भोपाल। कोरोना का असर शैक्षणिक संस्थानों पर भी देखने को मिल रहा है. बात चाहे एंट्रेंस एग्जाम की हो या फिर परीक्षाओं की इस साल शैक्षणिक संस्थानों में गतिविधियां उलट-पलट हो गई. न कॉलेज में कैंपस आ रहे हैं, ना परीक्षाएं टाइम पर हो पाई और अब ना ही अब एडमिशन हो पा रहे हैं. एडमिशन के लिए कॉलेजों में होने वाली एंट्रेंस परीक्षाएं इस बार रद्द हो रही है. माखनलाल विश्वविद्यालय ने इस बार एंट्रेंस एग्जाम न लेने का फैसला किया है. वहीं बरकतउल्ला विश्वविद्यालय भी एंट्रेंस एग्जाम न लेने पर विचार कर रहा है.
माखनलाल चतुर्वेदी राष्ट्रीय पत्रकारिता विश्वविद्यालय में इस साल एंट्रेंस एग्जाम नहीं होंगे, बल्कि छात्रों को 12वीं के परसेंटेज के आधार पर उन्हें एडमिशन दिया जाएगा. कॉलेज में 31 जुलाई एडमिशन की आखिरी तारीख है, जबकि माखनलाल विश्वविद्यालय में मई के माह में एंट्रेंस एग्जाम हुआ करते थे जून में सिलेक्शन हुआ करता था जुलाई में कॉलेज स्टार्ट हो जाया करते थे लेकिन इस साल कोरोना के चलते शैक्षणिक कैलेंडर पूरी तरह से डगमगा गया है.
विश्वविद्यालय के रजिस्ट्रार अविनाश बाजपेई ने बताया कि इस साल एंट्रेंस एग्जाम नहीं लिया जाएगा. बल्कि 12वीं के अंकों के आधार पर छात्रों को कॉलेज में प्रवेश दिया जाएगा, लेकिन छात्रों का कहना है कि अगर एंट्रेंस एग्जाम नहीं होता है तो छात्रों की काबिलियत कैसे पता लगाई जाएगी क्योंकि कई बार छात्र 10वीं 12वीं में ठीक प्रदर्शन नहीं कर पाता, लेकिन एंट्रेंस एग्जाम में बेहतर प्रदर्शन कर अच्छे कॉलेज में एडमिशन ले पाता है. ऐसे में अगर एंट्रेंस एग्जाम नहीं होते हैं तो कई छात्र अपने मनपसंद कॉलेज में एडमिशन लेने से वंचित रह जाएंगे.
सभी राष्ट्रीय संस्थानों में एंट्रेंस प्रक्रिया रुकी हुई हैं. विश्वविद्यालय स्थिति सामान्य होने का इंतजार कर रहे हैं, हालांकि अगर ऐसा होता है तो एडमिशन में देरी होगी. ऐसे में छात्रों में चिंता है. हालांकि अब देखना होगा कि छात्रों के इस भय को कॉलेज प्रबंधन कैसे दूर करेगा और काबिल छात्र को प्रवेश कैसे दिया जाएगा.