भोपाल। राजधानी भोपाल की ट्रैफिक पुलिस अब काफी हाईटेक हो गई है. शहर के चौक-चौराहों पर बैरिकेडिंग कर चेकिंग पॉइंट बनाए गए हैं. अब यहां पुलिस के जवान आधुनिक उपकरणों के साथ नजर आ रहे हैं. ट्रैफिक पुलिस के जवान ब्रीथ एनिलाइजर, ई-चालान मशीन और बॉडी वॉर्न कैमरों के साथ नियमों का उल्लंघन करने वाले वाहन चालकों के खिलाफ कार्रवाई कर रहे हैं.
अपना रही स्मार्ट पुलिस का फॉर्मूला
डिजिटल इंडिया और स्मार्ट पुलिस के फार्मूले पर अब राजधानी की ट्रैफिक पुलिस काम कर रही है. शहर में वाहन चेकिंग के लिए करीब 22 पॉइंट बनाए गए हैं. मुख्य चौक-चौराहों पर बने इन पॉइंट्स पर पुलिस भी हाईटेक तरीके से कार्रवाई कर रही. यहां तैनात जवानों को बॉडी वॉर्न कैमरे, ई-चालान मशीन और ब्रीथ एनालाइजर जैसे आधुनिक उपकरण मुहैया कराए गए हैं.
बॉडी वॉर्न कैमरे को पुलिस जवान अपनी वर्दी पर लगाकर ऑन कर देते हैं. जिससे चेकिंग के दौरान की जाने वाली पूरी कार्रवाई कैमरे में रिकॉर्ड हो जाती है. इसके अलावा चालान बनाते वक्त अब पुलिस ई-चालान मशीन की मदद ले रही है. जिससे कुछ हद तक कैश रखने की झंझट से भी निजात मिल गया है. वहीं शराब पीकर वाहन चलाने वालों का टेस्ट ब्रीथ एनिलाइजर मशीन से किया जा रहा है.
चेकिंग के दौरान कई बार होते हैं विवाद
वाहन चेकिंग के दौरान अक्सर पुलिसकर्मियों और वाहन चालकों में विवाद हो जाते हैं. कई बार बहस इतनी बढ़ जाती है कि मामला थाने तक पहुंच जाता है, जिसके बाद जांच अधिकारी को यह पता लगाने में खासी परेशानी होती है कि, आखिरकार गलती किसकी थी. इसके अलावा राजधानी में चेकिंग के दौरान नेता-मंत्रियों और अधिकारियों से कई वाहन चालक गाड़ी छोड़ने की सिफारिश भी करवाते हैं. लेकिन अब पुलिस विभाग ने इसका भी रास्ता खोज निकाला है. अगर किसी पुलिसकर्मी और वाहन चालक में विवाद होगा तो बॉडी वॉर्न कैमरे में पूरी घटना रिकॉर्ड होगी और जांच अधिकारी आसानी से नतीजे पर पहुंच सकेगा. वहीं बॉडी वॉर्न कैमरे में यह भी रिकॉर्ड होगा कि किसने किस नेता-मंत्री या अधिकारी के दांत दिखा कर वाहन छुड़ाया है.
40 बॉडी वॉर्न कैमरे
पुलिस अधिकारियों के मुताबिक भोपाल ट्रैफिक के पास 40 बॉडी वॉर्न कैमरे हैं. इन कैमरों को शहर के अलग-अलग चेकिंग पॉइंट पर तैनात जवानों को इशु किया गया है. खासतौर पर उन पॉइंट पर कैमरे दिए गए हैं जहां हुज्जत और विवाद होने की संभावनाएं ज्यादा होती है. इसी तरह ट्रैफिक पुलिस के पास ई- चालान मशीन भी 40 से ज्यादा है और लगभग इतनी ही संख्या में ब्रीथ एनिलाइजर भी मौजूद है. ट्रैफिक पुलिस अब इन आधुनिक उपकरणों का इस्तेमाल कर रही है, लेकिन यह पुलिस के लिए कितने मददगार साबित होते हैं यह तो आने वाला वक्त ही बताएगा.