अशोकनगर। शहर के रिहायशी इलाके में पीपल के पेड़ पर 5 फीट लंबा सांप दिखने के बाद सनसनी फैल गई. जानकारी लगने पर सर्प विशेषज्ञों को बुलाकर रेस्क्यू किया गया. 2 घंटे तक चले रेस्क्यू के बाद बमुश्किल सांप को पकड़ा गया. जिसके बाद उसे सुनसान इलाके में छोड़ दिया गया.
सुभाषगंज में पिछले तीन दिनों से एक खंडहर मकान से दुकानों के बाहर से घूम रहे सांप से स्थानीय रहवासी दहशत में थे. इसकी सूचना लोगों ने वन विभाग को दी, फिर स्थानीय रहवासियों ने सांप को सुभाषगंज में सार्वजनिक स्थान पर बने पीपल पेड़ पर चढ़ते देखा, जिसके बाद सांप पकड़ने वाले को बुलाया गया.
बमुश्किल सांप को पकड़ा गया
पेड़ पर कई पोल होने की वजह से पहले तो सरिया डालकर हिमांशु ने सांप को खोजा, लेकिन जब सांप नहीं मिला तो पोलों में लेजम से पानी भरा गया. पानी भरते ही जब सांप दूसरी पोल में घुसने लगा तो खुद के औजारों से तत्काल सांप को पकड़ लिया गया. रैट स्नैक(घोड़ा पछाड़) प्रजाति का सांप करीब 5 फीट लंबा था, जिसको पकड़कर शंकरपुर टोरिया की तरफ सुनसान इलाके में छोड़ा गया.
रैट स्नेक प्रजाति का सांप
सर्प विशेषज्ञ हिमांशु ने बताया कि ये सांप रैट स्नेक प्रजाति का है. जिसमें जहर न के बराबर होता है, ये किसी को नुकसान नहीं पहुंचा सकता. इसे किसान मित्र भी कह सकते हैं. ये सांप चूहे, छिपकली, गिलहरी आदि का सेवन करता है. सांप दिखे तो ऐसी स्थिति में संयम रखना चाहिए और सांप को नहीं मारना चाहिए. अगर किसी व्यक्ति को सांप काट ले तो बिना कोई समय गवाएं उसे जिला अस्पताल में इलाज के लिए ले जाना चाहिए.
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आयुर्वेद विशेषज्ञ गजराम माहौर ने बताया कि उनके क्षेत्र में तीन तरह के सांप पाए जाते हैं. अगर किसी व्यक्ति को सांप काट भी ले तो सबसे पहले सांप काटने की जगह से 3 फीट ऊपर से कपड़ा या तार से बांध देना चाहिए. जिससे जहर ऊपर ना चढ़ सके. इसके बाद उसे सीधी जिला अस्पताल ले जाना चाहिए, जहां anti-venom वैक्सीन से उसका इलाज हो सके. झाड़-फूंक में लोगों को नहीं फंसना चाहिए, सांप काटने वाले व्यक्ति को लगातार मोटिवेट करते रहना चाहिए.