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अवैध शस्त्र लाइसेंस को लेकर प्रदेश के सभी जिलों में होगी जांच, लाइसेंस धारियों से भी होगी पूछताछ

प्रदेशभर में अवैध शस्त्र लाइसेंस से जुड़े माफिया भी सक्रिय हैं. लिहाजा एसटीएफ इन माफियाओं पर शिकंजा कसने की तैयारी कर रही है.

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अवैध शस्त्र लाइसेंस को लेकर प्रदेश के सभी जिलों में होगी जांच
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Published : Feb 14, 2020, 2:54 PM IST

भोपाल। अवैध हथियारों को लेकर मध्य प्रदेश एसटीएफ की टीम लगातार कार्रवाई कर रही है, लेकिन अब अवैध शस्त्र लाइसेंस के मामलों पर भी एसटीएफ फोकस कर रही है. एसटीएफ को जानकारी मिली है कि प्रदेशभर में अवैध शस्त्र लाइसेंस से जुड़े माफिया भी सक्रिय हैं. लिहाजा एसटीएफ इन माफियाओं पर शिकंजा कसने की तैयारी कर रही है. राज्य शासन से अनुमति के बाद प्रदेश के सभी जिलों में शस्त्र लाइसेंस को लेकर ताबड़तोड़ कार्रवाई हो सकती हैं.

हाल ही में एसटीएफ की टीम ने सतना में शस्त्र लाइसेंस में गड़बड़ी करने को लेकर एक साथ 25 एफआईआर दर्ज की हैं. इन शस्त्र लाइसेंस में तत्कालीन शाखा प्रभारी और अन्य कर्मचारियों ने फर्जीवाड़ा कर किसी का सीमा क्षेत्र बढ़ा दिया तो किसी के लाइसेंस पर कारतूस की संख्या में इजाफा कर दिया. चौंकाने वाली बात तो यह है कि यह अधिकार केवल एसडीएम या कलेक्टर के पास होता है, लेकिन सरकारी कर्मचारियों ने अपने स्तर पर ही कारतूस की संख्या और सीमा वृद्धि कर दी. सतना के इन मामलों को देखते हुए एसटीएफ को प्रदेश के और भी जिलों से शिकायतें मिल रही हैं. लिहाजा एसटीएफ ने प्रदेश के और भी जिलों में शस्त्र लाइसेंस को लेकर जांच करने की तैयारी कर ली है. एसटीएफ के अधिकारियों का कहना है कि शासन से अनुमति मिलने के बाद जल्द ही अन्य जिलों में भी कार्रवाई की जाएगी.

शस्त्र लाइसेंस धारियों से भी होगी पूछताछ...

एसटीएफ ने 25 लाइसेंस धारियों के आधार पर एफआईआर दर्ज की है. और अब उनसे भी पूछताछ करने की तैयारी की जा रही है. इन 25 लाइसेंस धारियों में चित्रकूट से कांग्रेस विधायक नीलांशु चतुर्वेदी भी शामिल हैं. इन लाइसेंस धारियों से पूछताछ कर पुलिस यह पता लगाने की कोशिश करेगी कि कहीं लाइसेंस धारी भी फर्जीवाड़ा करने वाले सरकारी कर्मचारियों से मिले तो नहीं हैं. अगर ऐसा है तो लाइसेंस धारियों को भी आरोपी बनाया जा सकता है.

भोपाल। अवैध हथियारों को लेकर मध्य प्रदेश एसटीएफ की टीम लगातार कार्रवाई कर रही है, लेकिन अब अवैध शस्त्र लाइसेंस के मामलों पर भी एसटीएफ फोकस कर रही है. एसटीएफ को जानकारी मिली है कि प्रदेशभर में अवैध शस्त्र लाइसेंस से जुड़े माफिया भी सक्रिय हैं. लिहाजा एसटीएफ इन माफियाओं पर शिकंजा कसने की तैयारी कर रही है. राज्य शासन से अनुमति के बाद प्रदेश के सभी जिलों में शस्त्र लाइसेंस को लेकर ताबड़तोड़ कार्रवाई हो सकती हैं.

हाल ही में एसटीएफ की टीम ने सतना में शस्त्र लाइसेंस में गड़बड़ी करने को लेकर एक साथ 25 एफआईआर दर्ज की हैं. इन शस्त्र लाइसेंस में तत्कालीन शाखा प्रभारी और अन्य कर्मचारियों ने फर्जीवाड़ा कर किसी का सीमा क्षेत्र बढ़ा दिया तो किसी के लाइसेंस पर कारतूस की संख्या में इजाफा कर दिया. चौंकाने वाली बात तो यह है कि यह अधिकार केवल एसडीएम या कलेक्टर के पास होता है, लेकिन सरकारी कर्मचारियों ने अपने स्तर पर ही कारतूस की संख्या और सीमा वृद्धि कर दी. सतना के इन मामलों को देखते हुए एसटीएफ को प्रदेश के और भी जिलों से शिकायतें मिल रही हैं. लिहाजा एसटीएफ ने प्रदेश के और भी जिलों में शस्त्र लाइसेंस को लेकर जांच करने की तैयारी कर ली है. एसटीएफ के अधिकारियों का कहना है कि शासन से अनुमति मिलने के बाद जल्द ही अन्य जिलों में भी कार्रवाई की जाएगी.

शस्त्र लाइसेंस धारियों से भी होगी पूछताछ...

एसटीएफ ने 25 लाइसेंस धारियों के आधार पर एफआईआर दर्ज की है. और अब उनसे भी पूछताछ करने की तैयारी की जा रही है. इन 25 लाइसेंस धारियों में चित्रकूट से कांग्रेस विधायक नीलांशु चतुर्वेदी भी शामिल हैं. इन लाइसेंस धारियों से पूछताछ कर पुलिस यह पता लगाने की कोशिश करेगी कि कहीं लाइसेंस धारी भी फर्जीवाड़ा करने वाले सरकारी कर्मचारियों से मिले तो नहीं हैं. अगर ऐसा है तो लाइसेंस धारियों को भी आरोपी बनाया जा सकता है.

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