बैतूल। अतिवृष्टि और रोगों से किसानों के खेतों में लगी सोयाबीन की फसल बर्बाद हो चुकी है. बैतूल विधानसभा में भी किसानों को बड़ा नुकसान हुआ है, लेकिन अभी तक सही तरीके से सर्वे शुरू नहीं हो पाया है. किसानों की फसलों का सही सर्वे और उनके सही मुआवजा दिलाने के लिए कांग्रेस ने कलेक्ट्रेट पहुंचकर सरकार के खिलाफ नारेबाजी की और कलेक्टर को ज्ञापन सौंप कर किसानों को उचित मुआवजा देने की मांग की.
कलेक्टर को ज्ञापन सौंपते हुए विधायक डागा ने कहा कि, शिवराज सरकार किसान विरोधी है, किसानों को गुमराह कर रही है. कांग्रेस सरकार ने किसानों का एक लाख तक का कर्जा माफ कर दिया था, अब जो किसान बचे हैं. उनका कर्जा मुख्यमंत्री शिवराज सिंह माफ करें. पहले शिवराज सिंह ने कहा था कि, 40 हजार रुपए/ हेक्टर के हिसाब से मुआवजा देंगे तो अब किसानों को वो मुआवजा मिलना चाहिए.
कलेक्ट्रेट में विरोध प्रदर्शन करने पहुंचे किसानों ने अपने साथ लाई सोयाबीन की फसल जलाकर विरोध प्रदर्शन भी किया. भारी भीड़ को देखते हुए पुलिस बल ने कलेक्ट्रेट का मुख्य प्रवेश द्वार बंद कर दिया था. इस दौरान विधायक निलय डागा ने एसडीएम राजीव रंजन पांडे से किसानों के साथ कलेक्टर से मिलने जाने की बात कही, लेकिन पुलिस ने नहीं जाने दिया. जैसे-तैसे कुछ लोगों को कलेक्टर से मिलने की अनुमति मिली, लेकिन बैतूल कलेक्ट्रेट में कांग्रेस कार्यकर्ताओं की पुलिस से धक्का-मुक्की के कारण दोबारा गेट बंद कर दिया गया.