बैतूल। घोड़ाडोंगरी तहसील के पाथाखेड़ा के पास के जंगल में तेंदूपत्ता तोड़ रहे आदिवासी दंपत्ति के साथ मारपीट का मामला सामने आया है. आरोप मध्य प्रदेश पावर जेनरेटिंग कंपनी में कार्यरत राज्य औद्योगिक सुरक्षा बल (SISF) के जवानों पर लगा है. आदिवासी दंपत्ति के साथ मारपीट और पति से पत्नी के पैर पढ़वाकर वीडियो बनाने जैसी घटना से आदिवसी समाज संगठन में आक्रोश का माहौल है. दंपत्ति ने मामले की शिकायत थाने में की है. जिसके बाद स्थानीय पुलिस ने दंपत्ति का घोड़ाडोंगरी अस्पताल में मेडिकल कराया है.
पिटाई से आई शरीर में सुजन
घोड़ाडोंगरी तहसील के बरेलीपार गांव के रहने वाले पीड़ित दिनेश सरियाम ने बताया कि वह उसकी पत्नी सेवंती, तवा वन कोयला खदान और निर्माणाधीन वाटर ट्रीटमेंट प्लांट के बीच तेंदूपत्ता तोड़ रहे थे. मौके पर एक कटा पेड़ देख एक सिविल ड्रेस पर व्यक्ति आया. पूछताछ की और फिर कॉल लगाकर एसआईएसएफ के जवानों को बुला लिया. आदिवासी दंपत्ति कुछ समझ पाते तब तक चार लोगों ने डंडे से मारना शुरू कर दियाय कूल्हे पर इतने लाठियां मारी की, सूजन आ गई.
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कार्रवाई की मांग
काले-नीले निशान बन गए. दहशत के मारे सो नहीं पाया. लाठियां मारने की वजह से बैठ भी नहीं पा रहा. आदिवासी दंपत्ति के साथ मारपीट की जानकारी लगते ही तेंदूपत्ता तोड़ने के काम में जुटे अन्य लोग भी इकट्ठा हो गए और शुक्रवार दोपहर पाथाखेड़ा नाका पहुंचे. यहां से सभी लोग एकत्रित होकर पुलिस थाना पहुंचे और पति से पत्नी के पैर पढ़वाकर अपमानित करने वालों के खिलाफ कठोर कार्रवाई की मांग की.
इनका कहना
पॉवर हाउस सारनी के सुरक्षा अधिकारी वीके कनोजिया ने बताया कि तवा खदान से 100 मीटर की दूरी पर एक पेड़ काट रहे व्यक्ति को वहां से खदेड़ा है. उसके साथ कोई मारपीट नहीं की है. मौके पर पेड़ अभी भी पड़ा है. जंगल में कई स्थानों पर कटे पेड़ है. मेरी जानकारी में मामला नहीं है. सुरक्षा अधिकारी जरूर घूम रहे थे. मारपीट का आरोप बेबुनियादी घटना निराधार है. तेंदूपत्ता तोड़ रहे बरेलीपार गांव के दंपत्ति के साथ मारपीट और उन्हें अपमानित करने की जानकारी मिली है. वहीं डिप्टी रेंजर ने कहा कि इस घटना से रेंज अधिकारी को अवगत कराया जा रहा है.