भोपाल। मध्य प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री कैलाश जोशी स्मृति में भोपाल में अखिल भारतीय शूटिंग बॉल प्रतियोगिता का आयोजन किया जा रहा है. इस प्रतियोगिता में देश भर से 12 राज्यों की टीमों ने हिस्सा लिया है. इस राष्ट्रीय प्रतियोगिता में 600 से अधिक महिला व पुरुष खिलाड़ी शामिल हुए हैं. लेकिन वॉलीबॉल की तरह खेले जाने वाले इस खेल को अधिकतर लोग आज के समय में भूल गए हैं. इस खेल में 7 से अधिक खिलाड़ियों को मध्य प्रदेश का सर्वोच्च पुरस्कार विक्रम अवार्ड भी मिला है. लेकिन एसोसिएशन के झगड़े और खेल विभाग की अनदेखी के चलते यह खेल अपने मुकाम से पीछे पहुंचता जा रहा है. (shooting ball competition organized in bhopal)
सीनियर खिलाड़ियों ने जाहिर की निराशा: खेल से जुड़े अंतरराष्ट्रीय खिलाड़ी और विक्रम अवॉर्डी सुनील मैना कहते हैं कि अगर इस खेल को स्कूलों में शामिल कर दिया जाए तो निश्चित ही इसके लिए भी खिलाड़ी निकल कर सामने आएंगे. अंतरराष्ट्रीय खिलाड़ी भास्कर राव ने कहा कि एसोसिएशन के झगड़े के कारण है यह खेल आगे नहीं बढ़ पाया है. इधर मध्य प्रदेश पुलिस में बड़े अधिकारी के रूप में शामिल और इस खेल के अन्तरराष्ट्रीय खिलाड़ी अजय लावरे भी मानते हैं कि अन्य खेलों की तरह शूटिंग बॉल में भी दो एसोसिएशन है. इसके कारण इन एसोसिएशन के झगड़े में खिलाड़ी पिस जाता है और खेल आगे नहीं बढ़ पाता.
पूर्व मंत्री दीपक जोश ने की पहल: पूर्व मुख्यमंत्री कैलाश जोशी स्मृति में इस प्रतियोगिता को आयोजित कराने वाले उनके बेटे और मध्यप्रदेश के पूर्व मंत्री दीपक जोशी ने कहा कि शूटिंग बॉल के खेल में भी दो एसोसिएशन है. ऐसे में इसके समाधान के लिए वह एसोसिएशन के पदाधिकारी से बात करेंगे. साथ ही केंद्रीय खेल मंत्री अनुराग ठाकुर और मध्य प्रदेश की खेल मंत्री यशोधरा राजे सिंधिया से भी चर्चा कर इस खेल को आगे बढ़ाने के लिए समाधान निकालेंगे.
भोपाल में जुटेंगे Shooting Ball के खिलाड़ी, 12 राज्यों की टीम इस खेल में ले रही हिस्सा
शूटिंग बॉल में एमपी का प्रदर्शन: शूटिंग बॉल के अब तक के इतिहास में मध्य प्रदेश की टीमों ने 22 से अधिक बार राष्ट्रीय प्रतियोगिता जीती है और विजेता का खिताब अपने नाम किया है. जबकि 7 खिलाड़ियों को मध्य प्रदेश का सर्वोच्च पुरस्कार विक्रम अवार्ड इस खेल में मिला है. भोपाल में हुई अखिल भारतीय शूटिंग बॉल प्रतियोगिता में इन सभी पूर्व अंतरराष्ट्रीय खिलाड़ियों को सम्मानित किया गया था. साथ ही नकद राशि के रूप में 11-11 हजार रुपए आयोजकों की ओर से दिए गए. आयोजन सचिव सुबोध श्रीवास्तव ने बताया कि यह वह खिलाड़ी है जिन्होंने मध्यप्रदेश के साथ ही देश में अपना नाम स्थापित किया है.
कैसे खेला जाता है शूटिंगबॉल: शूटिंगबॉल को वॉलीबॉल की तरह ही खेला जाता है लेकिन वॉलीबॉल इनडायरेक्ट होता है जबकि शूटिंगबॉल डायरेक्ट होता है. इसको ऐसे समझा जा सकता है कि शूटिंग बॉल की जो बॉल होती है वह ज्यादा कड़क होती है, जबकि वॉलीबॉल में हल्की होती है और एक बार में ही शूटिंगबॉल में बॉल एक तरफ से दूसरी तरफ जाना चाहिए,जो डायरेक्ट होती है बाकी नियम समान होते हैं. (all india shooting ball competition) (shooting ball competition in mp) (kailash joshi gold cup shooting ball)