भोपाल। सिंधिया समर्थक 6 विधायकों के इस्तीफे स्वीकार किए जाने के बाद पक्ष और विपक्ष दोनों ही नेताओं के बीच बयानबाजी शुरू हो गर्ई है. नेता प्रजापति गोपाल भार्गव ने कहा कि विधानसभा अध्यक्ष अपनी भूमिका का निष्पक्ष रूप से निर्वहन नहीं कर रहे हैं. उन्होंने सिर्फ 6 विधायकों के इस्तीफे स्वीकार किए हैं. जबकि 22 विधायकों ने इस्तीफे दिए थे.
गोपाल भार्गव ने कहा कि विधानसभा अध्यक्ष का पद काफी सम्मानजनक होता है. अध्यक्ष महोदय को आसंदी का सम्मान बरकरार रखना चाहिए. भार्गव ने कहा कि विधायकों ने अपने हस्त लिखित और हस्ताक्षर युक्त इस्तीफे दिए थे. जो राज्यपाल और स्पीकर को भेजे गए थे. लेकिन सिर्फ 6 विधायकों के इस्तीफे स्वीकार करने के बारे में मैं सोचता हूं कि ये स्पीकर की दोहरी नीति, सोच और दोहरी कार्यवाही है.
जबकि अन्य विधायक कह रहे हैं कि हम भी अपनी स्वेच्छा से इस्तीफा दे रहे हैं. उनकी वीडियो रिकॉर्डिंग और पत्र भी हैं. नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि विधायकों के समाचार चैनलों में कई प्रकार के बयान भी हैं. फिर अलग-अलग मापदंड क्यों अपनाया जा रहा है. उन्होंने कहा कि मैं मानता हूं कि विधानसभा स्पीकर अपनी भूमिका का निष्पक्ष रुप से निर्वहन नहीं कर रहे हैं. उन्हें अपनी भूमिका का निष्पक्ष रुप से निर्वहन करना चाहिए. यह बहुत सम्मानजनक पद होता है, अध्यक्ष महोदय को आसंदी का सम्मान बरकरार रखना चाहिए.