भोपाल। मध्यप्रदेश में राजनीतिक पार्टियां चुनावी मोड में आ चुकी हैं. इस चुनावी साल में सभी राजनेता धर्म का सहारा लेकर जनता को लुभाने की कोशिश कर रहे हैं. इन दिनों प्रदेश में बाबाओं पर नेताओं की राजनीति टिकी हुई है. वहीं हनुमान जयंती पर भी कई नेता मंदिर जाते और भजन कीर्तन करते नजर आए. इसी तरह के धार्मिक रंग की तस्वीर राजधानी भोपाल में कांग्रेस दफ्तर में देखने मिली. जबकि दूसरी तरफ बीजेपी कार्यालय सूना रहा. बीजेपी अपने स्थापना दिवस में व्यस्त नजर आई.
कांग्रेस अब सॉफ्ट नहीं, हार्ड लाइन पर चल रही: इस बार राजधानी भोपाल में हनुमान जयंती पर मंदिरों में भक्तों की भीड़ तो उमड़ी, लेकिन प्रदेश की सियासत के केंद्र दो दफ्तरों में नजारा कुछ अलग था. कांग्रेस दफ्तर में हनुमान चालीसा का पाठ किया गया नेता. जहां पूर्व मंत्री और प्रवक्ताओं ने जोश के साथ हनुमान चालीसा पढ़ी, लेकिन इस बार बीजेपी कार्यालय में हनुमान जयंती पर हनुमान चालीसा नहीं हुई. इस मौके पर कांग्रेस ने कहा कि हम ढोंग नहीं करते. हम धर्म में राजनीति नहीं देखते, लेकिन बीजेपी सिर्फ वोट बैंक के लिये ढोंग करती है.
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बीजेपी का कार्यालय रहा सूना: वहीं इस बार बीजेपी कार्यालय में आयोजन नहीं हुआ. इस बारे में बीजेपी का कहना है कि हम धर्म को लेकर दिखावा नहीं करते. हमारी आस्था धर्म में है. पीएम मोदी ने मन की बात की शुरुआत हनुमान जी से की. उन्होंने कार्यक्रताओं से कहा कि वे भी हनुमान की तरह काम करें. नए पार्टी कार्यालय के पीछे बने हनुमान मंदिर में पार्टी की तरफ से कार्यकर्ताओं को भंडारा कराया गया. दरअसल 2023 के चुनावों को देखते हुए कांग्रेस ने भाजपा के अंदाज में जवाब देने की तैयारी शुरू कर दी है. कांग्रेस ने पार्टी कार्यालय में धर्म संवाद किया और पूरे दफ्तर को भगवा रंग के कपड़ों से सजा दिया. कांग्रेस ने हिंदू त्योहारों जैसे रामनवमी और हनुमान जयंती को मनाया. पार्टी अध्यक्ष कमलनाथ में कार्यकर्ताओं को पत्र लिखकर कहा कि रामनवमी और हनुमान जयंती के मौके पर धार्मिक आयोजन किए जाएं.