 वर्षीय टाइग्रेस की यहां मौत हो गई थी. वन विहार राष्ट्रीय उद्यान के अधिकारियों ने बताया कि शेरनी 'वरु' को असम के गुवाहाटी जू से 14 अप्रैल 2017 को वन विहार नेशनल पार्क भोपाल लाया गया था. उस समय उसकी उम्र करीब 10 वर्ष थी. (Van Vihar Lioness Death)
वन विहार राष्ट्रीय उद्यान में अब बचे दो शेर: अधिकारियों ने बताया कि दो दिन से बीमार होने की वजह से वन विहार के वन्य प्राणी चिकित्सकों द्वारा उसका उपचार किया जा रहा था. उसने नियमित भोजन लेना बंद कर दिया था. वरू की मृत्यु का कारण पोस्टमार्टम रिपोर्ट आने के बाद ही पता चल पाएगा. उसके आंतरिक अंगों को परीक्षण के लिए स्कूल आफ वाइल्ड लाइफ फॉरेंसिक एंड हेल्थ जबलपुर एवं पशु रोग अन्वेषण प्रयोगशाला जहांगीराबाद, भोपाल भेजा गया है. अब वन विहार में मात्र दो शेर बचे हैं. (lioness passes away in madhya pradesh)
MP: भोपाल के वन विहार नेशनल पार्क में मृत मिली बाघिन, किया गया अंतिम संस्कार
पहले हुई हैं बाघों की मौतें: मध्य प्रदेश के भोपाल शहर के वन विहार राष्ट्रीय उद्यान में 12 मई को भी एक 11 वर्षीय बाघिन मृत पाई गई थी. मचमाची नाम की टाइग्रेस को बीट गार्ड ने बेहोश मिली थी, बाद में जांच के बाद उसे मृत घोषित कर दिया गया थी. 2018 में इस बाघिन को बांधवगढ़ टाइगर रिजर्व से बचाए जाने के बाद भोपाल के वन विहार लाया गया था.
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