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डीजल के दाम स्थिर, फिर क्यों भोपाल में ट्रांसपोर्टर राहत देने को राजी नहीं? मालभाड़ा जस का तस, कब होगी कटौती?

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Published : Dec 9, 2021, 6:58 PM IST

मध्य प्रदेश में डीजल के रेटों में कमी आने के बाद भी मालभाड़े में कोई कमी नहीं की गई है, मालभाड़ा जस का तस बना हुआ है. पिछले एक महीने से डीजल के दाम स्थिर हैं, लेकिन ट्रांसपोर्ट चार्ज में कोई कटौती नहीं की गई है. भोपाल में पेट्रोल 107.21 और डीजल 90.86 रुपए प्रति लीटर में मिल रहा है. (Excise Duty on Petrol Diesel)

भोपाल ट्रांसपोर्ट के दामों में कोई कटौती नहीं
petrol-diesel transport charge

भोपाल। Excise Duty on Petrol Diesel: कोविड-19 महामारी 2020-21 में केंद्र सरकार द्वारा लगातार पेट्रोल और डीजल के दामों में बढ़ोतरी की जा रही थी. लेकिन अब केंद्र सरकार द्वारा एक्साइज ड्यूटी कम कर दी गई है और राज्य सरकार ने भी टैक्स में कटौती कर दी है. टैक्स में कटौती करने के बाद डीजल के रेट पिछले 1 महीने से लगभग स्थिर बने हुए हैं. लेकिन ट्रांसपोर्टर्स ने महंगे डीजल के चलते जो मालवाड़ा 20% से 30% बढ़ाने का फैसला किया था. वह अब इसे वापस नहीं ले रहे और रेट जस का तस बना हुआ है.

ट्रांसपोर्टरों ने मालभाड़े में नहीं की कोई कमी

डीजल के रेट कम होने के बावजूद भी ट्रांसपोर्टरों ने मालभाड़े में अब तक कोई कमी नहीं की है. जानकारी के मुताबिक भोपाल से दिल्ली तक ट्रक का मालभाड़ा ₹43,500, भोपाल से मुंबई ₹45,000 ,भोपाल से इंदौर ₹18,000 और भोपाल से ग्वालियर और जबलपुर का मालभाड़ा ₹30,000 प्रति ट्रक वसूला जा रहा है. साथ ही जो स्टील का रॉ मैटेरियल ₹139 प्रति किलो मिलता था वह अब ₹172 प्रति किलो में मिल रहा है. इसके साथ ही सीमेंट ₹330 प्रति बोरी थी जो अब बढ़कर ₹375 हो गई है. खाद्य तेल भी 130 रुपए था जो अब बढ़कर ₹180, ₹190 प्रति लीटर हो गया है.

ट्रांसपोर्ट संचालकों का क्या था कहना

ट्रांसपोर्ट संचालकों का कहना था कि डीजल की कीमतों में लगातार बढ़ोतरी के चलते मालभाड़ा बढ़ाना उनकी मजबूरी हो गई थी. यही वजह है कि नुकसान की भरपाई करने के लिए ट्रांसपोर्ट की दरें बढ़ाई गई थीं. लेकिन अब जब डीजल की कीमतों में कमी आ गई है तो ट्रांसपोर्टर मालभाड़ा कम नहीं कर रहे हैं. भोपाल ट्रांसपोर्ट एसोसिएशन के अध्यक्ष ठाकुरदास राजपूत का कहना है कि पिछले महीनों में डीजल के रेट तेजी से बढ़ रहे थे, जिसके चलते ही मालभाड़े में बढ़ोतरी की गई थी.

पेट्रोल और डीजल की कीमतें स्थिर

बता दें की जो कॉन्ट्रैक्ट पहले से हो जाते हैं उनके रेट साल भर के लिए एक से ही रहते हैं. इन हालात में फिलहाल मालभाड़े में कमी की संभावना कम ही नजर आती है. मध्यप्रदेश सरकार ने दिवाली के दौरान वैट की दरें 4% कम करने का फैसला किया था. इसके साथ ही सरकार ने पेट्रोल और डीजल पर लगने वाला अतिरिक्त टैक्स भी हटाया था. डीजल पर डेढ़ रुपए और पेट्रोल पर ₹2 अतिरिक्त टैक्स में कटौती की थी. इसके चलते केंद्र और राज्य दोनों के टैक्स कम होने के बाद पेट्रोल की कीमत में ₹12 और डीजल की कीमत में ₹17 की कमी आई थी. नई दरें 4 नवंबर से लागू हुई थी, तब से लेकर अब तक पेट्रोल और डीजल की कीमतें स्थिर बनी हुई हैं. भोपाल में पेट्रोल 107.21 और डीजल 90.86 रुपए प्रति लीटर में मिल रहा है.

भोपाल। Excise Duty on Petrol Diesel: कोविड-19 महामारी 2020-21 में केंद्र सरकार द्वारा लगातार पेट्रोल और डीजल के दामों में बढ़ोतरी की जा रही थी. लेकिन अब केंद्र सरकार द्वारा एक्साइज ड्यूटी कम कर दी गई है और राज्य सरकार ने भी टैक्स में कटौती कर दी है. टैक्स में कटौती करने के बाद डीजल के रेट पिछले 1 महीने से लगभग स्थिर बने हुए हैं. लेकिन ट्रांसपोर्टर्स ने महंगे डीजल के चलते जो मालवाड़ा 20% से 30% बढ़ाने का फैसला किया था. वह अब इसे वापस नहीं ले रहे और रेट जस का तस बना हुआ है.

ट्रांसपोर्टरों ने मालभाड़े में नहीं की कोई कमी

डीजल के रेट कम होने के बावजूद भी ट्रांसपोर्टरों ने मालभाड़े में अब तक कोई कमी नहीं की है. जानकारी के मुताबिक भोपाल से दिल्ली तक ट्रक का मालभाड़ा ₹43,500, भोपाल से मुंबई ₹45,000 ,भोपाल से इंदौर ₹18,000 और भोपाल से ग्वालियर और जबलपुर का मालभाड़ा ₹30,000 प्रति ट्रक वसूला जा रहा है. साथ ही जो स्टील का रॉ मैटेरियल ₹139 प्रति किलो मिलता था वह अब ₹172 प्रति किलो में मिल रहा है. इसके साथ ही सीमेंट ₹330 प्रति बोरी थी जो अब बढ़कर ₹375 हो गई है. खाद्य तेल भी 130 रुपए था जो अब बढ़कर ₹180, ₹190 प्रति लीटर हो गया है.

ट्रांसपोर्ट संचालकों का क्या था कहना

ट्रांसपोर्ट संचालकों का कहना था कि डीजल की कीमतों में लगातार बढ़ोतरी के चलते मालभाड़ा बढ़ाना उनकी मजबूरी हो गई थी. यही वजह है कि नुकसान की भरपाई करने के लिए ट्रांसपोर्ट की दरें बढ़ाई गई थीं. लेकिन अब जब डीजल की कीमतों में कमी आ गई है तो ट्रांसपोर्टर मालभाड़ा कम नहीं कर रहे हैं. भोपाल ट्रांसपोर्ट एसोसिएशन के अध्यक्ष ठाकुरदास राजपूत का कहना है कि पिछले महीनों में डीजल के रेट तेजी से बढ़ रहे थे, जिसके चलते ही मालभाड़े में बढ़ोतरी की गई थी.

पेट्रोल और डीजल की कीमतें स्थिर

बता दें की जो कॉन्ट्रैक्ट पहले से हो जाते हैं उनके रेट साल भर के लिए एक से ही रहते हैं. इन हालात में फिलहाल मालभाड़े में कमी की संभावना कम ही नजर आती है. मध्यप्रदेश सरकार ने दिवाली के दौरान वैट की दरें 4% कम करने का फैसला किया था. इसके साथ ही सरकार ने पेट्रोल और डीजल पर लगने वाला अतिरिक्त टैक्स भी हटाया था. डीजल पर डेढ़ रुपए और पेट्रोल पर ₹2 अतिरिक्त टैक्स में कटौती की थी. इसके चलते केंद्र और राज्य दोनों के टैक्स कम होने के बाद पेट्रोल की कीमत में ₹12 और डीजल की कीमत में ₹17 की कमी आई थी. नई दरें 4 नवंबर से लागू हुई थी, तब से लेकर अब तक पेट्रोल और डीजल की कीमतें स्थिर बनी हुई हैं. भोपाल में पेट्रोल 107.21 और डीजल 90.86 रुपए प्रति लीटर में मिल रहा है.

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