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भले ही शराब पी हो, बस दस कदम सीधे चल दीजिए, पुलिस देगी क्लीन चिट, नहीं तो बनेगा तगड़ा चालान - MP straight line test catwalk test from alcoholics

एमपी में शराबियों को एक नया चैलेंज मिलने वाला है और इस चैलेंज को वे पार कर लेते हैं तो उन्हें बिना किसी टेस्ट के क्लीन चिट मिल जाएगी. दरअसल अब शराबियों का टेस्ट अब शारीरिक संतुलन से कराया जाएगा, यदि वे दस कदम सीधे चले तो उन्हें मौके पर ही क्लीन चिट मिल जाएगी और कदम लड़खड़ाए तो पहले होगा ब्रीथ एनालाइजर टेस्ट और फिर भेजा जाएगा मेडिकल टेस्ट के लिए, इसके अलावा चालान बनेगा वो अलग.

Bhopal Crime News
भोपाल न्यूज
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Published : Mar 7, 2023, 1:54 PM IST

भोपाल। मप्र में शराबियों की जांचने का नायाब फार्मूला भोपाल पुलिस ने ढूंढ निकाला है, बस दस कदम चलवाएंगे और पता कर लेंगे कि शराब पी है या नहीं. यह निर्देश भोपाल कमिश्नर ने दिए हैं, इसका मकसद है कि जो लोग शराब पीकर गाड़ी चलाते हैं, उनका कहीं भी कोई भी पुलिस कर्मी टेस्ट ले सके. कहा जा रहा है सड़क हादसों को रोकना मुख्य मकसद है, लेकिन इसकी असल कहानी कुछ और है.

स्ट्रेट लाइन टेस्ट (कैटवॉक) से होगी जांच: ईटीवी भारत की पड़ताल में पता चला कि भोपाल पुलिस के पास कुछ ही थाना क्षेत्रों में ब्रीथ एनाइलाजर किट है और इसकी कमी के कारण हर चौक चौराहे पर जांच नहीं हो पाती है, अब इसका तोड़ यह निकाला कि शक होने पर ड्राइवर को पहले सड़क पर बनी लाइन पर दस कदम चलवाए (कैटवॉक) और सीधे न चल पाए तो ही उनका ब्रीथ एनालाइजर टेस्ट करें. दरअसल, ये कैटवॉक एक स्ट्रेट लाइन टेस्ट (एसएलटी) होगा, जिसमें संदिग्ध को सड़क पर खिंची लाइन पर दस कदम सीधे चलकर दिखाना होगा, इस लाइन पर चलने के दौरान पैर डगमगाए तो मौके पर ब्रीथ एनालाइजर की मदद से टेस्ट लिया जाएगा और उसके बाद उसे मेडिकल टेस्ट के लिए अस्पताल भेजा जाएगा.

MUST READ:

विदेशों में है ट्रेंड: मप्र में भोपाल पुलिस पहली बार स्ट्रेट लाइन टेस्ट की शुरुआत करने जा रही है, जबकि अभी ऐसा सिर्फ यूनाइटेड स्टेट ऑफ अमेरिका (यूएसए) और यूनाइटेड किंगडम (यूके) में ही ट्रैफिक पुलिस द्वारा किया जाता है. होली से इसकी शुरूआत की जाएगी, हालांकि शराबियों के लिए यह इतना आसान नहीं होगा. इसके कुछ नियम हैं, जैसे- कैटवॉक के दौरान कुछ सेकंड तक एक-एक कर अपने दोनों पैर तकरीबन 45 डिग्री यानी एक फीट ऊंचाई तक उठाने होंगे, यदि इसे सीधे नहीं उठाया गया और कदम लड़खड़ाए तो समझिए चालान बनना तय है. फिलहाल भोपाल में 10 से 15 हजार रुपए जुर्माना लिया जा रहा है, यानी जितने की शराब नहीं, उससे दस गुना जुर्माना देना होगा. इसके अलावा ड्राइविंग लाइसेंस भी सस्पेंड किया जा सकता है.

भोपाल। मप्र में शराबियों की जांचने का नायाब फार्मूला भोपाल पुलिस ने ढूंढ निकाला है, बस दस कदम चलवाएंगे और पता कर लेंगे कि शराब पी है या नहीं. यह निर्देश भोपाल कमिश्नर ने दिए हैं, इसका मकसद है कि जो लोग शराब पीकर गाड़ी चलाते हैं, उनका कहीं भी कोई भी पुलिस कर्मी टेस्ट ले सके. कहा जा रहा है सड़क हादसों को रोकना मुख्य मकसद है, लेकिन इसकी असल कहानी कुछ और है.

स्ट्रेट लाइन टेस्ट (कैटवॉक) से होगी जांच: ईटीवी भारत की पड़ताल में पता चला कि भोपाल पुलिस के पास कुछ ही थाना क्षेत्रों में ब्रीथ एनाइलाजर किट है और इसकी कमी के कारण हर चौक चौराहे पर जांच नहीं हो पाती है, अब इसका तोड़ यह निकाला कि शक होने पर ड्राइवर को पहले सड़क पर बनी लाइन पर दस कदम चलवाए (कैटवॉक) और सीधे न चल पाए तो ही उनका ब्रीथ एनालाइजर टेस्ट करें. दरअसल, ये कैटवॉक एक स्ट्रेट लाइन टेस्ट (एसएलटी) होगा, जिसमें संदिग्ध को सड़क पर खिंची लाइन पर दस कदम सीधे चलकर दिखाना होगा, इस लाइन पर चलने के दौरान पैर डगमगाए तो मौके पर ब्रीथ एनालाइजर की मदद से टेस्ट लिया जाएगा और उसके बाद उसे मेडिकल टेस्ट के लिए अस्पताल भेजा जाएगा.

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