भोपाल। मध्यप्रदेश के शासकीय कर्मचारी स्वास्थ्य बीमा योजना को कमलनाथ कैबिनेट ने मंजूरी दे दी है. अब प्रदेश के कर्मचारियों को कैशलेस उपचार की सुविधा मिल सकेगी. वहीं मध्यप्रदेश तृतीय वर्ग शासकीय कर्मचारी संघ ने योजना का स्वागत किया है. छोटे से अंशदान पर योजना में शामिल होकर शासकीय और निजी अस्पतालों में सरकारी कर्मचारी और उनके परिवार इलाज करा सकेगा. योजना सेवारत और सेवानिवृत्त दोनों प्रकार के कर्मचारियों के लिए लागू की जा रही है.
मध्यप्रदेश तृतीय वर्ग शासकीय कर्मचारी संघ के प्रदेश अध्यक्ष ओपी कटियार और महामंत्री लक्ष्मी नारायण शर्मा ने कैबिनेट में मध्य प्रदेश कर्मचारी बीमा स्वास्थ्य योजना को मंजूरी देने पर मुख्यमंत्री का आभार व्यक्त कर योजना का स्वागत किया है.
संघ के महामंत्री लक्ष्मीनारायण शर्मा ने बताया कि कर्मचारी और उनके परिवार का नि:शुल्क उपचार प्रदेश के मान्यता प्राप्त निजी और शासकीय चिकित्सालय में किया जाएगा. योजना के लिए कर्मचारियों से मासिक अंशदान लिया जाएगा और योजना में ना के केवल भर्ती रह के इलाज कराया जा सकेगा. बल्कि ओपीडी उपचार की भी सुविधा मिलेगी.
योजना में साधारण बीमारी के लिए 5 लाख एवं गंभीर बीमारियों के लिए 10 लाख की राशि स्वीकृत की गई है. योजना में सरकारी कर्मचारियों को ग्रुप 1 से 5 तक 250 रूपए, समूह 6 से 10 तक 450 रूपए,11 से 15 तक 650 रूपये और उसके ऊपर 1000 रूपये मासिक अंशदान देना होगा.
वहीं सेवानिवृत्त कर्मचारी जो पेंशनर्स हैं. जिनको 15 हजार रूपये तक पेंशन मिलती है, उनको 250 रूपये जिनको 25 हजार तक 450 रूपये और 50 हजार तक 650 रूपए और 50 हजार से ऊपर 1000 की मासिक अंशदान राशि देनी होगी. जिससे कर्मचारी और उनका परिवार उपचार करा सकेंगे. परिवार में बीबी बच्चे और आश्रित माता-पिता को भी शामिल किया गया है.