भिंड। राजनीति में बयानबाजी कोई नयी बात नहीं और प्रदेश के नेता प्रतिपक्ष और कांग्रेस के कद्दावर नेता डॉ गोविंद सिंह तो अपने बयानों को लेकर अक्सर ही सुर्ख़ियों में रहते हैं. एक बार फिर डॉ गोविंद सिंह अपने एक विवादित बयान को लेकर चर्चा में हैं.
कार्यकर्ता सम्मेलन में पहुंचे थे नेता प्रतिपक्ष: जानकारी के मुताबिक मध्य प्रदेश के भिंड जिला मुख्यालय पर शुक्रवार को कांग्रेस के जिला स्तरीय कार्यकर्ता सम्मेलन का आयोजन किया गया था, जिसमें नेता प्रतिपक्ष डॉ गोविंद सिंह के साथ ही मुख्य अतिथि के तौर पर कांग्रेस के राष्ट्रीय सचिव और प्रदेश के सह प्रभारी शिव भाटिया ने शिरकत की थी. मंच पर पूर्व मंत्री राकेश चौधरी, नेता प्रतिपक्ष डॉक्टर गोविंद सिंह, पूर्व विधायक हेमंत कटारे, गोहद विधायक मेवाराम जाटव, जिला अध्यक्ष मानसिंह कुशवाहा मौजूद थे, वही कार्यक्रम में कांग्रेस नेताओं के साथ सैकड़ों कार्यकर्ताओं ने हिस्सा लिया था.
दावेदारों को नेता प्रतिपक्ष की विवादित नसीहत: इसी कार्यक्रम के दौरान अपने संबोधन में नेता प्रतिपक्ष डॉक्टर गोविंद सिंह ने विवादित बयान देते हुए नसीहत दे डाली कि "इस बार के चुनाव में कांग्रेस से चुनाव लड़ने के लिए सोचना समझना होगा. भिंड जिले के चुनाव के दौरान गोलियां चलती है, इसी वजह से शक्तिशाली प्रत्याशियों को टिकट वितरण में कांग्रेस वरीयता देगी. कोई भी कमजोर प्रत्याशी जो ढीले-ढाले हैं, वे टिकट की उम्मीद ना करें, अब चुनाव में हर तरीके से तैयारी हो, साम-दाम-दंड-भेद, लाठी की जरूरत हो और लाठी चला सके, तभी चुनाव में सफलता मिलेगी. मुकाबले के लिए भी बराबरी से मुक़ाबले करना होगा."
भिंड में खस्ता है कांग्रेस की हालत: डॉ गोविंद सिंह का यह बयान अब सियासी गलियारों में भी चर्चा का विषय बना हुआ है, क्योंकि कुछ महीनों बाद ही मध्यप्रदेश में विधानसभा के चुनाव होने है और कांग्रेस में टिकट की दावेदारी के लिए नेताओं की लम्बी फहरिस्त नजर आ रही है. लेकिन लहार और अटेर विधानसभा के अलावा कोई मजबूत दावेदार भिंड जिले की अन्य विधानसभाओं के लिए कांग्रेस में दिखाई नहीं दे रहा है. ऐसे में भिंड की 3 सीटों पर कांग्रेस को चुनाव जीतने के लिए काफी मशक्कत करनी पड़ सकती है और यह बात शायद नेता प्रतिपक्ष भी भली भांति समझ रहे हैं.